मौसरे भाई ने साथियों संग मिलकर किया बालक का अपहरण, 60 लाख की मांगी फिरौती, मुजफ्फरनगर पुलिस ने किया पर्दाफाश
मुजफ्फरनगर के एएसपी कृष्ण विश्नोई ने बताया कि छपार निवासी 12 वर्षीय शाबान को बीती 20 नंवबर को उसकी मौसी का पुत्र सादिक नुमाइश दिखाने के लिए मुजफ्फरनगर ले गया था। कुछ दिनों तक उसने शाबान को अपने घर पर रखा लेकिन इसके बाद वह लापता हो गया।
मुजफ्फरनगर, जागरण संवाददाता। छपार कस्बे से बालक का अपहरण कर 60 लाख रुपये की फिरौती मांगने के मामले में पुलिस ने तीन आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया। बालक को भी बरामद कर लिया गया है। एक आरोपित अपहृत का मौसेरा भाई है। पूछताछ के बाद पुलिस ने आरोपितों का चालान कर दिया।
यह है मामला
थाना छपार में आयोजित प्रेसवार्ता में एएसपी कृष्ण विश्नोई ने बताया कि छपार निवासी 12 वर्षीय शाबान को बीती 20 नंवबर को उसकी मौसी का पुत्र सादिक पुत्र सदाकत निवासी मौहल्ला खालसा पट्टी गांव सूजडू नुमाइश दिखाने के लिए मुजफ्फरनगर ले गया था। कुछ दिनों तक उसने शाबान को अपने घर पर रखा, लेकिन इसके बाद वह लापता हो गया। शाबान का पता न लगने पर स्वजन ने 25 नवंबर को थाने में गुमशुदगी दर्ज कराई। उसका पिता सत्तार सऊदी अरब में रहता है। आरोपितों ने दो दिनों पूर्व स्वजन को फोन कर 60 लाख रुपये फिरौती की मांग की। शनिवार सुबह शाबान का पिता सत्तार सऊदी अरब से घर वापस लौटा और पुलिस को मामले से अवगत कराया। पुलिस ने गुमशुदगी को अपहरण पर तरमीम कर लिया। एसएसपी अभिषेक यादव ने क्राइम ब्रांच व छपार पुलिस को अपहरण के राजफाश करने के निर्देश दिए।
सर्विलांस की सहायता से पुलिस ने किया मामले का पर्दाफाश
पुलिस व क्राइम ब्रांच की टीम ने रविवार रात्रि में सर्विलांस की सहायता से रेत्तानगला व खोजानंगला के जंगल से तीन आरोपितों अब्दुल रहमान पुत्र रिजवान निवासी गांव गंदौर हजूरनगर थाना शाहपुर, शहजाद पुत्र इस्लामुद्दीन निवासी मिमलाना रोड थाना कोतवाली मुजफ्फरनगर व अपहत शाबान के मौसेरे भाई सादिक पुत्र सदाकत निवासी गांव सूजडू को भी गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने आरोपितों के पास से ही अपहृत शाबान को भी सकुशल बरामद कर लिया। आरोपितों के पास पुलिस ने अपहरण में प्रयुक्त दो तमंचे 315 बोर, एक चाकू व अपहरण में प्रयुक्त दो मोबाइल भी बरामद किए हैं।
एक आरोपित के खिलाफ हरियाणा में दर्ज हैं कई मामले
पुलिस के अनुसार अब्दुल रहमान के विरुद्ध हरियाणा में लूट के कई मामलें दर्ज हैं, जिन्होंने से एक मामला में उसे सजा भी हो चुकी है। जबकि अन्य दो आरोपितों का कोई अपराधिक इतिहास नहीं मिला है। पुलिस ने आरोपितों के विरुद्ध 364 ए व धारा 3/25 आम्र्स एक्ट में मुकदमा दर्ज करते हुए उसका चालान कर दिया है।शाबान के परिवार की अच्छी आर्थिक स्थिति की सादिक को थी जानकारी
पुलिस के अनुसार आरोपितों को पता था कि शाबान का पिता सत्तार सऊदी में नौकरी करता है और उसके पास अच्छा बैंक बैलेंस है। जिसकी पूरी जानकारी आरोपित सादिक को थी। फिरौती की रकम वसूलने के लिए ही उसने वारदात को अंजाम दिया, परंतु पुलिस ने उसके अरमानों पर पानी फेर दिया।