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अपने हुनर को पहचानकर तराशें विद्यार्थी, माता-पिता की अपेक्षा पर खरा उतरें : आशुतोष टंडन

आइईटी में ऑडिटोरियम का लोकार्पण व कल्चरल फेस्ट प्रवाह-201

By JagranEdited By: Published: Mon, 26 Mar 2018 11:46 AM (IST)Updated: Mon, 26 Mar 2018 12:16 PM (IST)
अपने हुनर को पहचानकर तराशें विद्यार्थी, माता-पिता की अपेक्षा पर खरा उतरें : आशुतोष टंडन
अपने हुनर को पहचानकर तराशें विद्यार्थी, माता-पिता की अपेक्षा पर खरा उतरें : आशुतोष टंडन

लखनऊ(जागरण संवाददाता)। रामनवमी के शुभ दिन रविवार को प्राविधिक शिक्षा मंत्री आशुतोष टंडन उर्फ गोपाल ने कहा कि भगवान राम को 14 साल का वनवास हुआ था, लेकिन आइईटी का ऑडिटोरियम 1996 में बनना शुरू हुआ और अभी तक आधा-अधूरा पड़ा रहा। अब 22 साल बाद यह पूरा हुआ है। मौका था इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी (आइईटी) में ऑडिटोरियम के लोकार्पण व आर्ट एंड कल्चरल फेस्ट प्रवाह-2018 के उद्घाटन समारोह का। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि प्राविधिक शिक्षा मंत्री आशुतोष टंडन उर्फ गोपाल मौजूद रहे। इसमें विद्यार्थियों ने यूपी की कला एवं संस्कृति के विविध रंग बिखेर कर लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया।

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विद्यार्थी अपने हुनर को पहचानकर उसे तराशें

कार्यक्रम में प्राविधिक शिक्षा मंत्री आशुतोष टंडन उर्फ गोपाल ने कहा कि विद्यार्थी अपने हुनर को पहचानकर उसे तराशें और अपने माता-पिता की अपेक्षाओं पर खरा उतरने की कोशिश करें। वहीं, एकेटीयू के कुलपति प्रो. विनय कुमार पाठक ने कहा कि आइईटी के पूर्व छात्रों का सपना था कि यह कभी बनकर पूरा हो, आज पूरा हो गया। 800 लोगों की क्षमता वाले इसे भव्य आडिटोरियम को दूसरी किश्त में सवा आठ करोड़ रुपये देकर पूरा किया गया।

डाक्यूमेंट्री के माध्यम से डॉ. कलाम को दी गई श्रद्धाजलि

आइईटी में आयोजित प्रवाह 2018 में पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम के जीवन संघर्ष पर आधारित डाक्यूमेंट्री दिखाई गई। इसे आइईटी के विद्यार्थियों के द्वारा तैयार किया गया है। इसमें मिसाइल मैन के नाम से विख्यात डॉ. कलाम ने किस तरह देश को रक्षा के क्षेत्र में समृद्ध बनाया, उसे रोचक ढंग से प्रस्तुत किया गया है।

कार्यक्रम में छात्र-छात्रओं ने दिखाई लखनऊ की झलक

तीन दिवसीय राज्य स्तरीय प्रतियोगिता प्रवाह-2018 में जोनल स्तर पर आयोजित हुई प्रतियोगिता के 343 विजेता हिस्सा ले रहे हैं। प्रवाह 2018 का शुभारंभ गवर्नमेंट आर्किटेक्चर की छात्रओं ने गणोश वंदना के साथ किया। इसके बाद नाटक यूपी के दर्शन में यहा की धर्म नगरी और मशहूर चीजों के बारे में रोचक ढंग से जानकारी दी गई। मंच पर भगवान शिव शकर, कृष्ण, राम और गौतमबुद्ध जी अवतरित हुए। इसके माध्यम से अयोध्या, वाराणसी, मथुरा, सारनाथ आदि के बारे में जानकारी दी गई। वहीं, लखनऊ के चिकन के कपड़े और बनारसी साड़ी आदि पहनकर रैंप पर छात्र-छात्रओं ने अपनी अदा का जलवा बिखेरा। खान-पान में लखनऊ की रेवड़ी, आगरा का पेठा और मशहूर बनारसी पान आदि के बारे में रोचक ढंग से जानकारी दी गई। इसके अलावा डास व म्यूजिक की धूम रही।

यह भी रहे माजूद

कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. विनय कुमार पाठक, एचबीटीयू के कुलपति प्रो. एनबी सिंह, आइईटी के निदेशक प्रो. एचके पालीवाल, एकेटीयू के प्रति कुलपति प्रो. कैलाश नारायण, एकेटीयू के रजिस्ट्रार ओपी राय, आइईटी के रजिस्ट्रार डॉ. प्रदीप बाजपेई, डिप्टी रजिस्ट्रार राजीव मिश्र आदि मौजूद रहे।


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