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कानून से छेड़छाड़ करने का अधिकार न्यायालय को नहीं : रामदास आठवले

केंद्रीय सामाजिक एवं न्याय मंत्री रामदास आठवले ने कहा केंद्र सरकार दलितों का उत्पीडऩ रोकने के लिए बने एससी-एसटी कानून को कमजोर नहीं होने देगी।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Sun, 06 May 2018 11:11 AM (IST)Updated: Sun, 06 May 2018 11:32 AM (IST)
कानून से छेड़छाड़ करने का अधिकार न्यायालय को नहीं : रामदास आठवले
कानून से छेड़छाड़ करने का अधिकार न्यायालय को नहीं : रामदास आठवले

लखनऊ (जेएनएन)। नरेंद्र मोदी सरकार में मंत्री रामदास आठवले ने दो टूक कहा है कि किसी भी कानून से छेड़छाड़ करने का अधिकार कोर्ट को नहीं है। लखनऊ में कल उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक से भेंट करने के बाद आठवले ने मीडिया को संबोधित किया।

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केंद्रीय सामाजिक एवं न्याय मंत्री रामदास आठवले ने कहा केंद्र सरकार दलितों का उत्पीडऩ रोकने के लिए बने एससी-एसटी कानून को कमजोर नहीं होने देगी। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की राय से केंद्र सरकार सहमत नहीं है इसलिए पुनर्विचार याचिका दायर की गई है। यदि कोर्ट का फैसला पक्ष में नहीं आया तो कानून मजबूत करने के लिए सरकार अध्यादेश लाएगी।

उन्होंने कहा कि कानून के साथ छेड़छाड़ करने का अधिकार न्यायालय को नहीं है। आठवले ने एससी-एसटी एक्ट को लेकर कहा कि सुप्रीम कोर्ट का यह कहना कि 90 प्रतिशत से ज्यादा मामले में लोग गलत तरीके से फंसाए जाते हैं, जो गलत है। सरकार नहीं चाहती है कि एससी-एसटी कानून को और कमजोर होने दिया जाए। आरपीआई अध्यक्ष ने कहा कि अगर इसके बाद भी सुप्रीम कोर्ट का फैसला विपरीत आएगा तो केंद्र सरकार एससी-एसटी एक्ट पर अध्यादेश लाकर इस कानून को मजबूत बनाएगी। इससे दलितों के भीतर सरकार के प्रति विश्वास और गहरा होगा।

मंत्री आठवले ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने एससी-एसटी एक्ट में दर्ज होने वाले कुल मामलों में 90 फीसद को फर्जी बताया है। सुप्रीम कोर्ट की राय से हम सहमत नहीं हैं। उन्होंने कहा कि आज बसपा प्रमुख मायावती एससी-एसटी एक्ट की दुहाई दे रही हैं। जब मुख्यमंत्री थीं तब उन्होंने खुद इस कानून को बहुत कमजोर किया था। वर्तमान में केंद्र की नेंद्र मोदी सरकार दलितों के हित में काम कर रही है।

उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव अच्छे मित्र थे लेकिन अब उनसे दोस्ती खत्म हो गई है। उन्होंने जब से मुलायम सिंह यादव का बड़ा अपमान किया है, तभी से हमारा मन उनके खफा है। इस समय हमारी दोस्ती उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ व डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य से हो गई है।

इससे पहले केंद्रीय मंत्री ने राज्यपाल राम नाईक से राजभवन में मुलाकात की। राज्यपाल ने आठवले को डॉ. भीमराव आंबेडकर के नाम परिवर्तन की पुस्तिका भी भेंट की। इस अवसर पर वहां रिपब्लिक पार्टी ऑफ इंडिया के प्रदेश अध्यक्ष सत्यनरायण भी उपस्थित थे।

दलितों के घर खाना खाने से खत्म हो सकती है जाति प्रथा

रामदास आठवले ने कहा कि दलितों के घर पर खाना खाने से उनकी स्थिति में भले ही कोई बदलाव न आए लेकिन इससे जाति प्रथा जरूर खत्म हो सकती है। दलित व सवर्णों को जोडऩे के लिए भाजपा का यह अच्छा प्रयास है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दलितों के घर में जाकर भोजन करने पर आठवले ने कहा कि यह अच्छी बात है कि सरकार दलितों से जुडऩे का प्रयास कर रही है। सामाजिक भेदभाव खत्म करने के लिए ऐसा प्रयास सराहनीय काम है। उन्होंने यह भी कहा कि दलित के घर खाना खाना अच्छी बात है लेकिन वहां जाकर अपना खाना खाना या होटल से खाना मंगाकर खाना अच्छी बात नहीं है। हालांकि कई बार जब घर में मेहमान आते हैं तो दलित भी बाहर से अच्छा खाना मंगा लेते हैं।

जिन्ना प्रकरण पर दिया गोलमोल जवाब

आठवले ने अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में जिन्ना की फोटो लगी होने के कारण हुए बवाल पर गोलमोल जवाब दिया। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय बनाने में जिन्ना का भी योगदान था, साथ ही उनकी तस्वीर यदि पहले से लगी थी तो उसका विरोध करना ठीक नहीं है। वहीं, जिन्ना का भारत व पाकिस्तान के बंटवारे में अहम रोल था इसलिए उनकी तस्वीर न लगे तो ही ठीक है।

भाजपा से मांगेगे तीन सीट

रामदास आठावले ने कहा कि लोकसभा चुनाव में हम उत्तर प्रदेश में भाजपा से तीन सीट मांगेगे। इन सीटों पर रिब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया के प्रत्याशी मैदान में उतरेंगे। अगर भाजपा हमारी मांग स्वीकार करती है तो उसे यूपी में दलितों का वोट मिलेगा। हमें उम्मीद है कि हमारी मांग पर विचार किया जाएगा। आठवले ने कहा कि प्रदेश में गोरखपुर और फूलपुर संसदीय सीटों पर उप चुनाव भले ही भाजपा हार गई हो, लेकिर कैराना लोकसभा के साथ ही नूरपुर विधानसभा उपचुनाव में भाजपा अच्छा प्रदर्शन करेगी। 


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