बजट 2020 : हस्तिनापुर के लिए खोला विकास का रास्ता Meerut News
केंद्र सरकार के द्वारा अपने बजट में हस्तिनापुर को शामिल से एसा लग रहा है कि पर्यटन के बढ़वा के साथ इसका विकास तेजी के साथ होगा।
मेरठ, जेएनएन। हजारों साल से हस्तिनापुर का गौरवशाली इतिहास अपनी वर्तमान स्थिति पर आंसू बहा रहा था। शनिवार को केंद्र सरकार ने बजट में हस्तिनापुर को शामिल किया है और देश में हस्तिनापुर समेत भिन्न भिन्न राज्यों के पांच स्थानों पर पुरातत्व संग्रहालय बनाए जाने की घोषणा की है। इसे लेकर लगता है कि अब हस्तिनापुर का भी पुरातात्विक विकास होगा।
शनिवार को बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री ने बजट में हस्तिनापुर में राष्ट्रीय संग्रहालय बनाने की घोषणा की। साथ ही भारतीय धरोहर और संरक्षण संस्थान की स्थापना की जाएगी। हस्तिनापुर के पुरातात्विक विकास की घोषणा भी की। जिससे हस्तिनापुर फिर से एक पर्यटन स्थल के रूप में विकसित हो सके।
ईको टूरिज्म को बढ़ावा देने की कोशिश
बता दें कि हस्तिनापुर की धरती कई रहस्यों से भरी है। यहां आज भी वह वटवृक्ष मौजूद है। जिसके बारे में मान्यता है कि इस वृक्ष को भीम ने रोपित किया था। वह कुआं आज भी मौजूद है जहां पांडव स्नान किया करते थे। साथ ही वह स्थान भी मौजूद है जहां कभी हस्तिनापुर का महल हुआ करता था। घोषणा से पूर्व भी योगी सरकार ने हस्तिनापुर को लेकर अपने इरादे जाहिर कर दिए है और संस्कृति मंत्रलय व पर्यटन विभाग को हस्तिनापुर से संबंधित प्रोजेक्ट बनाने की बात भी कही थी। इसके अलावा भी हस्तिनापुर में ईको टूरिज्म को बढ़ावा देने की बात कही थी। वन विभाग हस्तिनापुर सेंचुरी में ईको टूरिज्म को बढ़ावा देने का हर संभव प्रयास कर रहा है। विभाग की कोशिश है कि यहां ईको टूरिज्म विकसित करने से हस्तिनापुर सेंचुरी में पर्यटकों की चहलकदमी बढ़ेगी। इसके लिए वन विभाग ने हस्तिनापुर स्थित वानिकी प्रशिक्षण केंद्र परिसर में गंगा व्याख्यान केंद्र खोला है।
उत्खनन से खुलेंगे राज
हस्तिनापुर में राष्ट्रीय संग्रहालय बनने से इस भूमि का पुरातात्विक महत्व और बढ़ेगा और उत्खनन की संभावनाएं प्रबल होगी। हस्तिनापुर के कण कण में रहस्य दफन है। पांडव टीला अपने गर्भ में न जाने कितनी सभ्यता व संस्कृति के राज दफन किए है।