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धधकते भट्ठों पर एनजीटी आग बबूला, प्रतिबंध के बावजूद ईंट बनाने पर लगाई फटकार

एनजीटी के आदेशों को दरकिनार कर एनसीआर सहित पूरे प्रदेश में ईंट भट्ठे खोले जाने के मुख्य सचिव के आदेश को किया खारिज।

By Anurag GuptaEdited By: Published: Sat, 11 Jul 2020 11:06 AM (IST)Updated: Sun, 12 Jul 2020 06:14 AM (IST)
धधकते भट्ठों पर एनजीटी आग बबूला, प्रतिबंध के बावजूद ईंट बनाने पर लगाई फटकार
धधकते भट्ठों पर एनजीटी आग बबूला, प्रतिबंध के बावजूद ईंट बनाने पर लगाई फटकार

लखनऊ, (रूमा सिन्हा)। एनसीआर में शामिल और उससे सटे आठ जिलों में रोक के बावजूद ईंट-भट्ठे चालू करने पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) आग बबूला है। इतना ही नहीं, प्रदेश के मुख्य सचिव का 29 मार्च को जारी वह आदेश भी खारिज कर दिया गया है, जिसमें भट्ठे चलाने की अनुमति दी गई थी। विभिन्न याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए एनजीटी ने प्रदेश सरकार के रवैये पर सख्त नाराजगी जताते हुए 19 नवंबर 2019 को जारी अपने आदेश का हर हाल में पालन कराने के निर्देश दिए हैं। ऐसा न करने पर कार्रवाई की चेतावनी दी है।

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प्रदूषण विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक, गाजियाबाद, गौतमबुद्ध नगर, हापुड़, मेरठ, बुलंदशहर, बागपत, शामली, मुजफ्फरनगर में लगभग 2250 ईंट भट्ठे हैं। इनमें से करीब 1100 ने ही पर्यावरण सहमति प्राप्त की है। इस मामले में शैलेश सिंह, राजवीर सिंह और विकास सिंह ने याचिकाएं दायर की थीं, जिन पर पिछले साल नवंबर में सुनवाई करते हुए एनजीटी ने एनसीआर क्षेत्र में वायु प्रदूषण के गहराते संकट को गंभीर माना। ईंट भट्ठों पर प्रतिबंध लगा दिया। वहीं, पूरे प्रदेश की बात करें तो करीब 19 हजार ईंट भट्ठे हैं, जिनमें से सिर्फ 8851 के पास ही पर्यावरण समिति है। यह जानते हुए भी मुख्य सचिव ने एनजीटी के आदेशों को दरकिनार कर एनसीआर सहित पूरे प्रदेश में ईंट भट्ठे खोले जाने का आदेश पिछले दिनों दे दिया।

दिए गए हैं ये आदेश

 एनजीटी ने विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर पूर्व में निर्देश दिए हैं कि सभी ईंट-भट्ठे कोयले के ईंधन से चलें और सरकार पीएनजी गैस, कृषि अवशेष और ईंधन के अन्य विकल्पों-नई तकनीकों पर भी अध्ययन कराएं। साथ ही यह भी निर्देश दिए गए हैं कि दो ईंट-भट्ठों के बीच कम से कम 500 मीटर की दूरी होनी चाहिए।

पर्यावरण को ऐसे पहुंचता है नुकसान

जांच में देखा गया है कि अधिकतर ईंट भट्ठों में पीएम 10 मानक सीमा से अधिक उत्सॢजत होता है, जिससे आसपास का पर्यावरण प्रदूषित होता है। खासकर एनसीआर क्षेत्र में ईंट-भट्ठे वायु प्रदूषण को फैलाने में मुख्य रूप से जिम्मेदार पाए गए हैं। एनजीटी ने यह भी आदेश दिया है कि जो ईंट-भट्ठे बिना अनुमति के चल रहे हैं उनको बंद किया जाए।


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