पाश्चात्य संस्कृति का कतई न करें अनुकरण : शंकराचार्य
-बिन्ध्याचल।जगन्नाथ पुरी के शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद पुरी महाराज ने आज नगर विधायक श्री रत्नाकर मिश्र के विन्ध्याचल स्थित आवास पर भक्तजनों को आशीर्वाद प्रदान किया और सनातन धर्म के विषय में उनकी जिज्ञासाओं का भी समाधान किया।स्वामी जी ने अपने उद्बोधन में सभी का आह्वान किया कि हम पाश्चात्य संस्कृति के पीछे भग्न बन्द करें
जागरण संवाददाता, मीरजापुर : जगन्नाथ पुरी के शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद महाराज ने मंगलवार को नगर क्षेत्र व ¨वध्य क्षेत्र में श्रद्धालुओं को आशीर्वाद प्रदान किया। बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने उनका दर्शन किया। नगर में रोडवेज के पास एक लाज में उनका स्वागत विश्वनाथ अग्रवाल व बंशीधर अग्रवाल ने किया। सुभाष पांडेय, अखिलेश मिश्रा व अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। अपने प्रवचन में स्वामी जी ने वैदिक ज्ञान को सर्वोपरि बताया और आह्वान किया कि हम पश्चिमी सभ्यता के पीछे न भागें। अपनी संस्कृति को पहचाने। इसी संस्कृति के चलते भारत विश्व गुरु था और पुन: बन सकता है।
¨वन्ध्याचल : जगन्नाथ पुरी के शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद पुरी महाराज ने नगर विधायक रत्नाकर मिश्र के विन्ध्याचल स्थित आवास पर भक्तजनों को आशीर्वाद प्रदान किया और सनातन धर्म के विषय में उनकी जिज्ञासाओं का भी समाधान किया। स्वामी जी ने अपने उद्बोधन में सभी का आह्वान किया कि हम पाश्चात्य संस्कृति के पीछे भागना बन्द करें और अपनी शाश्वत भारतीय परम्परा का अनुसरण करें। उन्होंने भारतीय परम्परा को विशुद्ध वैज्ञानिक और उदार बताते हुए कहा कि भारत देवभूमि है, यहीं से सम्पूर्ण मानव सभ्यता का पूरे विश्व में प्रचार,प्रसार हुआ है। सारा विश्व आज भारत की तरफ देख रहा है, यही समय है जब हमें सारे विश्व में वैदिक ज्ञान का प्रचार प्रसार करना है। स्वामी जी ने वर्ण व्यवस्था, वैदिक परम्परा, ब्रह्मचर्य इत्यादि विषयों पर जिज्ञासुओं की शंकाओं का समाधान भी किया। अपने आवास पर नगर विधायक रत्नाकर मिश्र ने सपरिवार स्वामी जी का स्वागत किया। ब्रह्माकुमारी आश्रम से बिन्दू बहन जी ने स्वामी जी का स्वागत किया। इस अवसर पर प्रदीप मिश्र, राकेश शुक्ल, बंशीधर अग्रवाल, नारायण जी अग्रवाल, चंद्रान्शु गोयल सहित सैकड़ो की संख्या में भक्तजनों की उपस्थिति रही। अंत में स्वामी जी ने सभी को प्रसाद वितरित किया। प्रशासन की तरफ से उनके आगमन पर चाक चौबंद सुरक्षा व्यवस्था की गई थी। स्वामी जी को जेड श्रेणी की सुरक्षा प्राप्त है।