जागरण संवाददाता, मेरठ : शाहजहांपुर से भाजपा के सांसद अरुण कुमार सागर ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को शिकायती पत्र भेजकर मेरठ में जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी के पद पर तैनात रहे एसएन पांडेय पर गंभीर आरोप लगाए हैं। सांसद ने पद पर रहते हुए सरकारी धन के दुरुपयोग का आरोप लगाकर कार्रवाई की मांग की है। प्रकरण में एडीएम सिटी ने जांच के लिए एसीएम तृतीय को जिम्मेदारी सौंपी है। उधर, एसएन पांडेय ने साक्ष्यों के साथ तमाम आरोपों को नकार दिया है।
सांसद अरुण कुमार ने गत 24 दिसंबर को मुख्यमंत्री के नाम पत्र लिखकर शिकायत की थी। शिकायत में आरोप लगाते हुए बताया कि वर्ष 2012 से 2017 तक मेरठ में जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी के साथ उपनिदेशक व संयुक्त निदेशक के पद पर तैनात रहते हुए पांडेय ने गैर अल्पसंख्यक छात्रों के नाम पर छात्रवृत्ति अवमुक्त कर सरकारी धन का दुरुपयोग किया है। जिससे बड़ी धनराशि का बंदरबाट किया गया है।
सांसद ने कुछ छात्रों का हवाला भी अपनी शिकायत में दिया। प्रकरण का संज्ञान लेकर शासन ने जिला प्रशासन को जांच कराने के लिए निर्देशित किया। प्रकरण की जांच के लिए शुक्रवार को एडीएम सिटी दिवाकर सिंह ने एसीएम तृतीय को जिम्मेदारी देकर एक माह में रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए निर्देशित किया।
अधिकारी ने लिसाड़ी गेट थाने में दी थी तहरीर
एसएन पांडेय ने मेरठ में अपनी तैनाती के दौरान वर्ष 2015 में जाकिर कालोनी निवासी मोहम्मद शरीफ सैफी पर कार्रवाई के लिए लिसाड़ी गेट थाने में तहरीर दी थी। पांडेय ने बताया कि शरीफ ने फर्जी छात्रवृत्ति मामले में उन्हें फंसाने के लिए पूर्व जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी सुमन गौतम व उनके पति डा. टैगोर निमी के साथ मिलकर साजिश की है। मानसिक उत्पीड़न करने का आरोप लगाकर पांडेय ने पुलिस से कार्रवाई की मांग की थी।