मंडल के 2,434 पावरलूमों को हर माह मिलेगा 28 लाख का अनुदान Moradabad News
बिलारी अमरोहा और बिजनौर में तैयार हो रहा स्टॉल। रजाई-गद्दे का खोल काटन का चादर और गॉज बैंडेज।
(मोहन राव) मुरादाबाद। पावरलूमों को बढ़ावा देने के लिए बिजली खपत में अनुदान देगी। हर माह मंडल में संचालित 2,434 पावरलूमों को अनुदान के रूप में 28 लाख 76 हजार 400 रुपये अनुदान के रूप में मिलेगा। एक हार्स पावर वाले पावरलूम को 220 यूनिट और आधा हार्स पावर वाले पावरलूम को 120 यूनिट बिजली खपत पर अनुदान के रूप में 3.50 रुपये प्रदेश सरकार देगी। इससे अधिक बिजली खपत पर पावरलूम संचालकों को ही बिजली बिल देना होगा।
मंडल में 3,311 पावरलूम पंजीकृत हैं जिसमें सर्वे में 2,434 पावरलूम ही संचालित मिले हैं। बाकी पावरलूम या तो बंद हो गये हैं या फिर उनका बिजली कनेक्शन पीडी हो गया है। पावरलूमों को बिजली अनुदान का लाभ जनवरी-2020 से ही मिलेगा।
बजट का इंतजार
प्रदेश सरकार द्वारा पावरलूमों की संख्या और बिजली खपत की सूचना मांगी गयी थी। इसे बनाकर शासन को भेजा गया है। जनवरी-2020 से हर माह अनुदान मिलना है, जिसके लिए बजट का इंतजार है।
सर्वे में छूटे हैं तो बिजली निगम में करें आवेदन
बिजली खपत में अनुदान का लाभ पाने से वंचित पावरलूम संचालकों को बिजली निगम में आवेदन करना होगा। बिजली विभाग द्वारा हथकरघा एवं वस्त्र विभाग को पत्र भेजा जाएगा। इसके बाद दोनो विभाग संयुक्त रूप से सर्वे करके शासन को रिपोर्ट देंगे। अगर पावरलूम संचालक पात्र मिलेगा तो उसे भी अनुदान का लाभ मिलेगा।
स्टॉल, शूटिंग-शर्टिंग, चादर हो रही तैयार : बिलारी, अमरोहा और बिजनौर में अधिकतर पावरलूम संचालित हैं। बिलारी में रजाई-गद्दे के खोल का कपड़ा और काटन का चादर बनता है। अमरोहा और बिजनौर में स्टॉल (डुपट्टा), गॉज बैंडेज के साथ ही शूटिंग-शर्टिंग का कपड़ा तैयार किया जाता है।
पावरलूम के लिए करें आवेदन
पावरलूम लगाने के लिए हथकरघा एवं वस्त्र विभाग में आवेदन करना होगा। शुरुआत में अस्थाई पंजीकरण होगा। बिजली कनेक्शन लेने के बाद हथकरघा और बिजली निगम द्वारा संयुक्त रूप से सर्वे किया जाएगा। सबकुछ ठीक मिलने के बाद शासन को रिपोर्ट भेजी जाएगी। इसके बाद स्थायी पंजीकरण होगा।
पावरलूम संचालकों को जनवरी-2020 से बिजली खपत पर अनुदान मिलना है, इसके लिए बजट की मांग की गयी है। हर माह पावरलूम संचालकों को सरकार की तरफ से अनुदान मिलेगा, ताकि पावरलूम बंद न हों। पावरलूमों के चलने से स्थानीय लोगों को रोजगार मिल रहा है।
अरविंद सिंह, सहायक आयुक्त हथकरघा एवं वस्त्र उद्योग