UP Roadways के चालक कोहरे में जोखिम उठाकर खतरे में डालते हैं अपनी और यात्रियों की जान, जानें कैसे
Fog in Moradabad सर्दी बढ़ने के साथ ही कोहरा पड़ना शुरू हो गया है। पिछले दिनों राष्ट्रीय राजमार्ग पर घने कोहरे के कारण एक दर्जन से अधिक वाहन आपस में टकरा गए थे। कोहरे में बसों के सुरक्षित संचालन को लेकर रोडवेज प्रशासन गंभीर दिखाई नहीं दे रहा है।
मुरादाबाद, जेएनएन। Fog in Moradabad : सर्दी बढ़ने के साथ ही कोहरा पड़ना शुरू हो गया है। पिछले दिनों राष्ट्रीय राजमार्ग पर घने कोहरे के कारण एक दर्जन से अधिक वाहन आपस में टकरा गए थे। कोहरे में बसों के सुरक्षित संचालन को लेकर रोडवेज प्रशासन गंभीर दिखाई नहीं दे रहा है। कोहरे के कारण बसों की शीशे पर ओस की बूंदें जमा हो जाती हैंं। इसके चलते चालक को रोड पर कम दिखाई देता है और हादसे की संभावना बढ़ जाती है। इसके बावजूद अधिकांश बसों में वाइपर तक नहीं है। सुरक्षित बसों को चलाने के लिए किए जा रहे इंतजाम को मुरादाबाद डिपो व पीतल नगरी डिपो पर जागरण की टीम ने परखा।
मुरादाबाद के दोनों बस अड्डे पर विभिन्न स्थानों पर जाने वाली 60 बसें खड़ी थीं। बस अड्डे पर खड़ी बसों के सभी खिड़की में शीशा लगा हुआ था। कोहरे में दूर तक दिखायी देने के लिए पिछले साल लगाए गए आल वेदर बल्ब बदले नहीं गया है। चालक के आगे कोहरा का धुंध आ जाने पर शीशा साफ करने के लिए वाइपर तक नहीं हैं। बिजनौर डिपो की बस फ्रंट शीशा चटका हुआ था। रात के समय लाइट अलग अलग दिशा में दिखायी देती है। सामने से वाहन आने पर दिखायी देना बंद हो जाता है। चालक इसकी शिकायत करते हैं तो रोडवेज के अधिकारी उनकी सुनने के बजाय जबरन बसों को चलाने का आदेश देते हैं।पड़ताल करने पर पता चला कि 18 बसों की शीशे टूटे हुए हैं। लम्बे समय से शीशा उपलब्ध नहीं होने के कारण बसें डिपो में खड़ी हैं। रोडवेज के स्टोर में वाइपर भी नहीं हैं। मांग के बाद भी मुख्यालय ने वाइपर नहीं भेजे गए हैं।
मुरादाबाद डिपो बस अड्डा दोपहर 12 बजेः अमरोहा डिपो की बस संख्या यूपी 23 टी 2702 जो मुरादाबाद से दिल्ली जा रही थी। इस बस में वाइपर नहीं लगा हुआ था। बिजनौर डिपो की बस संख्या यूपी 21 एन 2098 जो मुरादाबाद से बिजनौर जा रही थी, इसमें भी वाइपर नहीं था। चालकों का कहना था कि वाइपर लगवाने के लिए कई बार कहा जा चुका है, लेकिन नहीं लगाया गया है। इस बीच बिजनौर डिपो की बस संख्या यूपी 21 एन 3726 जो मुरादाबाद से बिजनौर जा रही थी उसके चालक ने बताया कि बस का शीशा चटका हुआ है। रात होने पर सामने से लाइट पड़ने पर दिखायी नहीं देता है।
पीतल नगरी डिपो दोपहर एक बजेः पीतल नगरी डिपो की बस यूपी 81 एएफ 1545 बस अड्डे पर खड़ी थी। यह बस मुरादाबाद से आंवला जा रही थी। इस बस में वाइपर नहीं लगा था। चालक ने कहा कि वाइपर बार-बार बंदर तोड़ देते हैं। वाइपर लगाने को कई बार कहा है, लेकिन सुनवाई नहीं हुई।
चालकों की पीड़ाः चालक चंद्रपाल सिंह ने बताया कि बरसात व कोहरे में बसें चलना मुश्किल हो जाता है। तेज बारिश होने पर या घना कोहरा होने पर बस सड़क के किनारे खड़ी करनी पड़ती है। बारिश रुकने या कोहरा कम होने पर बस को चलाते हैं। वाइपर लगाने के लिए कई बार अधिकारियों से कई बार मांग की जा चुकी है। नरेश सिंह ने बताया कि बस का शीशा लंबे समय से चटका हुआ है, रात में दिखायी तक नहीं देता है। कई बार शीशा बदले को गया है। अधिकारी शीशा बदलने के बजाय कहते हैं कि रात के बजाय दिन में बसों को चलाए।
क्षेत्रीय प्रबंधक दीपक चौधरी ने बताया कि कोहरे में सुरक्षित बसों का संचालन व यात्रियों को ठंड से बचाव के लिए काम किया जा रहा है। बसों वाइपर नहीं होने व चटके शीशे लगे होने की जानकारी किया जाएगा और शीघ्र ही ठीक कराया जाएगा। ठंड से यात्रियों बचाने के लिए सभी बसों के खिड़की में शीशे लगे हुए हैं।