केजीएमयू में रैगिंग : नजर तीसरे बटन पर और तेल से तर बालों की चोटी
इलाहाबाद मेडिकल कॉलेज में जहां खुलेआम रैगिंग का शर्मनाक खेल चल रहा है, वहीं राजधानी की किंग जॉर्ज मेडिकल यूनीवर्सिटी (केजीएमयू) में सीनियर्स गुपचुप तरीके से रैगिंग कर रहे हैं।
लखनऊ (जेएनएन)। विश्व विख्यात किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी में भी रैगिंग का कहर है। तमाम उपाय व दावों के बाद भी एमबीबीएस-बीडीएस के नए विद्यार्थियों में रैगिंग के खौफ से काफी सहमे से हैं।
सीनियर्स छात्रों का फरमान यहां के सभी हॉस्टल में पहुंच चुका है। इसमें कैंपस में निकलते वक्त जूनियर छात्रों की नजर एप्रेन की थर्ड बटन पर रहती है। इनको बाल छोटे करने को कहा गया है। वहीं छात्रओं को चोटी बांधने का निर्देश दिया गया है।
इलाहाबाद मेडिकल कॉलेज में जहां खुलेआम रैगिंग का शर्मनाक खेल चल रहा है, वहीं राजधानी की किंग जॉर्ज मेडिकल यूनीवर्सिटी (केजीएमयू) में सीनियर्स गुपचुप तरीके से रैगिंग कर रहे हैं। यह हाल तब है जब प्रथम वर्ष के ब्वॉयज व गल्र्स हॉस्टल पर सुरक्षाकर्मियों का कड़ा पहरा है। यहां पर हॉस्टल से लेकर कक्षाओं तक बाउंसर, गार्ड की तैनाती कर रखी गई है। इसके बावजूद सीनियर्स का फरमान हॉस्टलों में पहुंच चुका है।
कल यहां कलाम सेंटर से लेक्चर के बाद 11: 15 पर एनॉटमी की कक्षा में कतारबद्ध तरीके से जा रहे छात्र-छात्रएं रैगिंग की कहानी बयां कर रहे थे। यहां गार्ड व बाउंसर के घेरे में चल रहे विद्यार्थियों की नजरें नीची थी। वहीं कई छात्रों के बाल भी छोटे दिखे, अधिकतर छात्रएं चोटी बांधे हुए थीं। यहां एमबीबीएस में 250 व बीडीएस के 70 छात्रों ने दाखिला लिया है।
प्रथम वर्ष के छात्रों ने बताया कि हॉस्टल-कक्षा तक सुरक्षाकर्मियों का पहरा है। ऐसे में सीनियर ने दो दिन पहले नए बैच के एक छात्र को अपने इलाके का बताकर बुलाया। उसी छात्र के माध्यम से हॉस्टल में मैसेज भेजा गया, जिसमें सभी को बाल छोटे कराने के निर्देश दिए हैं। कई छात्रों ने करा भी लिए हैं, शेष अवकाश के दिन करवाएंगे। इसके अलावा छात्रों को एप्रेन घुटनों तक, लंबी पैंट और कैंपस में थर्ड बटन पर नजर रखने को कहा गया।
प्रॉक्टर ने लगाई विजिलेंस टीम
इलाहाबाद में रैगिंग की घटना पर चीफ प्रॉक्टर डॉ. आरएएस कुशवाहा कल प्रथम वर्ष की कक्षाओं में पहुंचे। डॉ. कुशवाहा ने सभी जूनियर्स से रैगिंग व परेशानियों के बारे में पूछा, मगर किसी ने जवाब नहीं दिया। हालांकि कैंपस, हॉस्टल में विजिलेंस टीम लगी है। वह सीनियर्स पर नजर रख रही है। उनसे शपथ पत्र भी लिया गया है। यदि कोई रैगिंग में पकड़ा गया तो सख्त कार्रवाई होगी।
विवि में बनाई गई एंटी रैगिंग की भारी-भरकम टीम
सीनियर्स को काबू करने व अनुशासन बनाए रखने के लिए केजीएमयू प्रशासन ने एक पूरी फौज तैनात कर रखी है। इसमें एक चीफ प्रॉक्टर, प्रॉक्टर व सहायक प्रॉक्टर 30, एंटी रैगिंग स्क्वॉयड टीम में 35 सदस्य, चार बाउंसर, 10 सुरक्षाकर्मी व हॉस्टल के अंदर-बाहर सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं।
हेल्पलाइन नंबर पर करें शिकायत
केजीएमयू में रैगिंग की शिकायत के लिए हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं। इसमें यूजीसी का नंबर 1800-180-5522, एमसीआइ का नंबर 011-25361262,फैक्स 25367324, डीसीआइ का नंबर 011-23238542, केजीएमयू का नंबर 0522-2257888 नंबर जारी किया है। वहीं डिसप्ले पर मेल भी दर्शाई गई हैं। इन पर छात्र शिकायत कर सकते हैं।
गत वर्ष हुई कार्रवाई
19 व 20 अगस्त 2017 को रैगिंग करने पर वर्ष 2016 के दो छात्र अनुराग अग्रवाल व अभिजीत गुप्ता का हॉस्टल आवंटन निरस्त किया गया। 24 अगस्त 2017 को सीवी हॉस्टल के छात्र कैंपस में रैगिंग के लिए जुटे करीब 20 सीनियर्स पर एक-एक हजार का अर्थदंड लगाया गया।