वीजा दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह का भंडाफोड़
कुवैत का वीजा जल्दी दिलाने और कम खर्च में 14 दिन क्वारंटाइन कराने का झांसा देकर ठगों ने मेरठ निवासी दंपती को ठग लिया।
मेरठ, जेएनएन। कुवैत का वीजा जल्दी दिलाने और कम खर्च में 14 दिन क्वारंटाइन कराने का झांसा देकर ठगों ने मेरठ निवासी दंपती को ठग लिया। साइबर टीम ने एक आरोपित को पकड़ लिया, जबकि मास्टरमाइंड दंपती अभी फरार है। जांच में पता चला कि आरोपित फर्जी वेबसाइट बनाकर ठगी का काम करते थे। उनके 20 से अधिक खातों की जानकारी मिली है। साथ ही एक खाते को फ्रीज भी करा दिया।
मेडिकल थाना क्षेत्र के शास्त्रीनगर निवासी खुशबू गर्ग सीए हैं। उनके पति कुवैत में एक टेलीकाम कंपनी में इंजीनियर हैं। पिछले दिनों वह घर आए थे। सात अक्टूबर को उनके साथ पत्नी को भी जाना था। उन्होंने गूगल पर वीजा के लिए सर्च किया तो दंता ई-वीजा वेबसाइट खुली। उन्होंने उस पर क्लिक कर जानकारी ली। इसके बाद उनके पास फोन आया और वीजा दिलाने के साथ ही कम खर्च में 14 दिन के लिए क्वारंटाइन कराने का आश्वासन दिया। झांसे में लेकर उनसे 61 हजार आठ सौ रुपये ठग लिए। इसके बाद फोन और वेबसाइट बंद हो गई। पति ने जाने से पहले एसएसपी से शिकायत की थी। बिश्वजीत पोल नाम के आरोपित को साइबर सेल टीम ने पश्चिम बंगाल के जिला 24 नार्थ परगना, थाना हाबरा से गिरफ्तार कर लिया। वहीं, मास्टरमाइंड सम्राट पोड्डर निवासी जिला हाबरा और उसकी पत्नी आइ लियान लिन फरार हैं। आरोपितों ने सिद्वी विनायक इवेंटस प्रा. लि नाम से कंपनी बना रखी थी। पश्चिम बंगाल में आफिस भी खोल रखा था। पकड़ा गया आरोपित आठवीं पास है।
पति ने लगाया पता : खुशबू ने बताया कि आरोपितों ने बातचीत में मेन कार्यालय कोच्ची में बताया था। ठगी के बाद पति ने उनके बारे में जानकारी एकत्र की तो पता चला कि सभी कोलकाता के हैं। पश्चिम बंगाल में कार्यालय बना रखा है। इसकी जानकारी पर साइबर सेल की टीम ने उसे दबोच लिया। साइबर सेल प्रभारी दिलीप शर्मा ने बताया कि आरोपितों ने कई फर्जी वेबसाइट बना रखी थी। कई लोगों से ठगी की भी जानकारी मिली है। आरोपित 20 से अधिक खातों का इस्तेमाल करते थे। एक खाते में 20 हजार रुपये फ्रीज करा दिए हैं। फरार दंपती की तलाश की जा रही है।