ऑटो के बने परमिट न ई-रिक्शा का पंजीकरण
व्यापारियों संग बैठक में पुलिस ने लिया था निर्णय नहीं लागू न हो सका सावन में बढ़ रही श्रद्धालुओं की संख्या से यातायात व्यवस्था ध्वस्त
वृंदावन, जासं। यातायात को दुरस्त करने के लिए एसपी सिटी ने 10 जुलाई को व्यापारियों संग बैठक कर शहर में दौड़ रहे ऑटो का परमिट तय करने तथा ई-रिक्शा का पंजीकरण करने की योजना तुरंत अमल में लाने का वादा किया था।
गुरु पूर्णिमा निकल गई और सावन भी आ गया। शहर में श्रद्धालु आज भी वाहनों के जाम से जूझ रहे हैं। अभी तक न तो पुलिस और न ही प्रशासन ने श्रद्धालुओं और आम नागरिकों को सहूलियत देने की शुरूआत की।
शहर में हजारों ई-रिक्शा और ऑटो संकरे इलाकों और कुंजगलियों में लगातार पहुंच रहे हैं। तिराहे-चौराहे पर तो ई-रिक्शा और ऑटो चालकों का जाल यातायात व्यवस्था को पूरी तरह ध्वस्त कर रहा है। व्यापार भी इसका विपरीत असर देखने को मिलता है। 10 जुलाई को ट्रैफिक व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने के लिए एसपी क्राइम अशोक मीणा, सीओ ट्रैफिक विनय कुमार सिंह, एआरटीओ मनोज मिश्रा तथा कोतवाल संजीव कुमार दुबे के साथ व्यापारियों ने अपनी समस्या को रखा। एसपी ट्रैफिक मीणा ने व्यापारियों को भरोसा दिया था कि बिना पंजीकरण के ऑटो और ई-रिक्शा पूरी तरह शहर में प्रतिबंधित रहेंगे। डीजल टेंपो भी पूरी तरह प्रतिबंधित होंगे। अब तक योजना अमल में नहीं लाई जा सकी है। कोतवाली प्रभारी संजीव कुमार दुबे ने कहा कि योजना पर काम जारी है। आरटीओ कार्यालय तथा यातायात पुलिस की मदद से ऑटो चालकों के रूट और परमिट तय करने की कार्रवाई शुरू कर दी है। बिना पंजीकरण के ई-रिक्शा भी नहीं चल सकेंगे।