अब खुल रही अफवाहों की पोल
फलां दल के मतदाता टूट गए। अमुक पार्टी ने जबरदस्त सेंध लगाई है। यह वर्ग तो दोपहर के बाद एकदम से बदल गया और हमारी पार्टी को वोट करने लगा।
जासं, घोसी (मऊ) : फलां दल के मतदाता टूट गए। अमुक पार्टी ने जबरदस्त सेंध लगाई है। यह वर्ग तो दोपहर के बाद एकदम से बदल गया और हमारी पार्टी को वोट करने लगा। इन बूथों पर तो उस दल के एजेंट ही नहीं रहे। बोहनी हो जाए उस दल को तो भाग्यवान समझो। अपने प्रत्याशी की जीत के समर्थन में प्रस्तुत किए जा रहे ऐसे तर्क मतदान बीतने के बाद भी प्रस्तुत किए जा रहे हैं। उधर तहकीकात करने पर ऐसे तर्क में अब हकीकत कम और अफवाह अधिक होने का तथ्य सामने आ रहा है। हालांकि सेंधमारी और आश्वासन के बीच बेजा दबाव के बावजूद मत न दिए जाने के मामले भी सामने आ रहे हैं। इस स्थिति ने हर प्रत्याशी को जीत के प्रति आश्वस्त होने की राह में अड़ंगा लिया दिया है। उधर राजनीतिक विश्लेषक विभिन्न दलों के हवाई आंकड़ों को खारिज कर हार-जीत का अंतर मामूली नहीं वरन काफी अधिक होने का दावा कर रहे हैं।