अंग्रेजों के बनाए अधिनियम को बदलेगी योगी सरकार, बनाया जा रहा प्रस्ताव
ब्रिटिश शासनकाल में बनाए गए उत्तरी भारत नहर व ड्रेनेज अधिनियम-1873 जल्द समाप्त होने जा रहा है। याेगी सरकार अंग्रेजों के बनाए इस अधिनियम के स्थान पर नय ...और पढ़ें
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राज्य ब्यूरो, लखनऊ। ब्रिटिश शासनकाल में बनाए गए उत्तरी भारत नहर व ड्रेनेज अधिनियम-1873 जल्द समाप्त होने जा रहा है। याेगी सरकार अंग्रेजों के बनाए इस अधिनियम के स्थान पर नया उत्तर प्रदेश सिंचाई एवं ड्रेनेज अधिनियम-2024 बनाने जा रही है। जलशक्ति विभाग इसकी का प्रस्ताव तैयार कर रहा है। मंगलवार को जलशक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह के सामने इस प्रस्तुतिकरण किया गया। मंत्री ने अधिनियम को किसान हितैषी बनाने के निर्देश दिए हैं।
उदयगंज स्थित सिंचाई विभाग में आयोजित बैठक में जलशक्ति मंत्री ने कहा कि नये अधिनियम में उन प्रविधानों को समाप्त कर दिया जाए, जो किसानों के हित में बाधक थे। भविष्य में पानी की स्थिति के मद्देनजर पानी के किफायती उपयोग पर जोर दिया जाए और सभी किसानों को पानी उपलब्ध कराने की व्यवस्था की जाए। बैठक में उन्होंने केन बेतवा लिंक परियोजना के सभी कंपोनेंट की समीक्षा की समीक्षा की। डीपीआर की प्रगति पर चर्चा की। उच्च अधिकारियों को परियोजना के कार्यों का समय-समय पर स्थलीय निरीक्षण करने के निर्देश दिए।
मंत्री ने प्रोन्नति पाने वाले अधिकारियों का अनिवार्य रूप से प्रशिक्षण कराने के भी निर्देश दिए। कहा कि विभाग में अवर अभियंता, सहायक अभियंता, अधिशासी अभियंता, अधीक्षण अभियंता एवं मुख्य अभियंता के पद पर प्रोन्नत होने वाले अधिकारियों- कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिलाया जाए। प्रशिक्षण पूरा होने के बाद ही पोस्टिंग दी जाए।
बैठक में किसानों को सिंचाई के लिए समय से पर्याप्त मात्रा में पानी की उपलब्धता सुनिश्चित कराने के भी निर्देश दिए गए। उन्होंने कहा कि नहरों में रोस्टर के हिसाब से पानी की उपलब्धता सुनिश्चित कराएं। पर्याप्त मात्रा में नहरों में टेल तक अनिवार्य रूप से पानी की पहुंच सुनिश्चित कराई जाए। इन कार्यों में लापरवाही पर संबंधित अधिकारियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। बैठक में प्रमुख सचिव सिंचाई एवं जल संसाधन अनिल गर्ग, प्रमुख अभियंता एवं विभाग अध्यक्ष संदीप कुमार आदि उपस्थित थे।

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