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आजम खां बोले-एसडीएम ने मुझे गालियां दीं, अधिकारियों ने फैलाई दहशत

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और रामपुर संसदीय सीट से गठबंधन प्रत्याशी आजम ने लगाया आरोप।

By Edited By: Published: Wed, 24 Apr 2019 08:43 PM (IST)Updated: Thu, 25 Apr 2019 06:11 AM (IST)
आजम खां बोले-एसडीएम ने मुझे गालियां दीं, अधिकारियों ने फैलाई दहशत
आजम खां बोले-एसडीएम ने मुझे गालियां दीं, अधिकारियों ने फैलाई दहशत

रामपुर, जेएनएन। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और रामपुर संसदीय सीट से गठबंधन प्रत्याशी आजम खां ने कहा कि पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों ने मतदान के दिन दहशत का माहौल फैलाया। सपा के लोगों को वोट डालने से रोका और जगह-जगह पीटा। उपजिलाधिकारी सदर ने मुझे भी गालियां दीं। तीन सौ वो¨टग मशीनें खराब करा दीं। इस कारण हमारे दो लाख वोट पड़ने से रह गए। चुनाव आयोग को इस मामले को गंभीरता से लेते हुए जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, अपर जिलाधिकारी, अपर पुलिस अधीक्षक, नगर मजिस्ट्रेट और उप जिलाधिकारी सदर के खिलाफ संगीन धाराओं में मुकदमा दर्ज कराना चाहिए। हमने भी शिकायत प्रकोष्ठ का गठन किया है, जिन लोगों को भी पुलिस ने पीटा है, वे शिकायत दर्ज करा सकते हैं। उनकी शिकायत पर कार्रवाई कराई जाएगी। आजम ने बुधवार शाम मीडिया से वार्ता के दौरान यह बातें कहीं। उन्होंने कहा कि हमने अपनी ¨जदगी में मतदान के दिन ऐसा दहशत वाला माहौल कभी नहीं देखा। पुलिस ने मुस्लिम बस्तियों में गलियों में घुस-घुसकर लोगों को पीटा। जिला प्रशासन ने साजिश के तहत वो¨टग मशीनें खराब करा दीं। मशीनें खराब होने की वजह से एक-डेढ़ घंटे तक मतदान बाधित रहा और हमारे वोट पड़ने से रह गए। रामपुर में तो 1980 में मुरादाबाद में हुए दंगे जैसी दहशत का माहौल था। प्रशासन ने एक सप्ताह से शहर में माहौल खराब कर रखा था। लोगों के घरों पर छापे मारे गए। हमारे एक समर्थक को तो छह दिन पहले शांतिभंग करने के आरोप में जेल भेज दिया, जो अभी तक बंद है। 77 हजार लोगों को रेड कार्ड जारी किए गए।

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मतदान के बाद भी आजम खां पर एक और मुकदमा

गठबंधन प्रत्याशी सपा नेता आजम खां के खिलाफ मतदान के बाद भी एक और मुकदमा दर्ज हो गया है। इस बार उन पर मतदाताओं को पुलिस के खिलाफ भड़काने का आरोप है। यह मुकदमा लोकसभा चुनाव में एआरओ बनाए गए उप जिलाधिकारी सदर प्रेम प्रकाश तिवारी की तहरीर पर सिविल लाइंस कोतवाली में दर्ज किया गया है। इसके अनुसार आजम ने मतदान के दिन लोगों को भड़काया था। कहा था कि पूरी ताकत के साथ, जरूरत के साथ, हिम्मत के साथ, एक आजाद ¨हदुस्तानी की तरह बिना खौफ वोट डालें। वर्दी से न डरें। वर्दी आपके वोट के हक को छीन नहीं सकती। ये आपका बुनियादी अधिकार है। आज अगर घर बैठे रह गए तो घर से निकलना दुश्वार हो जाएगा। आज अपने सारे बंधन तोड़ो, अपनी ताकत को पहचानो। मैं साथ हूं तुम्हारे। पोल करो, फौरन घर से निकलो। खाने का इंतजार मत करो, क्योंकि खाना आज के लिए है और वोट नस्लों के लिए। बीएलओ की पर्ची का इंतजार न करें। आपका वोट पड़ेगा। हमारे एजेंट आपको बूथों पर मिलेंगे। गूगल से पर्ची निकाल लीजिए। पो¨लग पांच बजे तक नहीं है, बल्कि छह बजे तक है। जो लोग लाइन में लग जाएंगे, उन्हें चाहे रात के 12 बज जाएं, उन्हें वोट डलवाया जाएगा। एक बार मेरे शहर वालों मेरा यह अरमान भी पूरा हो कि लाइन इतनी लंबी हो कि वोट रात के 10-11 बजे तक डलें और जालिम तुम्हारी ताकत के आगे घुटने टेक दे। तहरीर में कहा गया है कि ऐसे बयान से निर्वाचन आयोग के निर्देशों का उल्लंघन हुआ है। उन्होंने मतदाताओं को पुलिस के प्रति भड़काने का काम किया है। सिविल लाइंस कोतवाल राधेश्याम ने बताया कि आजम के खिलाफ लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है।


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