उर्स में कव्वालों ने पेश किया कलाम
कुरावली (मैनपुरी) : नगर के मुहल्ला पठानान में झाड़ी वाले शाह की मजार पर चल रहे चार दिवसीय उर्स के दूस
कुरावली (मैनपुरी) : नगर के मुहल्ला पठानान में झाड़ी वाले शाह की मजार पर चल रहे चार दिवसीय उर्स के दूसरे दिन कव्वालों ने कलाम पेश कर समां बांधा। कार्यक्रम की शुरुात हाफिज व कारी शमशाद ने तिलावते कुरान-ए-पाक से किया। इसके बाद कव्वाली का दौर शुरू हुआ। इसमें दिलशाद रिजवी ने भर दो झोली मेरे या मोहम्मद, दर से जाऊंगा न मैं खाली। कासगंज के महसर कादरी ने तेरी रहमतों का दरिया सरेआम टाल रहा है। मुझे भी मिल रही है, मेरे काम चल रहा है सुनाकर जायरीनों को झूमने पर विवश कर दिया। फर्रुखाबाद के कव्वाल ने कहीं दिवार हिलती है, कहीं दर कांप जाता है। सिकंदराबाद के रफीक लईक, आफताब मोहन रामपुर, फरीद लईक मुरादाबाद, मोहसिन ताज मेरठ, लड्डन रुदायन, अयाज अली साबरी आगरा कव्वालों ने कलाम सुनाकर जायरीनों को झूमने पर मजबूर कर दिया।
कार्यक्रम की निजामत शाकिर मंसूरी तथा नाते नबीसल्लाहो अलैहिवसल्लम हाफिज जीशान ने पढ़ी। कमेटी के अब्दुल सलाम, अख्तर हुसैन, बारिस, इवाद, मोहसिन, शाजिद फारुखी, शकील अहमद, अनवर अली, तसद्दुक हुसैन, अजहर अली मौजूद रहे।