तहसीलों में कामकाज ठप, लेखपालों का कलक्ट्रेट में धरना Meerut News
उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ के आह्वान पर शुक्रवार को जिले की तीनों तहसीलों के लेखपालों ने अपनी मांगों को लेकर कलक्ट्रेट पर बेमियादी धरना शुरू कर दिया है।
मेरठ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ के आह्वान पर शुक्रवार को जिले की तीनों तहसीलों के लेखपालों ने अपनी मांगों को लेकर कलक्ट्रेट पर बेमियादी धरना शुरू कर दिया है। धरने के कारण तीनों तहसीलों में कामकाज ठप हो गया है। उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ के पदाधिकारियों का कहना है कि पिछले 4 वर्ष से वह बार-बार आंदोलन कर रहे हैं। उनको आश्वासन भी मिला है, लेकिन अभी तक उनकी मांग पूरी नहीं हुई है। उनकी मांग है कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना में समस्त कार्य लेखपालों से कराया गया, किंतु केंद्र सरकार द्वारा आवंटित इंसेंटिव हेतु बजट में से लेखपालों को कोई भुगतान नहीं किया गया।
यह है शिकायत
95 फीसद लेखपाल 35-36 वर्ष की सेवा पर भी बिना प्रमोशन के ही पद से सेवानिवृत्त हो जाते हैं, जबकि अन्य विभागों में सेवाकाल में तीन-तीन प्रमोशन कर्मचारी प्राप्त कर रहे हैं। शासन द्वारा राजस्व निरीक्षक के 1405 अतिरिक्त पदों का सृजन भी स्वीकृत नहीं किया जा रहा है और न ही ऐसी व्यवस्था के प्रति गंभीर है। जिससे लेखपाल को भी सेवाकाल में तीन प्रमोशन मिल सके। एसीपी व्यवस्था से कलक्ट्रेट लिपिक, पुलिस कांस्टेबल, अवर अभियंता, फार्मासिस्ट आदि को पूर्व की व्यवस्था के सापेक्ष शीघ्र अधिक लाभ मिलने लगे हैं। जबकि लेखपालों के लाभ कम हो गए हैं। जिसके कारण लेखपाल संवर्ग में ही 2 वर्ग बन गए हैं। 30 नवंबर 94 से पूर्व नियुक्त होने वाले लेखपालों को 16 वर्ष की सेवा पर ग्रेड पे मिल रहा है। जबकि 30 नंबर 94 के बाद नियुक्त होने वाले लेखपालों को 16 वर्ष की सेवा पर ग्रेड पे 2800 मिल रहा है।
विधानसभा का करेंगे घेराव
उनका यह भी कहना है कि कानूनगो, ग्राम सेवक, पंचायत सचिव, ओवरसीज, कनिष्ठ लिपिक नलकूप चालक, नलकूप मिस्त्री आदि अनेकों कर्मचारियों के पद नाम के बदले गए हैं किंतु लेखपाल का पदनाम एक बार भी नहीं बदला गया। जबकि इससे कोई नुकसान नहीं है। उन्होंने एलान किया कि मांग पूरी न होने पर आगामी 27 दिसंबर को विधानसभा का घेराव किया जाएगा। आरोप है कि राजस्व परिषद एवं शासन के राजस्व विभाग द्वारा मांगों को जायज मानते हुए संस्तुति की जा चुकी है, लेकिन वित्त विभाग बार-बार कुछ ना कुछ आपत्ति लगाकर प्रकरण को लटका रहा है। जिससे लेखपालों में आक्रोश है। इसके विरोध में ही शुक्रवार से सभी ने कलेक्ट्रेट पर अनिश्चितकालीन धरना कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया है।
धरने पर यह बैठे
धरने की अध्यक्षता जिला संयोजक धर्मपाल सिंह ने की। धरने पर उपस्थित लेखपालों में राधेश्याम शर्मा, गुरु मेहर सिंह, अरविंद कुमार, मनवीर सिंह, सुरेश शर्मा, संदीप यादव, लोकेंद्र कुमार, सुशील शर्मा, पृथ्वी सिंह, मोहम्मद यासीन, विष्णु शरण शर्मा, मुकेश गौड़ व नीरज कुमार आदि मुख्य रूप से शामिल रहे।