सर्वाइकल के दर्द से निजात पाने को करें योगासन
शरीर को किसी भी तरह के व्यायाम से न जोड़े रखने के कारण कई तरह की बीमारियां धीरे-धीरे घर कर जाती हैं।
मेरठ, जेएनएन : शरीर को किसी भी तरह के व्यायाम से न जोड़े रखने के कारण कई तरह की बीमारियां धीरे-धीरे घर कर जाती हैं। पहले शरीर अकड़ता-जकड़ता है और बाद में वह बीमारी का रूप पकड़ लेती हैं। इसलिए नियमित रूप से योगासनों का अभ्यास लाभकारी होता है। लोगों को योग को जीवन से जोड़ने को प्रेरित करने के लिए दैनिक जागरण की ओर से निश्शुल्क योग शिविर लगाए जा रहे हैं।
इस कड़ी में शुक्रवार सुबह भी योग शिविर रुड़की रोड स्थित इंद्रप्रस्थ स्टेट प्रथम में लगा। योग गुरु पंकज त्यागी ने कहा कि प्रत्याहार का अर्थ विषयों से विमुख होना है। प्रत्याहार द्वारा बहुर्मुखी इंद्रियों को अंतर्मुखी किया जाता है। दसों इंद्रियों का बहिर्मुखी होना ही दशानन है। इंद्रिया मन को वश में करने से वश में होती हैं। क्यों मन ही इन अश्वों का सारथी है। इसीलिए हमें मन को वश में रखने के लिए नियमित योग अभ्यास करना चाहिए।
विकास क्रिया से सरवाइकल में मिली राहत
वरिष्ठ योग शिक्षक राजबीर पाल ने सर्वाइकल से पीड़ित रोगियों को ग्रीवा शक्ति विकास क्रिया, स्कंध शक्ति विकास क्रिया, मणिबंध शक्ति विकास क्रिया, करतल शक्ति विकास क्रिया का अभ्यास वैज्ञानिक तकनीकी के साथ कराया। योग शिक्षक कमल वर्मा ने घुटने के दर्द से पीड़ित रोगियों को जानु शक्ति विकास क्रिया, उत्तान जानु संचालन क्रिया, जानु चक्रमय क्रिया का सफल अभ्यास कराके घुटनों के दर्द से मुक्ति की युक्ति को बताया।
किया प्राणायाम, बंध व मुद्रा
योग शिक्षक नीरज ने योग शिविर में सभी को उज्जायी प्राणायाम का अभ्यास कराया। हृदय एवं थायराइड से पीड़ित रोगियों को इसे नित्य करने की सलाह दी। योगी बबलू ठाकुर ने योग शिविर में यौगिक बंधों की जानकारी दी। डन्होंने मूल बंध, उड्डियान बंध, जालंधर बंध को प्रयोग करने की विधि की जानकारी दी। योग शिक्षक अजय कुमार ने मुद्राओं की जानकारी देते हुए वायु मुद्रा व हृदय मुद्रा का अभ्यास करना भी बताया। योग शिविर में विपिन चौहान, प्राची, सतीश सिंह, अजय कुमार आदि का विशेष योगदान रहा।
लोकसभा चुनाव और क्रिकेट से संबंधित अपडेट पाने के लिए डाउनलोड करें जागरण एप