मंगलगीत से संक्रमित पुलिसकर्मियों में उत्साह जगा रहे ‘कप्तान’, वाट्सएप ग्रुप पर दे रहे संदेश
पुलिस अधीक्षक डॉ. अरविंद चतुर्वेदी ने बताया कि संकमित पुलिसकर्मी सहित परिवाजन का बनाया वाट्सएप ग्रुप भेज रहे संदेश।
बाराबंकी, जेएनएन। मुश्किलों से लड़ाई तब और आसान हो जाती है जब शीर्षस्थ अधिकारी ही अभिभावक की भूमिका निभाने लग जाएं। कुछ ऐसा ही कोरोना संक्रमित पाए गए पुलिसकर्मियों और उनके परिवारजन के साथ कर रहे हैं जिले के कप्तान यानी पुलिस अधीक्षक डॉ. अरविंद चतुर्वेदी। इसके लिए उन्होंने संक्रमित पुलिसकर्मियों और उनके परिवारजन का एक वाट्सएप ग्रुप बनाया है। इसमें न सिर्फ वे सकारात्मक संदेश भेजते हैं बल्कि अपनी पत्नी रागिनी चतुर्वेदी के साथ गाए मंगलगीत का ऑडियो भी साझा करते हैं।
उनका मानना है कि मुश्किल दौर से निपटने में दवाओं से ज्यादा माहौल और हौसले की ज्यादा अहम भूमिका होती है। व्यक्ति का हौसला उसकी रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ाता है। खासकर कोरोना जैसी महामारी को इम्यूनिटी पावर यानी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाकर ही हराया जा सकता है।
पुलिस कर्मियों के कोरोना संक्रमित मिलने के बाद की पहल
एसपी डॉ. अरविंद चतुर्वेदी ने पुलिस अधीक्षक कार्यालय के काफी कर्मियों और परिवारजन की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद यह पहल की है। उन्होंने बताया कि कोविड अस्पताल में निरीक्षण के दौरान जब संक्रमित व्यक्तियों और उनके परिवारजन से मिला तो उनके चेहरे पर चिन्ता, निराशा और असमंजस की लकीरें साफ दिख रहीं थीं। इसके बाद उनको हौसला देने के उद्देश्य से इस ग्रुप का गठन किया है।
सुलझाई जाएंगी समस्याएं
एसपी ने बताया कि इस ग्रुप से जुड़े पुलिसकर्मियों से अपनी समस्याएं और सुझाव इसी ग्रुप में साझा करने को कहा गया है। साथ ही संबंधित परिवार के लिए सभी आवश्यक सुविधाएं मुहैया कराई गई हैं।
पुलिस अधीक्षक, बाराबंकी डॉ. अरविंद चतुर्वेदी ने बताया कि कोरोना की अभी कोई वैक्सीन नहीं बनी है। इस बीमारी को हौसला और इम्युनिटी पॉवर बढ़ाकर ही मात दी जा सकती है। इसलिए संक्रमित पुलिसकर्मियों का एक ग्रुप बनाकर उस पर सकारात्मक संदेश भेजने के साथ ही स्वयं और रागिनी का गाया भजन भी भेजा है। प्रतिदिन ऐसे संदेश और आडियो-वीडियो भेजने का क्रम जारी रखेंगे। संबंधित परिवारों से भी ऐसा करने को कहा है। साथ ही समस्याएं और सुझाव भी इसी ग्रुप पर मांगे हैं।