शेरवां पहाड़ी पर पूर्वांचल का सबसे बड़ा जुए का अड्डा
जागरण संवाददाता मीरजापुर जौनपुर जनपद के सराय ख्वाजा थाने पर तैनात हेडकांस्टेबल शशिका
जागरण संवाददाता, मीरजापुर : जौनपुर जनपद के सराय ख्वाजा थाने पर तैनात हेडकांस्टेबल शशिकांत सिंह की जमालपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत शेरवां पहाड़ी पर संचालित कराने वाले जुए खेल के माफियाओं द्वारा हत्या कराए जाने की आशंका जताई जा रही है। स्थानीय लोगों की माने तो हेडकांस्टेबल जमालपुर थाने में तैनात रह चुके हैं। वे यहां की आबोहवा की स्थिति से अवगत थे। वे किसी भी जिले में तैनात रहे लेकिन यहां उनका आना जाना लगातार बना रहा। घटना के दिन भी उन्हें पहाड़ी पर कुछ लोगों के साथ जाते हुए देखा गया था। ऊपर क्या हुआ यह किसी को पता नहीं लेकिन शाम पांच बजे तक काफी संख्या में लोग नीचे तेजी से आए और फरार हो गए।
शेरवां पहाड़ी के जिस स्थान पर हेडकांस्टेबल की हत्या हुई है, उसके आसपास सबसे बड़ा जुए का अड्डा चलता है। यहां पूर्वाचल के एक दर्जन जनपद वाराणसी, मीरजापुर, चंदौली, सोनभद्र, भदोही व प्रयागराज सहित अन्य जिले के लोग जुआ खेलने आते हैं। खेल के दौरान लाखों रुपये की बाजी लगाई जाती है। हारने वाले व्यक्ति को दोबारा खेलने के लिए दस से 20 रुपये प्रतिशत प्रति सौ रुपये की दर से ब्याज पर रुपये भी दिए जाते हैं। दोबारा हारने पर उसकी गाड़ी, मोबाइल, चेन सहित अन्य सामान ले लिए जाते हैं। बताया जाता हैं कि यहां पर लगभग 20 वर्षो से जुआ चलता है। कई लोग इस खेल में बर्बाद भी हो चुके हैं। इसको बंद कराने के लिए नीचे से लेकर ऊपर तक के पुलिस अधिकारियों से शिकायत की गई कुछ नहीं हुआ। मामले की शिकायत करने पर स्थानीय पुलिस चंदौली जनपद में खेल होने का मामला बताती है तो चंदौली पुलिस मीरजापुर का मामला बताकर अपना-अपना पल्ला झाड़ लेती है। कहा जाता हैं कि इस खेल का संचालन कराने वाले लोगों की पहुंच बड़े बड़े लोगों के यहां है। इसमें कुछ माफिया भी शामिल है। पुलिस वालों की मिलीभगत से चल रहे इस खेल ने आखिरकार वर्दीधारी की ही जान ले ली।
ऐसे किसी जुए के खेल के बारे में मुझे जानकारी नहीं है। ऐसा कोई खेल चल रहा है तो तत्काल बंद कराया जाएगा। इसमें जो भी लोग दोषी होंगे उनके विरुद्ध कार्रवाई भी होगी।
महेश अत्री, अपर पुलिस अधीक्षक आपरेशन