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शिक्षामंत्री ने कुलपतियों और शिक्षाविदों को दिया सुझाव, वेबसाइट पर अपलोड करें ई-कंटेंट Meerut News

आने वाले समय में शिक्षक जो भी क्लासरूम में पढ़ाएं उसे ई-कंटेंट के रूप में तैयार करें और अपने शिक्षण संस्थान की वेबसाइट पर अपलोड कर दें शिक्षामंत्री।

By Taruna TayalEdited By: Published: Fri, 22 May 2020 05:56 PM (IST)Updated: Fri, 22 May 2020 05:56 PM (IST)
शिक्षामंत्री ने कुलपतियों और शिक्षाविदों को दिया सुझाव, वेबसाइट पर अपलोड करें ई-कंटेंट Meerut News
शिक्षामंत्री ने कुलपतियों और शिक्षाविदों को दिया सुझाव, वेबसाइट पर अपलोड करें ई-कंटेंट Meerut News

मेरठ, जेएनएन। कोरोना काल में विश्वविद्यालय और कॉलेज समेत सभी शिक्षण संस्थान बंद हैं। इस मुश्किल घड़ी में छात्रों और शिक्षकों को ऑनलाइन शिक्षा का अवसर मिला। आने वाले समय में शिक्षक जो भी क्लासरूम में पढ़ाएं, उसे ई-कंटेंट के रूप में तैयार करें और अपने शिक्षण संस्थान की वेबसाइट पर अपलोड कर दें। यह सुझाव प्रदेश के उपमुख्यमंत्री और शिक्षामंत्री दिनेश शर्मा ने दिए। गुरुवार को वेबिनार के जरिए डिप्टी सीएम ने प्रदेश के सभी विवि के कुलपतियों और शिक्षाविदों को संबोधित किया।

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कोरोना के बाद उच्च शिक्षा पर चर्चा

उच्च शिक्षा विभाग की ओर से आयोजित इस वेबिनार में जूम एप पर पांच सौ सें अधिक प्रतिभागी शामिल रहे, जबकि यू-ट््यूब लाइव पर तीन हजार से अधिक लोग जुड़े रहे। इस दौरान कोरोना के बाद उच्च शिक्षा पर चर्चा हुई। उपमुख्यमंत्री ने कहा मौजूदा समय में नई टेक्नोलाजी के साथ काम करना होगा। ग्रामीण क्षेत्रों के लिए ऐसे टेबलेट वितरण की योजना बनाई जा सकती है, जिसमें ई कंटेंट अपलोड हो, छात्र चाहे जो उसे ऑफलाइन में भी देख सके। वेबिनार में कुछ कुलपतियों ने ऑनलाइन शिक्षा के पक्ष में विचार रखें तो किसी ने कक्षा की पढ़ाई को ही बेहतर बताया। कॉमन सिलेबस बनाए जाने पर भी चर्चा हुई। वेबिनार में क्षेत्रीय उच्च शिक्षा अधिकारी डा.राजीव गुप्ता, सीसीएसयू के प्रो. एमके गुप्ता, प्रो. बीरपाल स‍िंह, डीजे कॉलेज बड़ौत की शिक्षिका डा. अंशु उज्ज्वल, डा. स्नेहवीर पुंडीर, राजीव तेवतिया आदि अन्य बहुत से शिक्षाविद् शामिल रहे।

परीक्षा में कम हो प्रश्नपत्र : प्रो. तनेजा

चौ. चरण सिंह विवि के कुलपति प्रो. एनके तनेजा ने प्रतिकूल परिस्थितियों में शिक्षकों की ओर से ऑनलाइन अध्यापन की तारीफ की। मौजूदा हालात को देखते हुए सुझाव दिया कि सेमेस्टर परीक्षा में फाइनल के बच्चों को छोड़कर अन्य को अगली कक्षा में पदोन्नति करने पर विचार किया जाना चाहिए। शिक्षकों के घर पर मूल्यांकन को शुरू कराने और परीक्षा में प्रश्नपत्रों को कम करने को कहा। ऑनलाइन एजुकेशन को पारदर्शी बताते हुए शिक्षक के प्रशिक्षण पर जोर दिया। वहीं, एकेटीयू के कुलपति विनय पाठक ने सवाल उठाया कि हम जिन विवि में पढ़ाते हैं, अपने बच्चों को उसमें नहीं प्रवेश दिलाते। इसके विषय में सोचना चाहिए।

सीसीएसयू को मिली सराहना

वेबिनार में प्रदेश के सभी विवि में सीसीएसयू के प्रयास की सराहना की गई। उच्च शिक्षा की प्रमुख सचिव मोनिका एस गर्ग ने कहा कि विवि ने शासन के आदेश पर सेल्फ फाइनेंस शिक्षकों के लिए न्यूनतम वेतनमान निर्धारित किया है। उसमें कोर्स के हिसाब से वेतन का प्रावधान है, जो अन्य के लिए भी उपयोगी हो सकता है।


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