कार्यालय पर पसरा रहा सन्नाटा, अधिकारी भी नदारद
अनुसुचित जाति के गरीब परिवारों को विकास की मुख्यधारा में जोड़ने वाले विभाग का बुरा हाल है। अक्सर एक तो अधिकारी नहीं आते दूसरे लेखाकार भी नदारद ही रहते हैं।
जागरण संवाददाता, मऊ : अनुसुचित जाति के गरीब परिवारों को विकास की मुख्यधारा में जोड़ने वाले विभाग का बुरा हाल है। अक्सर एक तो अधिकारी नहीं आते दूसरे लेखाकार भी नदारद ही रहते हैं। ऐसे में गरीबों को दी जाने वाली सुविधाएं व समाज कल्याण विभाग के अनुदानित आंबेडकर विद्यालयों के छात्रों को दी जाने वाली छात्रवृत्ति बाधित रहती है। मंगलवार को जब जागरण टीम विकास भवन के द्वितीय तल स्थित समाज कल्याण विभाग विकास कार्यालय पहुंची तो यही नजारा दिखा। जहां समाज कल्याण अधिकारी विकास अधिकारी विनोद कुमार यादव नदारद मिले तो लेखाकार भी गायब थे।
विकास भवन के द्वितीय तल पर सूचना विभाग के बगल स्थित जिला समाज कल्याण विभाग विकास से अनुसुचित जाति वित्त निगम द्वारा गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले परिवारों के उत्थान के लिए ऋण एवं अनुदान दिया जाता है। इसके साथ ही अनुसुचित जाति व सामान्य वर्ग के छात्रों की छात्रवृत्ति भी दी जाती है। मंगलवार को कार्यालय में उपस्थिति का आलम यह था कि अधिकारी विनोद कुमार यादव व विभाग के सहायक लेखाकार अशोक कुमार आर्या के कमरे में ताला लटका हुआ मिला। जबकि निगम के लेखाकार प्रशांत राय, वसूली सहायक रामाशीष सिंह, सहायक प्रबंधक रविद्रनाथ श्रीवास्तव अपने टेबिल पर खाली बैठे पाए गए। विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों की उदासीनता के चलते भारी मात्रा में विभागीय कार्य पेंडिग पड़े हुए हैं।