मेरठ सिवाया टोल पर राकेश टिकैत ने कहा, समझौते के आधार पर स्थगित हुआ आंदोलन
तीनों कृषि कानूनों के विरोध में गाजीपुर बार्डर पर एक साल से अधिक आंदोलन चलाने के बाद बुधवार को भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत की घर वापसी हुई। सुबह नौ बजे वह गाजीपुर बार्डर से अपने काफिले के साथ रवाना हुए।
मेरठ, जागरण संवाददाता। तीनों कृषि कानूनों के विरोध में गाजीपुर बार्डर पर एक साल से अधिक आंदोलन चलाने के बाद बुधवार को भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत की घर वापसी हुई। सुबह नौ बजे वह गाजीपुर बार्डर से अपने काफिले के साथ रवाना हुए। मेरठ की सीमा में प्रवेश करते ही दिल्ली-दून बाइपास पर उनका जगह-जगह भाकियू कार्यकर्ताओं ने जोरदार स्वागत किया। राकेश टिकैत दोपहर लगभग ढाई बजे सिवाया टोल प्लाजा पहुंचे। जहां उन्होंने पत्रकार वार्ता भी की।
राकेश टिकैत ने सिवाया टोल पर कहा कि समझौते के आधार पर आंदोलन स्थगित हुआ है। अगली बैठक संयुक्त किसान मोर्चा की 15 जनवरी को दिल्ली में होगी, जिसमें 40 लोग शामिल होंगे। इस बैठक में चर्चा होगी कि एक साल में क्या खोया क्या पाया। उन्होंने कहा कि इसके बाद राज्य सरकारों से भी मिला जाएगा। उन्होंने कहा कि आंदोलन को सफल बनाने में सफाई कर्मचारियों से लेकर किसान, नौजवान, महिलाएं, बच्चे, डाक्टर व पुलिस प्रशासन समेत कई तबकों का पूरा सहयोग मिला। एक साल तक चले इस आंदोलन से पूरे देश का किसान जागा है।
उन्होंने कहा कि फतेह मार्च निकालकर सभी किसान अपने-अपने घर लौट रहे हैं। तीनों कृषि कानून सरकार ने वापस लिए हैं। एमएसपी पर कमेटी बनी है, जो काम शुरू करेगी। किसानों के मुकदमे वापस होने की बात हुई है। जिन 750 किसानों की शहादत हुई है। उन्हें मुआवजा देने के लिए आश्वासन मिला है। इसी के साथ राकेश टिकैत ने मंच से सिवाया टोल के धरने की समाप्ति की घोषणा की। कहहा कि शाम पांच बजे तक कमेटी सभी सामान को टोल प्रबंधन के हवाले कर देगी। चुनाव के सवाल पर राकेश टिकैत ने कहा कि आचार संहिता लगने के बाद वह बताएंगे। काफिले में राकेश टिकैत के साथ चरण सिंह टिकैत व गौरव टिकैत भी मुख्य रूप से शामिल रहे। लगभग तीन बजे राकेश टिकैत का काफिला मुजफ्फरनगर की ओर आगे बढ़ गया।