पेड़ों के हटने के बाद भूड़बराल में चलने लगी मशीनें
बारिश थमने के बाद एक बार दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे के चौथे चरण के काम ने रफ्तार पकड़ी है।
मेरठ : बारिश थमने के बाद एक बार दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे के चौथे चरण के काम ने रफ्तार पकड़ी है। सोमवार से पेड़ों के कटान का काम शुरू होने के बाद मंगलवार को मशीनों से भी काम शुरू कर दिया। जून-2019 तक इस काम को पूरा करने का दावा किया गया है, लिहाजा इंजीनियर तय समय में लक्ष्य को पाने की कोशिश में हैं।
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे के डासना से मेरठ तक 32 किमी के निर्माण कार्य में सबसे अहम क्षेत्र भूड़बराल में बनने वाला इंटरकनेक्टर और रेलवे ओवर ब्रिज है। यही इंटरकनेक्टर दिल्ली-देहरादून हाइवे को इस एक्सप्रेस-वे से जोड़ेगा। इसी को देखते हुए यहां ज्यादा फोकस है। हालांकि, दो महीने पहले यहां मशीनों से खोदाई कार्य शुरू कर दिया गया था लेकिन इस बार अच्छी बारिश के कारण दो महीने तक काम धीमा रहा। इसके चलते पेड़ों की कटाई नहीं हुई और बिजली के पोल भी शिफ्ट नहीं हो सके।
मशीन से मिट्टी की खुदाई शुरू
पेड़ों के कटान के बाद उन्हें दो भागों में बांटा गया। इसके बाद क्रेन से पेड़ों को हटाकर मशीन से मिट्टी खोदाई शुरू की गई है।
हाइवे के दोनों ओर काम शुरू
परतापुर ओवरब्रिज के आगे भूडबराल के पास मेरठ की तरफ आने वाले और दिल्ली की तरफ जाने वाले रोड के दोनों और एनएचएआइ और जीआर इंफ्रा के इंजीनियरों ने काम शुरू कर दिया है। हाईवे पर कोई व्यवधान न हो, इसके लिए लाल झंडियां लगाकर कर्मचारियों की ड्यूटी लगा दी गई है।
चौथा चरण
डासना से मेरठ-मोहिउद्दीनपुर
कुल दूरी - 32 किमी
कुल लागत - 1150 करोड़ रुपये
काम शुरू कब से- जनवरी 2018, जीआर इंफ्रा को दिया गया
पूरा करने का समय - शुरू करने के 18 महीने बाद
काम पूरा करने का दावा - जून 2019