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Weather Update : आप अपने घरों की खिड़की बंद रखें..जहरीली है शहर की हवा Meerut News

Weather Update खिड़की खोलकर सुबह की ताजी हवा लेने वाले जरा सावधान हो जाएं। एनसीआर में धुंध के साथ विषाक्त हवा बह रही है।

By Prem BhattEdited By: Published: Fri, 13 Dec 2019 10:53 AM (IST)Updated: Fri, 13 Dec 2019 10:53 AM (IST)
Weather Update : आप अपने घरों की खिड़की बंद रखें..जहरीली है शहर की हवा Meerut News
Weather Update : आप अपने घरों की खिड़की बंद रखें..जहरीली है शहर की हवा Meerut News

मेरठ, जेएनएन। Weather Update खिड़की खोलकर सुबह की ताजी हवा लेने वाले जरा सावधान हो जाएं। एनसीआर में धुंध के साथ विषाक्त हवा बह रही है। एन्वायरमेंट पॉल्यूशन कंट्रोल अथॉरिटी, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और पर्यावरणविदों ने आगाह किया कि प्रदूषण के दौरान खिड़की बंद रखें। मेरठ में गुरुवार शाम बारिश के बावजूद एयर क्वालिटी इंडेक्स खतरनाक रूप से 350 से ज्यादा दर्ज किया गया। पीएम-2.5 की मात्र बेहद खतरनाक मिली। हालांकि, रात दस बजे के आसपास बारिश तेज होने से शुक्रवार को हवा साफ रहने की उम्मीद बढ़ी है।

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तेवर हैं खतरनाक

एनसीआर में दीपावली के बाद से प्रदूषण ने खतरनाक तेवर दिखाना शुरू किया, हालांकि नवंबर के अंत में हवा में कई बार सुधार नजर आया। एक्यूआइ का स्तर 100 से नीचे भी मिला, जबकि पीएम-2.5 का स्तर लंदन की तर्ज पर 40 माइक्रोग्राम प्रति घनमीटर तक रह गया। मेरठ के तीन हवा की गुणवत्ता मापक केंद्रों की रिपोर्ट बताती है कि नौ से 12 दिसंबर तक प्रदूषण का स्तर लगातार खतरनाक बना रहा। पल्लवपुरम में गुरुवार रात आठ बजे एक्यूआइ का स्तर 405 पार कर गया। पीएम2.5 का स्तर मानक 60 के बजाय 300 से ज्यादा मिला। कार्बन मोनोऑक्साइड एवं नाइट्रोजन डाई ऑक्साइड की मात्र भी 100 माइक्रोग्राम प्रति घनमीटर से ज्यादा दर्ज की गई।

सांस के मरीजों पर आफत

मेडिकल कालेज की प्रोफेसर डॉ. आभा गुप्ता का कहना है कि ओपीडी में बड़ी संख्या में सांस के मरीज पहुंच रहे हैं। धुंध की वजह से नाक की एलर्जी बढ़ती है। एलर्जिक रानाइटिस, साइनोसाइटिस, खांसी, कफ, सांस फूलने के लक्षण मिल रहे हैं। अस्थमा और सीओपीडी के मरीजों की स्थिति और भी ज्यादा खराब है। बच्चों और बुजुर्गो के शरीर में आक्सीजन की मात्र गिर रही है। पीएम2.5 के कण फेफड़ों के जरिये रक्त में पहुंचकर हार्ट अटैक, ब्रेन स्ट्रोक व अन्य बीमारियों की वजह बन रहे हैं।

शाम को ली अंगड़ाई

गुरुवार को दिनभर धुंध और सर्द मौसम ने शाम को अंधेरा ढलने के साथ अंगड़ाई ली। शाम करीब छह बजे हल्की बारिश हुई, जिससे पारा और ढल गया। सड़कों के गीला होने से वाहनों की हेडलाइट से प्रकाश रिफ्लेक्ट होने से वाहन चालकों को असुविधा हुई। वाहनों की गति थोड़ी देर के लिए धीमी करनी पड़ी। रात दस बजे के आसपास तेज बारिश से पारा और ढल गया।

आज पड़ सकते हैं ओले

मौसम विभाग ने शुक्रवार को एनसीआर में बारिश की संभावना जताई है। तेज हवा के साथ ओले भी पड़ सकते हैं। गुरुवार को दिन का अधिकतम तापमान 19.3 डिग्री दर्ज हुआ तो सामान्य से पांच डिग्री सेल्सियस कम रहा। न्यूनतम तापमान 8.9 मिला। वैज्ञानिकों ने बताया कि आने वाले एक सप्ताह के दौरान ओले, गरज के साथ बारिश और तेज हवा चलने का अंदेशा बना हुआ है।

कई इलाकों में छा गया अंधेरा

गुरुवार को देर शाम पानी बरसते ही शहर के कई इलाकों में अंधेरा छा गया। बिजली गुल होने के बाद लोग परेशान रहे। वहीं, विभागीय अधिकारी फॉल्ट सुधारने के लिए बारिश बंद होने का इंतजार करते रहे। गुरुवार को मौसम ने करवट बदली। देर शाम बूंदाबांदी शुरू हो गई। देखते ही देखते बारिश तेज हो गई। जिसके बाद शहर में नौचंदी और हापुड़ रोड स्थित विद्युत उपकेंद्र में फॉल्ट आने से इन इलाकों में अंधेरा छा गया। करीब शाम सात बजे गई बिजली के लिए लोग रात 10 बजे तक इंतजार करते रहे। बिजलीघर में फोन लगाकर जानकारी लेते रहे। जहां से विभागीय कर्मचारी यही जानकारी देते रहे कि लाइन टिप कर गई है। बारिश बंद होने पर ही सुधार किया जा सकेगा। इसके चलते लोगों को कई घंटे अंधेरे में रहना पड़ा। अधीक्षण अभियंता शहर एके सिंह ने बताया कि नौचंदी और हापुड़ रोड उपकेंद्र में फॉल्ट आया है। बारिश बंद होने पर ही सुधार कार्य संभव है।

इनका कहना है

सांस के मरीजों खासकर बुजुर्ग और बच्चों के लिए धुंध घातक है। सांस के बुजुर्ग मरीजों के शरीर में आक्सीजन का स्तर तेजी से गिर सकता है, जिन्हें भर्ती करने की जरूरत पड़ती है। खिड़की न खोलें। मार्निग वाक कतई न करें।

- डॉ. वीरोत्तम तोमर, सांस एवं छाती रोग विशेषज्ञ

मेडिकल कालेज में सांस के मरीज ज्यादा हैं। इस बार मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया, स्वाइन फ्लू जैसी बीमारियां ज्यादा नहीं रहीं, लेकिन प्रदूषण हर बार से ज्यादा लोगों को बीमार कर रहा है। प्रदूषित हवा में एक्सरसाइज न करें।

- डॉ. आभा गुप्ता, प्रोफेसर, मेडिसिन विभाग, मेडिकल कालेज 


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