Actor नवाजुद्दीन सिद्दीकी को याद आ रहे खेत, बोले- कठिन समय है... चाहने वालों से बस एक ही गुजारिश
बीते बरस अपने खेतों पर पसीना बहाने वाले नवाजुद्दीन ने बताया कि इस बार ऐसा नहीं हो सका है। सच कहूं तो अपने घर आकर मन खेतों की ओर जाने के लिए बेताब रहता है। उन्होंने अपने चाहने वालों से एक गुजारिश भी की है।
[दीपक राठी] मुजफ्फरनगर। अभिनय की दुनिया में नवाजुद्दीन सिद्दीकी की ख्याति राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर जगमग है। मायानगरी के इस ‘दशरथ मांझी’ को जितना प्यार अभिनय से है, उतना ही अपने गांव से भी। खुशी और गम के पलों में वह कस्बा बुढ़ाना में खिंचे चले आते हैं। कोरोना काल में लाकडाउन के दौरान बीते बरस की तरह इस बार भी वह अपने पैतृक घर बुढ़ाना में हैं। स्वजन के बीच रहकर अपनी आगामी फिल्म की तैयारी में जुटे नवाजुद्दीन ने कोरोना संक्रमण से मरते लोगों को देखते हुए इस बार अपना जन्मदिन नहीं मनाया। वो कहते हैं, कोरोना को हराना है तो सरकार की गाइडलाइन का पालन करना होगा। आज की बंदिशें ही कल की सुनहरी सुबह है।
याद आते हैं खेत
बीते बरस अपने खेतों पर पसीना बहाने वाले नवाजुद्दीन ने बताया कि इस बार ऐसा नहीं हो सका है। सच कहूं तो अपने घर आकर मन खेतों की ओर जाने के लिए बेताब रहता है लेकिन परिस्थितियां हर समय एक समान नहीं रहतीं। कभी स्टारडम बंदिशें लगाता है तो कभी कोरोना काल। लोगों की भीड़ न जुटे इसलिए घर से बाहर ही नहीं निकलता। यह कठिन समय गुजरेगा तो खेत-खलिहानों में भी जाने की सोचेंगे। मेरी तो चाहने वालों से यही गुजारिश है कि लाकडाउन के नियमों का पालन करते हुए अपने घर में ही रहें।
यह आने वाली है फिल्म
भविष्य की योजना पर नवाज ने बताया कि डायरेक्टर जयदीप चोपड़ा और अभिनेत्री एलनाज नौरोजी के साथ उनकी फिल्म ‘संगीन’ जल्द ही ओटीटी प्लेटफार्म पर रिलीज होने वाली है। एक हालीवुड फिल्म के प्रोजेक्ट पर भी काम चल रहा है। मैं चांद पर हूं, डाक्यूमेंट्री फिल्म भी बनाई गई है, जो बड़ा संदेश देती है। इस डाक्यूमेंट्री में दिखाया गया है कि केवल धरती पर ही जीवन है। अन्य ग्रह पर आ-जा सकते हैं लेकिन बस नहीं सकते, इसीलिए इस धरती को हर हाल में बचाना होगा। और हां, बोले चूड़ियां नाम से एक एलबम भी रिलीज हुआ है। इसमें छह गाने हैं और सभी अच्छे बने हैं।
अभिनेता नवाजुद्दीन सिद्दीकी ने कोरोना नाश होने की मांगी दुआ
इस बार मैंने अपना जन्मदिन नहीं मनाया, उन्होंने बताया। दरअसल कोरोना की दूसरी लहर में इतनी बड़ी आपदा चल रही है। इसमें बहुत से लोगों ने अपनों को खोया है। मैंने भी बुढ़ाना के अपने कई करीबी लोगों को खो दिया है। कस्बे के डा. योगेश त्यागी से हम सभी के बेहद अच्छे ताल्लुक थे, क्रूर कोरोना ने उन्हें भी हमसे छीन लिया। इस बार ईद पर जश्न नहीं मनाया, बस दुआ मांगी कि कोराना का नाश हो जाए। तो कैसे बीत रहे दिन, इस सवाल पर ख्यात फिल्म अभिनेता नवाजुद्दीन सिद्दीकी ने बताया कि यह समय कोरोना से जिंदगी को बचाने का है। कोरोना काल के चलते स्वजन के साथ घर पर ही समय बिता रहे हैं। बाहर के लोगों से बिल्कुल नहीं मिल रहे। हालचाल जानने के लिए काफी लोगों के मैसेज आते हैं, यथासंभव जवाब दे देता हूं। रोज सुबह उठकर व्यायाम करता हूं। उसके बाद परिवार में बच्चों के साथ समय का पता ही नहीं चलता।