रायबरेली में घटा कांग्रेस की मुखिया सोनिया गांधी का कद, केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी बनी 'दिशा' की अध्यक्ष
अमेठी के रास्ते रायबरेली में स्मृति ईरानी की दस्तक। सांसद सोनिया गांधी को सह अध्यक्ष बनाया गया। बहरहाल कांग्रेस प्रवक्ता विनय द्विवेदी का कहना है कि अध्यक्ष सोनिया गांधी को बनाया जाना चाहिए। कारण वे रायबरेली सांसद हैं। ऐसा न कर ओछी राजनीति की जा रही है।
रायबरेली, [अजय सिंह]। कभी कांग्रेस का अभेद्य दुर्ग रही अमेठी फतह करने के बाद भाजपा की तुलसी (केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी) दबे पांव रायबरेली में जड़ें जमा रहीं। वे हर मोर्चे पर यहां कांग्रेस की घेराबंदी करने में जुटी हैं। वे एक बार फिर कांग्रेस और इसकी मुखिया सोनिया गांधी पर भारी पड़ीं। उन्हें जिला विकास समन्वय एवं अनुश्रवण समिति (दिशा) अध्यक्ष बना दिया गया। कांग्रेस पार्टी के सबसे मजबूत गढ़ में शुमार अमेठी में पहली बार केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कदम रखा तो किसी ने सोचा भी नहीं था कि सफल हो पाएंगी। 2014 में हुए लोकसभा चुनाव में वे पहली बार जनता के बीच गईं। नतीजा उनके पक्ष में नहीं आया। इसके बावजूद हार नहीं मानी।
केंद्र में भाजपा की सरकार होने के नाते योजनाओं को अमेठी तक पहुंचाती रहीं। नतीजतन 2019 के चुनाव में इसका असर पड़ा। कांग्रेस के 'युवराज' को उन्हीं के गढ़ में चारों खाने चित कर दिया। इसके बाद उनका निशाना गांधी परिवार का गढ़ कही जाने वाली रायबरेली है। वे गाहे-बगाहे अपने दौरे में इसका इजहार भी करती हैं। जिले की सलोन विधानसभा सीट उन्हीं के संसदीय क्षेत्र में आती है, इस नाते वे जनता के सुख-दुख में साथ खड़ी नजर आती हैं। अब अचानक दिशा की बैठक के लिए अध्यक्ष बनाए जाने के बाद मंशा और स्पष्ट हो जाती है। माना जा रहा है कि आगामी विधानसभा चुनाव के मद्देनजर कांग्रेस को घेरने की तैयारी हो चुकी है। बहरहाल कांग्रेस प्रवक्ता विनय द्विवेदी का कहना है कि अध्यक्ष सोनिया गांधी को बनाया जाना चाहिए। कारण वे रायबरेली सांसद हैं। ऐसा न कर ओछी राजनीति की जा रही है।
सोनिया गांधी का घटा कद
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी का कद उन्हीं के संसदीय क्षेत्र में घटा दिया गया। दिशा में स्मृति ईरानी को अध्यक्ष, जबकि सोनिया गांधी को सह अध्यक्ष बनाया गया है। इससे पहले 2018 में हुई बैठक में सोनिया गांधी अध्यक्ष, जबकि तत्कालीन अमेठी सांसद रहे राहुल गांधी को सह अध्यक्ष बनाया गया था।
'लोकसभा चुनाव के बाद हर बार दिशा के लिए अध्यक्ष व सह अध्यक्ष का मनोनयन ग्रामीण विकास मंत्रालय से होता है। बिना मनोनयन के जिले में दिशा का गठन नहीं किया जा सकता है। भारत सरकार से मनोनयन का पत्र आ गया है। इसमें केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी को अध्यक्ष, जबकि सांसद सोनिया गांधी को सह अध्यक्ष बनाया गया है। -प्रेमचंद्र पटेल, पीडी डीआरडीए