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मेरठ मेडिकल कॉलेज में प्राचार्य के तबादले के साथ ही बड़ा फेरबदल, पढि़ए किसको क्‍या मिली जिम्‍मेदारी Meerut News

मेरठ मेडिकल कॉलेज के बिगड़े हालात पर आखिरकार शासन ने सख्ती से फैसला लिया है। प्राचार्य डॉ. आरसी गुप्ता के साथ ही कोविड वार्ड इमरजेंसी प्रभारी को भी बदल दिया गया है।

By Prem BhattEdited By: Published: Fri, 15 May 2020 09:12 AM (IST)Updated: Fri, 15 May 2020 09:12 AM (IST)
मेरठ मेडिकल कॉलेज में प्राचार्य के तबादले के साथ ही बड़ा फेरबदल, पढि़ए किसको क्‍या मिली जिम्‍मेदारी Meerut News
मेरठ मेडिकल कॉलेज में प्राचार्य के तबादले के साथ ही बड़ा फेरबदल, पढि़ए किसको क्‍या मिली जिम्‍मेदारी Meerut News

मेरठ,जेएनएन। मेरठ मेडिकल कॉलेज के बिगड़े हालात पर आखिरकार शासन ने सख्ती से फैसला लिया है। प्राचार्य डॉ. आरसी गुप्ता के साथ ही कोविड वार्ड, इमरजेंसी प्रभारी को भी बदल दिया गया है। डॉ. गुप्ता को लखनऊ मुख्यालय से अटैच कर दिया गया है। कम्यूनिटी मेडिसिन के विभागाध्यक्ष डॉ. एसके गर्ग को कार्यवाहक प्राचार्य की जिम्मेदारी दी गई है, जबकि डॉ. विनय अग्रवाल अब उप प्राचार्य होंगे।

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छोटा-छोटा कार्यकाल देख चुके

डॉ. गर्ग इससे पूर्व मेरठ और आगरा मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य का भी छोटा-छोटा कार्यकाल देख चुके हैं। कार्रवाई के तहत कोविड वार्ड प्रभारी डॉ. तुंगवीर सिंह आर्य और इमरजेंसी प्रभारी पर भी गाज गिरी है। अब कोविड वार्ड का नया इंचार्ज सर्जरी विभाग के प्रभारी डॉ. सुधीर राठी को बनाया गया है। उन पर कोविड के चिकित्सा अधीक्षक प्रमुख का भी जिम्मा होगा। अब इमरजेंसी विभाग के नए प्रभारी डॉ. कपिल कुमार होंगे।

नाराजगी और .. तबादला

इससे पहले गुरुवार दोपहर में स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान नोडल अधिकारी प्रमुख सचिव टी. वेंकटेश ने मेडिकल कॉलेज में लगातार हो रही मौतों तथा वहां कोरोना मरीजों के उपचार की व्यवस्था में सुधार न होने पर खासा रोष जताया था। उन्होंने असंतोष जताते हुए कहा था कि जब तक मरीज और उनके परिवारजन व्यवस्था से संतुष्ट नहीं हो जाएंगे व्यवस्था में सुधार नहीं माना जा सकता है। बैठक में उनकी नाराजगी को देखते हुए माना जा रहा था कि किसी न किसी पर गाज जरूर गिरेगी। शाम होते ही बड़ा बदलाव हो गया।

एक के बाद एक मौत

मेरठ में कोरोना मरीजों की एक के बाद एक मौत हो रही है। मेडिकल कॉलेज में कोरोना मरीजों के वार्ड में किसी चिकित्सक के न जाने, शवों के वार्ड में घंटों पड़े रहने, मरीजों को समय से दवा, खाना न मिलने, सफाई न होने, शौचालय गंदे रहने की वीडियो-ऑडियो वायरल हुई थी। इसके बाद सरकार ने नोडल अधिकारी के साथ साथ मेडिकल कॉलेज में विशेष ऑडिट टीम भेजी थी। केजीएमयू के ओएसडी डॉ. वेदप्रकाश को भी विशेष रूप से भेजा गया था। इस टीम के आने के बाद सुधार की उम्मीद जगी थी। टीम ने निरीक्षण किया। नोडल अधिकारी तीन दिन से लगातार सुधार के लिए मेडिकल कॉलेज प्रशासन को दिशा निर्देश दे रहे थे, लेकिन मेडिकल कॉलेज में इलाज और व्यवस्थाओं में लापरवाही की न शिकायतें थमीं न ही वहां हो रही मौत का सिलसिला थमा।

अफसरों के साथ समीक्षा बैठक

गुरुवार को नोडल अधिकारी टी. वेंकटेश ने कमिश्नर अनीता सी. मेश्राम और डीएम अनिल ढींगरा की मौजूदगी में मेडिकल कॉलेज और स्वास्थ्य विभाग के अफसरों के साथ समीक्षा बैठक की। हालांकि प्राचार्य ने उनके सामने जो रिपोर्ट पेश की उसमें दावा किया गया कि मेडिकल कॉलेज में मरीजों को खाना, सफाई समेत तमाम व्यवस्थाओं के लिए इंचार्ज बनाए गए हैं, लेकिन नोडल अधिकारी उनके दावों से असंतुष्ट दिखाई दिए। बैठक में उन्होंने दो टूक कहा कि मरीजों को इलाज, खाना और वार्ड में सफाई के साथ कोई समझौता नहीं किया जा सकता है। मरीजों को खाना गुणवत्तापूर्ण मिले। खाने का पैकेट सील बंद हो। उसे स्ट्रेचर नहीं, बल्कि ट्राली के माध्यम से वितरित किया जाए। मरीजों से लगातार बात की जाए। व्यवस्थाओं पर उनकी प्रतिक्रिया ली जाए। प्रत्येक कार्य के लिए जिम्मेदारी तय की जाए।

डॉ. अरविंद मेरठ लौटे

सहारनपुर मेडिकल कालेज के कार्यवाहक प्राचार्य डॉ. अरविंद त्रिवेदी की मूल तैनाती मेडिकल कॉलेज मेरठ में विभागाध्यक्ष नेफ्रोलॉजी के पद पर कर दी गई है। 


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