पथ विक्रेताओं की चमकेगी दुकानदारी, दूर होगी बेरोजगारी
मऊ कोविड-19 के तहत घोषित किए गए लॉकडाउन की वजह से आर्थिक तंगी से जूझ रहे पथ विक्रेताओं की दुकानदारी चमकेगी और बेरोजगारी दूर होगी। उनके रोजगार को बढ़ावा देने के लिए सरकार की तरफ से दस हजार रुपये का ऋण प्रदान किया जाएगा। इसके लिए सरकार ने प्रधानमंत्री स्ट्रीट वेंडर आत्मनिर्भर योजना (पीएम सब निधि योजना) लागू किया है। योजना का लाभ लेने के लिए जनपद में पंजीकरण की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। इस तरह के पथ विक्रेता संबंधित नगर पालिका व नगर पंचायत में जाकर किसी भी कार्यदिवस में अपना पंजीकरण करवाकर योजना से लाभान्वित हो सकते हैं।
जागरण संवाददाता, मऊ : कोविड-19 के तहत घोषित किए गए लॉकडाउन की वजह से आर्थिक तंगी से जूझ रहे पथ विक्रेताओं की दुकानदारी चमकेगी और बेरोजगारी दूर होगी। उनके रोजगार को बढ़ावा देने के लिए सरकार की तरफ से दस हजार रुपये का ऋण प्रदान किया जाएगा। इसके लिए सरकार ने प्रधानमंत्री स्ट्रीट वेंडर आत्मनिर्भर योजना (पीएम सब निधि योजना) लागू किया है। योजना का लाभ लेने के लिए जनपद में पंजीकरण की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। इस तरह के पथ विक्रेता संबंधित नगर पालिका व नगर पंचायत में जाकर किसी भी कार्यदिवस में अपना पंजीकरण करवाकर योजना से लाभान्वित हो सकते हैं। इसके क्रियान्वयन की पूरी जिम्मेदारी पीओ डूडा को सौंपी गई है।शहरी अर्थव्यवस्था के लिए पथ विक्रेता बहुत ही महत्वपूर्ण अंग है। पथ-विक्रेता रोजमर्रा के प्रयोग में आने वाली सामग्री जैसे कि दूध, ब्रेड, फल, सब्जी आदि आवश्यक वस्तुओं को शहरी निवासियों के द्वार तक पहुंचाने का कार्य करते हैं। आम नागरिकों हेतु जीवन जीने में विभिन्न सेवाओं जैसे कि बाल काटने, कपड़े सिलने, जूते चप्पल की मरम्मत करने लॉन्ड्री आदि कार्य करते हैं। 25 मार्च से पूरे देश में लॉकडाउन घोषित कर दिया गया था। इसकी वजह से फुटपाथ दुकानदारों की स्थिति दयनीय हो गई है। इनके समक्ष रोटी का संकट उत्पन्न हो गया है। इनकी स्थिति को देखते हुए सरकार ने पीएम सब निधि सम्मान योजना लागू की है। योजना के अंतर्गत पथ विक्रेताओं को दस हजार रुपये की कार्यशील पूंजी ब्याज अनुदान आधारित आसान ऋण पर उपलब्ध कराया जाना है। संबंधित बैंकर्स, अधिकारी आपस में समन्वय स्थापित कर पात्र स्ट्रीट वैंडर्स को आसानी से योजना का लाभ दिलाएंगे। इसके लिए टाउन वेंडिग कमेटी का गठन किया गया है। ऐसे पथ विक्रेता जिनके द्वारा 24 मार्च 2020 से पूर्व विक्रय की गतिविधियां की जाती रही हैं और उनको नगर निकाय के द्वारा विक्रय प्रमाण पत्र एवं पहचान पत्र जारी किए गए हैं, उन्हें योजना का लाभ मिलेगा। पथ विक्रेताओं को एक वर्ष की अवधि के लिए दस हजार रुपये तक की कार्यकारी पूजी ऋण प्राप्त करने और ऋण वापसी मासिक किश्तों में करने के पात्र हों, से ऋण के लिए कोई कोलेट्रल नहीं किया जाएगा। समय पर या जल्द ऋण वापसी करने, निर्धारित तिथि से पूर्व ऋण वापसी करने पर विक्रेताओं से कोई पूर्व भुगतान, जुर्माना नहीं लगाया जाएगा।
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वर्जन
जनपद की नगर पालिका व सभी नगर पंचायतों को योजनाओं से अवगत करा दिया गया है। सभी ईओ को अपने-अपने क्षेत्र के पथ विक्रेताओं का रजिस्ट्रेशन करने का निर्देश दिया गया है। इसके बाद आगे की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी।
--मीना सिंह, परियोजना निदेशक डूडा।