मेरठ में पिता ने दी बेटी की हत्या की सुपारी, फर्जी डाक्टर ने आइसीयू में युवती को लगाया जहर वाला इंजेक्शन
poisonous injection मेरठ में अजीबो गरीब मामला सामने आया है। फर्जी डॉक्टर बनकर फिल्मी स्टाइल में एक युवक आईसीयू में घुसा और युवती को मौत का इंजेक्शन लगा दिया युवती की हालत बिगड़ने पर डॉक्टरों ने सीसीटीवी के आधार पर आरोपित को पकड़ लिया।
मेरठ, जागरण संवाददाता। अस्पताल में भर्ती किशोरी को पोटैशियम क्लोराइड का हाई डोज का इंजेक्शन लगाकर जान से मारने की कोशिश का मामला सामने आया है। उसकी हालत बिगड़ने पर की गई छानबीन में पता चला कि एक युवक डाक्टर की पोशाक पहनकर आइसीयू में घुसा और उसी ने इंजेक्शन लगाया। पूछताछ में युवक ने खुद को दूसरे अस्पताल का कंपाउंडर बताया और कहा कि किशोरी के पिता ने ही जान से मारने के लिए उसे एक लाख की सुपारी दी थी। पिता को कक्षा 11 में पढ़ने वाली किशोरी की एक जिम संचालक से दोस्ती पर आपत्ति थी।
पिता ने किशोरी को कराया था अस्पताल में भर्ती
कंकरखेड़ा के शिवलोक पुरी निवासी एक व्यक्ति ने शुक्रवार की शाम पांच बजे 17 साल की बेटी को कंकरखेड़ा के कैलाशी अस्पताल में भर्ती कराया। बताया गया कि किशोरी छत पर कपड़े उतारने गई थी। उसी समय बंदरों ने घेर लिया, जिस पर वह छत से कूद गई। किशोरी को कैलाशी में प्राथमिक उपचार देने के बाद पल्लवपुरम फेज टू स्थित फ्यूचर अस्पताल में भर्ती कराया। किशोरी को पैरों के आपरेशन के बाद आइसीयू में भेज दिया।
फिल्मी अंदाज में पहुंचा युवक और लगा दिया इंजेक्शन
वहां एक युवक फिल्मी अंदाज में शनिवार को पहुंचा और केसीएल का 20 एमएल इंजेक्शनल लगा दिया। पोटैशियम क्लोराइड (केसीएल) का यह इंजेक्शन काफी हाई डोज का था, जो शरीर में जहर का काम करता। चिकित्सकों के अनुसार शरीर में पोटैशियम की कमी और हार्ट अटैक के समय चिकित्सकीय सलाह पर पांच-पांच एमएल तक का इंजेक्शन लगाया जाता है। अधिक मात्रा में पोटैशियम क्लोराइड के शरीर में प्रवेश करने पर किशोरी की हालत बिगड़ने लगी। चिकित्सकों को यह देख अजीब लगा तो उन्होंने सीसीटीवी खंगाली, जिसमें देखा कि एक युवक डाक्टर की पोशाक में आइसीयू में पहुंचा और कुछ ही देर में निकल गया।
फुटेज के आधार पर हुई इंजेक्शन लगाने वाले की पहचान
फुटेज के आधार पर उसकी पहचान दूसरे अस्पताल के कंपाउंडर रमेश निवासी शिवलोकपुरी कंकरखेड़ा के रूप में हुई। स्टाफ ने रमेश को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। पूछताछ में रमेश ने बताया कि किशोरी को जान से मारने के लिए उसके पिता ने हायर किया है। रमेश के बयान पर किशोरी के पिता को भी पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है।
अस्पताल की सेविका की मिलीभगत उजागर
इस काम में फ्यूचर अस्पताल की सेविका सोनिया पुत्री सतेंद्र निवासी जटवाड़ा मुजफ्फरनगर की भी मिलीभगत थी। किशोरी के पिता, कंपाउंडर रमेश, सेविका सोनिया को पुलिस थाने ले आई। रमेश के पास से 90 हजार की रकम बरामद की गई। उसने बताया कि किशोरी के पिता ने बेटी की हत्या के लिए एक लाख की सुपारी दी थी। दस हजार की रकम सोनिया को दे चुका है। उससे भी रकम बरामद करने का प्रयास किया जा रहा है।
जिम संचालक से किशोरी की दोस्ती से खफा थे स्वजन
कक्षा 11 में पढ़ने वाली किशोरी की दोस्ती एक जिम संचालक से हो गई थी। परिवार के लोग इस दोस्ती के खिलाफ थे। पहले कई बार जिम संचालक को भी धमकी दी जा चुकी है। उसके बाद भी दोनों का मिलना-जुलना जारी था। इसी को लेकर शुक्रवार को किशोरी का पिता से विवाद हुआ था। तभी किशोरी ने छत से कूद कर जान देने का प्रयास किया था। हालांकि कैलाशी अस्पताल में भर्ती के दौरान परिवार के लोगों ने बंदरों के डर से छत से किशोरी के गिरकर घायल होने की बात कही थी।
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अस्पताल के आइसीयू में किशोरी की जान लेने की कोशिश करने वाले पिता, इंजेक्शन लगाने वाले कंपाउंडर और अस्पताल की सेविका को गिरफ्तार कर लिया है। उनके खिलाफ जानलेवा हमले का मुकदमा दर्ज कर लिया है। समय पर पता चलने की वजह से अस्पताल के डाक्टरों ने उपचार देकर किशोरी को बचा लिया है।
-रोहित सजवाण, एसएसपी