ग्राम पंचायतों में पंचायत भवन निर्माण की कवायद
लोकतांत्रिक व्यवस्था में लोकतंत्र की सबसे छोटी इकाई के रूप में गांवों की सरकार यानी ग्राम पंचायतें अपनी मिनी संसद की बैठकों में विकास नियोजन स्वास्थ्य आदि से लगायत कई मुद्दों पर चर्चा करती हैं और इसके जिम्मेदार विकास के लिए प्रस्ताव तैयार करते हैं।
जागरण संवाददाता, चुनार (मीरजापुर) : लोकतांत्रिक व्यवस्था में लोकतंत्र की छोटी इकाई के रूप में गांवों की सरकार यानी ग्राम पंचायतें मिनी संसद की बैठकों में विकास, नियोजन, स्वास्थ्य आदि से लगायत कई मुद्दों पर चर्चा करती हैं। इसके जिम्मेदार विकास के लिए प्रस्ताव तैयार करते हैं। 96 ग्राम पंचायतों वाले नरायनपुर विकास खंड में 21 ग्राम पंचायतों में पंचायत भवन नहीं हैं। प्रमुख सचिव पंचायती राज के फरमान के बाद जहां गांव की सरकारों के लिए भवनों के बनने की आस जगी है वहीं ब्लाक के जिम्मेदार अधिकारियों ने भी निर्माण हेतु कवायद तेज कर दी है। बीडीओ पवन कुमार सिंह ने बताया कि विकास खंड के काशीपुर, लिझरी कला व अल्हौआं ग्राम पंचायतों में आठ कमरों वाली बनने वाले पंचायत भवनों का निर्माण राष्ट्रीय ग्राम स्वरोजगार अभियान के तहत कराया जाएगा। इन गांवों में भवनों की लागत 22 से 23 लाख रुपये आएगी। एडीओ पंचायत केके सिंह ने बताया, 18 ग्राम पंचायतों में चार कमरों वाले पंचायत भवनों का निर्माण होना है। इसके लिए शासन से स्वीकृत नक्शे प्राप्त हुए हैं।