Move to Jagran APP

मैरिज रजिस्ट्रेशन के लिए योगी सरकार की नई व्यवस्था, शादी में खुद पहुंचेंगे सुविधा केंद्र के प्रतिनिधि

राज्य सरकार ऐसी व्यवस्था करने जा रही है कि मैरिज रजिस्ट्रेशन चाहने वालों की शादी में खुद निबंधन विभाग के प्रतिनिधि पहुंचेंगे और औपचारिकताएं पूरी करके सर्टिफिकेट घर भिजवाएंगे।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Thu, 05 Sep 2019 09:49 PM (IST)Updated: Fri, 06 Sep 2019 09:16 AM (IST)
मैरिज रजिस्ट्रेशन के लिए योगी सरकार की नई व्यवस्था, शादी में खुद पहुंचेंगे सुविधा केंद्र के प्रतिनिधि
मैरिज रजिस्ट्रेशन के लिए योगी सरकार की नई व्यवस्था, शादी में खुद पहुंचेंगे सुविधा केंद्र के प्रतिनिधि

लखनऊ [राज्य ब्यूरो]। अब शादी का रजिस्ट्रेशन कराने के लिए आपको रजिस्ट्री ऑफिस के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। राज्य सरकार ऐसी व्यवस्था करने जा रही है कि मैरिज रजिस्ट्रेशन चाहने वालों के शादी समारोह में खुद निबंधन विभाग के प्रतिनिधि पहुंचेंगे और फोटो, सिग्नेचनर आदि की औपचारिकताएं पूरी करके मैरिज सर्टिफिकेट घर भिजवाएंगे। इस सुविधा के एवज में एक हजार रुपये लिये जाएंगे। 

loksabha election banner

दरअसल, वर्तमान में मैरिज रजिस्ट्रेशन कराने के लिए स्टाम्प एवं निबंधन कार्यालय जाना ही पड़ता है। यही नहीं जानकारी के अभाव में औपचारिकताएं पूरी करने के लिए कई बार अधिवक्ताओं की भी मदद लेनी पड़ती है। ऐसे में समय बर्बाद होने के साथ ही तमाम तरह की दिक्कतें भी होती हैं। इसको देखते हुए योगी सरकार मैरिज रजिस्ट्रेशन की नई व्यवस्था करने पर गंभीरता से विचार कर रही है। पहले-पहल राजधानी लखनऊ के साथ ही प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र वाराणसी, मुख्यमंत्री के गोरखपुर और गाजियाबाद में पायलेट प्रोजेक्ट के तौर पर ऐसी व्यवस्था की जा सकती है।

स्टाम्प एवं पंजीयन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रवीन्द्र जायसवाल ने बताया कि विवाह पंजीकरण के लिए एक हजार रुपये जमा करके ऑनलाइन आवेदन करने पर जन सुविधा केंद्रों के प्रतिनिधियों को विवाह कार्यक्रम स्थल पर भेजा जाएगा। वहां पर वर-वधू के माता-पिता व परिवार तथा गवाहों आदि से संबंधित जानकारी तय फार्मेट पर लेने के बाद उसे ऑनलाइन ही विभाग को उपलब्ध कराया जाएगा। ओटीपी के माध्यम से मोबाइल नंबर सत्यापित किया जाएगा और फिर तय अवधि में मैरिज सर्टिफिकेट घर पर भेज दिया जाएगा।

सर्टिफिकेट पर नवदंपती के लिए मुख्यमंत्री की फोटो के साथ ही उनका शुभकामना संदेश रहेगा। मंत्री ने बताया कि परिवारों को मिलने वाली सरकारी सुविधाओं के लिए विवाह पंजीकरण को अनिवार्य बनाने की दिशा में भी कार्यवाही की जा रही है। जायसवाल के मुताबिक प्रतिवर्ष 40-50 लाख विवाह होते हैं, लेकिन रजिस्ट्रेशन बहुत ही कम कराए जाते हैैं। ऐसे में विवाह पंजीकरण को अनिवार्य बनाए जाने पर संबंधित परिवार को उसका लाभ मिलने के साथ ही सरकार के राजस्व में भी इजाफा होगा।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.