गांवड़ी में 15 नवंबर तक तैयार होगा कूड़ा प्लांट, हुआ भूमि पूजन
वर्षो बाद एक बार फिर गांवड़ी में कूड़ा प्लांट लगाने के लिए भूमि पूजन हुआ। 15 नवंबर तक प्लांट तैयार हो जाएगा और कूड़ा निस्तारण शुरू हो जाएगा। नगर निगम ने इस बार बेहद कम लागत से प्लांट तैयार करने की पहल की है। इसके लिए धनराशि भी स्वीकृत हो गई।
मेरठ, जेएनएन : वर्षो बाद एक बार फिर गांवड़ी में कूड़ा प्लांट लगाने के लिए भूमि पूजन हुआ। 15 नवंबर तक प्लांट तैयार हो जाएगा और कूड़ा निस्तारण शुरू हो जाएगा। नगर निगम ने इस बार बेहद कम लागत से प्लांट तैयार करने की पहल की है। इसके लिए धनराशि भी स्वीकृत हो गई।
गांवड़ी स्थित कूड़ा डंपिंग ग्राउंड में मंगलवार को नगर आयुक्त डा. अरविंद कुमार चौरसिया, सहायक नगर आयुक्त बृजपाल सिंह आदि ने भूमि पूजन किया। दरअसल, लंबे समय से ठेका एजेंसी के जरिए 200 करोड़ में प्लांट स्थापित कर कूड़ा निस्तारण का ख्वाब दिखाया जा रहा था। पर इस बार जब 14वें वित्त आयोग से धनराशि स्वीकृति का अधिकार महापौर को मिल गया तो शहर के लिए कूड़ा निस्तारण प्लांट का ख्वाब धरातल पर लाने पर भी मुहर लगी। इसमें आठ-आठ करोड़ की लागत से दो प्लांटों के लिए स्वीकृति मिल गई।
ऐसा होगा प्लांट
आठ करोड़ में से 3.44 करोड़ रुपये की मशीनें खरीदी जाएंगी। जिसमें बैलेस्टिक सेपरेटर,कंपोस्टिंग और बिकिट समेत अन्य मशीनें शामिल होंगी। कूड़ा निस्तारण के लिए गांवड़ी में चार शेड बनाए जाएंगे। शेष खर्चा सिविल कार्य में होगा। जैसे स्टॉफ और ऑपरेशन के लिए कुछ कमरों का निर्माण कराया जाएगा। 15 नवंबर तक मशीनें स्थापित कर दी जाएंगी। कूड़ा निस्तारण क्षमता प्रतिदिन 150 टन होगी। इसके बाद लोहिया नगर डंपिंग ग्राउंड में प्लांट स्थापित किया जाएगा। गांवड़ी की तरह यह प्लांट भी होगा और उतना ही खर्चा किया जाएगा। लोहिया नगर में प्लांट 31 दिसंबर तक तैयार हो जाएगा। दूसरे चरण में मंगतपुरम में डंप कचरे के निस्तारण और नंगलाताशी कंकरखेड़ा में भी यह प्लांट दूसरे चरण में लगाया जाएगा। इस तरह शहर में प्रतिदिन उत्पन्न 900 टन कूड़ा निस्तारण की व्यवस्था बनाने की तैयारी है।
गीले कचरे से खाद, सूखे से बनेगी बिजली
यहां पर गीला और सूखा कचरा अलग-अलग करने की व्यवस्था रहेगी। गीले कचरे से खाद बनाई जाएगी जबकि सूखे कचरे से ईट, गिट्टी समेत अन्य मैटेरियल अलग होगे, इसे बिल्डिंग बनाने वाली संस्थाओं को दिया जाएगा। प्लास्टिक, जूता-चप्पल, लकड़ी जलने वाला कूड़ा अलग किया जाएगा, जिसे वेस्ट- टू- एनर्जी के तहत बिजली बनाने के लिए उपयोग में लाया जाएगा। इसके लिए दिल्ली रोड स्थित बीके बायोमास एजेंसी से अनुबंध की प्रक्रिया चल रही है।
मशीन देखने शामली गई टीम
भूमि पूजन के बाद नगर आयुक्त ने एक टीम शामली भेजी है। जिसमें निगम के इंजीनियर शमिल हैं। वहां बैलेस्टिक सेपरेटर मशीन स्थापित है।