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बड़े हुनरमंद हैं ये नन्हे वैज्ञानिक, मॉडल्स के जरिए दिखाई भविष्य की झलक

इंस्पायर अवार्ड योजना के तहत राज्य स्तरीय विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन।

By JagranEdited By: Published: Fri, 16 Mar 2018 04:19 PM (IST)Updated: Fri, 16 Mar 2018 04:19 PM (IST)
बड़े हुनरमंद हैं ये नन्हे वैज्ञानिक, मॉडल्स के जरिए दिखाई भविष्य की झलक
बड़े हुनरमंद हैं ये नन्हे वैज्ञानिक, मॉडल्स के जरिए दिखाई भविष्य की झलक

लखनऊ(जागरण संवाददाता)। बाल वैज्ञानिकों ने जब अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया तो सभी ने उनके हुनर की तारीफ की। एक तरफ उनकी छोटी उम्र तो दूसरी ओर उनकी बड़ी सोच आने वाले बेहतर भविष्य को बया कर रही थी। मौका था शिक्षा विभाग की ओर से इंस्पायर अवार्ड योजना के तहत गुरुवार को चिनहट स्थित रानी लक्ष्मीबाई इंटर कॉलेज (आरएलबी) में आयोजित राज्य स्तरीय विज्ञान प्रदर्शनी का। इसमें प्रदेश भर के राजकीय, एडेड समेत अन्य विद्यालयों के 153 छात्र-छात्रएं खुद तैयार किए गए मॉडल के साथ शामिल होने पहुंचे। अपने मॉडल के जरिए किसी ने प्रदूषण रहित पद्धति से सिंचाई का सुझाव दिया तो किसी ने पाच लाख में मानव रहित रेलवे क्रॉसिंग तैयार करने का दावा किया। इस दौरान यूपी के डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा ने भी इनका हौसला बढ़ाया।

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प्रदूषण रहित पद्धति से सिंचाई का दिया सुझाव

कौंच, जालौन इंटर कॉलेज के छात्र किशुन लोहिया ने प्रदूषण रहित पद्धति से सिंचाई पर मॉडल प्रस्तुत किया। इसमें पवन चक्की का इस्तेमाल कर उसे पावर हाउस से कनेक्ट किया गया है। साथ ही स्ट्रीट लाइट के लिए सोलर एनर्जी का प्रयोग किया गया है। इसके माध्यम से पंपिंग सेट पर खर्च होने वाले ईंधन व प्रदूषण से छुटकारा मिलेगा।

दुर्घटनाओं पर अंकुश लगाएगी फॉग एमरजेंसी लाइट

जालौन के सुर्याश गुप्ता ने फॉग एमरजेंसी लाइट का मॉडल तैयार किया। इसमें कॉनवेक्स लेंस व लेजर लाइट के प्रयोग से दुर्घटनाओं पर अंकुश लगाने का बेहतर रास्ता सुझाया गया।

घर की साफ सफाई को किया आसान

चंदौली इंटर कॉलेज के छात्र शशाक शेखर मौर्या ने मॉडल के जरिए गृहणियों को रोजाना घर की सफाई में आने वाली परेशानी से निजात दिलाने का उपाय खोजा। इसके जरिए झाड़-पोछा एक साथ किया जा सकता है। मॉडल को बनाने में ब्लोअर, ट्रासमीटर, रिसीवर व इलेक्ट्रॉनिक स्पीड कंट्रोलर का इस्तेमाल किया गया।

पाच लाख में मानव रहित रेलवे क्रॉसिंग तैयार करने का किया दावा

जुबली इंटर कॉलेज के छात्र सचिन ने मानव रहित रेलवे क्रॉसिंग तैयार किया। इसमें चार प्रकार के सेंसर का इस्तेमाल किया गया है। एक महत्वपूर्ण सेंसर द्वारा रेलवे क्रॉसिंग से पाच किलो मीटर पहले ही ट्रेन की स्थिति के संकेत देने में इस्तेमाल हुआ है। सचिन का दावा है कि मॉडल धरातल पर पाच लाख रुपये की लागत में उतारा जा सकता है।

राष्ट्रीय विज्ञान प्रतियोगिता के लिए चयनित हुए 16 बाल वैज्ञानिक

गुरुवार को आरएलबी चिनहट में हुई राज्य स्तरीय विज्ञान प्रदर्शनी में 16 मॉडल को राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता के लिए चुना गया। इसमें गाजियाबाद के अंशुमान झा, र्आयदु कुमार, मथुरा के बालवीर कुमार, शिवम वर्मा, फिरोजाबाद के कन्हैया कुशवाहा, हाथरस के रित्विजा रतन सिंह, बिजनौर के आदित्य कुमार, बरेली की सुरभि गंगवार, वाराणसी के आशुतोष पाण्डेय, अनवेश पाडेय, सोमेश्वर झा, चंदौली के शशाक शेखर मौर्या, झासी के आदर्श मिश्र, ललितपुर की अदिति कदंकी व भूमि जैन शामिल हैं। विजेता बाल वैज्ञानिकों का चयन नेशनल इनोवेशन फाउंडेशन के डॉ. विवेक कुमार व इसरो के डॉ. एसके पाडेय ने किया।


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