राजकीय संग्रहालय का 145वें वर्ष में प्रवेश
संग्रहालय इस वर्ष 145 वें वर्ष में प्रवेश कर रहा है। इस आयोजन को जोर-शोर से मनाने की तैयारियां संग्रहालय प्रशासन कर रहा है।
जागरण संवाददाता, मथुरा: राजकीय संग्रहालय 145वें वर्ष में प्रवेश कर रहा है। इस आयोजन को जोर-शोर से मनाने की तैयारियां संग्रहालय प्रशासन कर रहा है। संस्कृति विभाग से तारीख मांगी गई है। इस मौके पर डिजिटल पर्सनल गाइड एप का शुभारंभ किया जाना है। इस एप के माध्यम से दर्शक मूर्तियों का इतिहास जान सकेंगे।
मथुरा के भूगर्भ से मूल्यवान कलाकृतियां निकल रही थीं। इनकी सुरक्षा की आवश्यकता तत्कालीन जिलाधीश एफएस ग्राउस को महसूस हुई। 1874 में पत्थर के सुंदर नक्काशीदार छोटे भवन में कचहरी के पास संग्रहालय की स्थापना की गई। करीब सात वर्ष यह मूर्तियों के संग्रह का स्थान रहा और 1881 में जनता के देखने के लिए खोला गया। सन 1900 में नगर पालिका ने इसकी देखरेख की जिम्मेदारी ले ली। संग्रह की निरंतर वृद्धि के कारण यह स्थान छोटा पड़ने लगा। सरकार ने वर्ष 1926 में डेंपियर नगर में एक लाख 36 हजार की लागत से नये भवन का निर्माण कराया। सन 1930 में संग्रहालय अपने वर्तमान भवन में आ गया। प्राचीन भवन में जैन संग्रहालय खोला जा चुका है। लगभग एक तिहाई भवन का निर्माण स्वाधीनता के बाद किया गया। नये भवन में कलाकृतियां एतिहासिक क्रम से लगी हुई हैं।
संग्रहालय के संकलन में प्राचीन सिक्के, कांस्य मूर्तियां, चित्र, हस्तलिखित ग्रंथ आदि हैं। इस वर्ष संग्रहालय अपने 145वें वर्ष में प्रवेश कर रहा है। इस वर्ष को याद रखने के लिए एक भव्य आयोजन की तैयारी संग्रहालय प्रशासन कर रहा है। इस मौके पर डिजिटल पर्सनल गाइड एप का शुभारंभ किया जाना है। डिप्टी डायरेक्टर एनपी ¨सह ने बताया कि संग्रहालय का 145 वां स्थापना दिवस मनाया जाना है। इसके लिए संस्कृति विभाग से समय मांगा गया है।
16 दिसंबर को होना था आयोजन:
मथुरा: स्थापना दिवस का आयोजन 16 दिसंबर को होना था, लेकिन अब यह आगे किसी तारीख में मनाया जाएगा। संस्कृति विभाग तारीख तय करेगा।