सेना ने कहा था आज से खोलेंगे रास्ता, नहीं खुला
सेना जो कहती है करती है। छावनी में कोरोना से बचाव के नाम पर बंद किए गए कुछ रास्तों को सोमवार से खोलने की बात सेना ने रविवार को कही थी लेकिन सोमवार को ऐसा हो न सका।
जेएनएन, मेरठ। सेना जो कहती है, करती है। छावनी में कोरोना से बचाव के नाम पर बंद किए गए कुछ रास्तों को सोमवार से खोलने की बात सेना ने रविवार को कही थी, लेकिन सोमवार को ऐसा हो न सका। इसका खामियाजा आम जनता ने उठाया। रास्ता खुलने की सूचना पर लोगों ने औघड़नाथ, भूसा मंडी जैसे मार्ग पकड़ने की कोशिश की, लेकिन वहां मौजूद सुरक्षाकर्मियों ने लौटा दिया। कहा, अभी आदेश नहीं मिले हैं। रास्ता बंद है। यह आलम तब है जब छावनी के बंद रास्तों की वजह से शहर के प्रमुख मार्गो पर लोड बढ़ रहा है। बेवजह जाम लग रहा है। इस बार सेना कोविड संक्रमण से बचाव की बात कहकर रास्ता बंद कर बैठी है जबकि इन्हीं मार्गो को अन्य-अन्य कारणों से भी पूर्व में बंद किया जाता रहा है। सवाल उठता है कि जिस रास्ते पर पिछले चार-पांच दशक से आम जनता आना-जाना करती है, वह अब शहर के प्रमुख मार्गो में शामिल हो चुका है। ऐसे में आखिर उन मार्गो पर बंदिश क्यों लगाई जाती है।
..तो मंगलवार से खुल जाएंगे रास्ते
वैसे, सब-एरिया मुख्यालय का कहना है कि बंद मार्गो को खोलने का आदेश जारी किया जा चुका है। सुरक्षित वातावरण में सैन्य यूनिटों को किसी भी प्रकार के संक्रमण से बचाए रखने के लिए सेना चरणबद्ध तरीके से रास्तों को खोलेगी। सब-एरिया मुख्यालय की ओर से आदेश दोनों डिवीजनों को भेजे गए हैं। औघड़नाथ मंदिर और आस-पास के सैन्य क्षेत्र में सुरक्षा की जिम्मेदारी चाíजंग रैम डिव की है। डिव की ओर से आदेश सुरक्षा में तैनात सैन्य यूनिटों तक पहुंचने पर मंगलवार से रास्तों को खोलने का क्रम शुरू हो सकता है। प्राथिमक तौर पर सेना कुछ प्रमुख रास्तों को ही खोलेगी जिससे आम लोगों का आना-जाना अधिक होता है। यह विचारण्ीय है कि जब मार्ग खोलने का निर्देश हो गया है तो फिर वहीं से चंद कदमों की दूरी पर अमल क्यों नहीं हो सका? आखिर निर्देश जारी करने और लागू करने में इतनी देरी क्यों?
इन मार्गो से है ज्यादा आना-जाना
जिन मार्गो से अधिकांशत: लोगों का आना-जाना होता है उसमें औघड़नाथ से सैनिक अस्पताल होते हुए सिटी स्टेशन का मार्ग, वेस्ट एंड रोड से भूसा मंडी होते हुए रामताल वाटिका होकर शहर या सिटी स्टेशन का मार्ग शामिल है। ये दो ऐसे मार्ग हैं जहां से आम जनता के गुजरने से संक्रमण नहीं फैल सकता क्योंकि यूनिटें या सैन्य संस्थान सड़क से कम से कम 100 मीटर तो अंदर हैं ही। अगर निगरानी में लोगों को पास कराया जाए तो संक्रमण की सभी आशंकाएं निर्मूल हो जाएंगी।
..तो सोमवार को नहीं पहुंचा आदेश
सब-एरिया मुख्यालय का कहना है कि रविवार देर शाम आदेश जारी किए गए थे। पहले दिन आदेश डिवीजनों तक ही पहुंचने के कारण सोमवार सुबह आनन-फानन में पहले रास्ते खोलने की तैयारी हो गई थी लेकिन फिर रिव्यू के लिए रोक दिया गया। डिव स्तर पर विचार-विमर्श के बाद रास्तों को खोलने के निर्देश यूनिटों को भेजे जाएंगे। सब-एरिया अफसरों के अनुसार संभवत: मंगलवार तक यूनिटों तक पहुंच जाएंगे। आदेश यूनिट तक पहुंचते ही रास्ते खुलने लगेंगे।