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मौनी अमावस्या पर करोड़ों ने लगाई पुण्य की डुबकी

मौनी अमावस्या के बड़े स्नान पर्व पर आज लोगों ने ठंड की परवाह नहीं की। करोड़ों लोगों ने इलाहाबाद के साथ ही अयोध्या, वाराणसी, कानपुर के साथ गोरखपुर में भी सुबह से ही नदियों ने डुबकी लगाई। मौनी अमावस्या का स्नान तो कल रात से ही शुरू हो गया था

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Tue, 20 Jan 2015 11:29 AM (IST)Updated: Tue, 20 Jan 2015 05:44 PM (IST)
मौनी अमावस्या पर करोड़ों ने लगाई पुण्य की डुबकी

लखनऊ। जोर से बोलो भैया.. जय हो गंगा मइया.., गद्दा न रजाई, जय हो गंगा माई..,..रे मइया तोर पानी अमरित .., और.., हर-हर गंगे..ऊं भगवते वासुदेवाय' जैसे नारे व जयकारे के बीच कड़ाके की ठंड भी फीकी पड़ गई। माघ माह के बड़े स्नान पर्व पर आज दोपहर तक इलाहाबाद के संगम तट पर पचास लाख के अधिक लोगों ने गंगा नदी में डुबकी लगाई। उत्तर प्रदेश में आज मौनी अमावस्या पर पुण्य की डुबली लगाने वाले श्रद्धालुओं की संख्या करोड़ के ऊपर है।

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इलाहबाद में माघ मेला के प्रति सभी के मन में जाह्नवी को लेकर अगाध आस्था है। सभी के हृदय में अमृतमयी गंगा में डूबकी लगाने की मंगल कामना। इस आस्था के ज्वार में डूबते-उतराते श्रद्धालुओं का उत्साह कड़ाके की ठंड पर बहुत भारी पड़ गया। प्रशासन के आंकड़ें को सत्यापित करते हुए दोपहर तक करीब 50 लाख स्नानार्थियों ने गंगा-यमुना व अदृश्य सरस्वती के पावन संगम में डुबकी लगाई। संगम के साथ त्रिवेणी व महावीर मार्ग के मध्य सिटी साइड के घाट, रामघाट, दंडी बाडा और गंगोली शिवाला समेत सभी 12 घाटों पर तिल रखने की भी जगह नही थी। चहुंदिश दिख रहे थे तो केवल लाखों सिर। दान-पुण्य में भी कोई किसी से कम नही रहा। 'ऊं नम: शिवाय, त्रिवेणी माधवं..प्रयागम् तीर्थनायकम्' जैसे मंत्रोच्चार के बीच स्नानार्थी मौनी अमावस्या पर अपने को धन्य मानते दिखे। 1550 बीघे में चार सेक्टरों में बसी तम्बूओं की नगरी श्रद्धालुओं से पटी रही। मेला प्रशासन ने भी अपने तरफ से कोई कसर नही छोड़ी और घाटों से लेकर संगम के रास्तों तक पर सुव्यवस्था की। किसी तरह की परेशानी होने पर पुलिस से लगायत स्वास्थ्य विभाग की व्यवस्था भी चाक चौबंद दिखी। कश्मीर से कन्याकुमारी तथा सिल्चर से काठियावाड़ तक के स्नानार्थियों ने पतित पावनी गंगा में डूबकी लगाई व वर्षों से चली आ रही परंपरा का निर्वहन किया।

ज्योतिषाचार्य डा.जेएन मिश्र ने बताया कि मौनी अमावस्या पर स्नान का शुभ मुहूर्त प्रात: 9.17 मिनट से प्रारंभ होकर सायं 7.35 बजे तक है। गांव व कस्बों से आने वालों का तो पूछिए ही मत। कतारबद्ध हो लाखों कदम ऐसे चल रहे थे जैसे गंगा मइया ने इन्हें संगम आने का खास निमंत्रण दिया हो।

इस दिन स्नान, दान व ध्यान करने के उद्देश्य से दूर-दूर से लाखों श्रद्धालु कल से ही इलाहाबाद में जमे हैं। पुण्य बेला में डुबकी लगाने को हर कोई आतुर था। संगम पर आम श्रद्धालु के साथ माघ मेला में पधारे शंकराचार्य, महामंडलेश्वर, मंडलेश्वर सहित प्रमुख संत-महात्माïओं ने भी संगम में डुबकी लगाई। करोड़ों लोगों ने इलाहाबाद के साथ ही अयोध्या, वाराणसी, कानपुर के साथ गोरखपुर में भी सुबह से ही नदियों ने डुबकी लगाई। मौनी अमावस्या का स्नान तो कल रात से ही शुरू हो गया था लेकिन तड़के करीब चार-पांच बजे भीड़ काफी बढ़ गई थी। मौनी अमावस्या पर इलाहाबाद के साथ ही गोरखपुर, अयोध्या, कानपुर, वाराणसी तथा लखनऊ में भी हजारों लोगों ने नदियों ने डुबकी लगाई है। अभी स्नान जारी है।

इलाहाबाद में हाई अलर्ट

मौनी अमावस्या स्नान पर्व पर इलाहाबाद से जुड़े सीमावर्ती जिलों की पुलिस को भी अलर्ट कर दिया गया है। इस प्रमुख स्नान पर्व के कारण आसपास के श्रद्धालुओं की भारी भीड़ के कारण जिलों में भी जाम की स्थिति हो गई है। यहां पर आतंकी साजिश के मद्देनजर एटीएस सक्रिय है।


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