Ramadan 2020: मौलानाओं की अपील : घर पर ही पढ़ें जुमे की नमाज
इबादत में गुजरा माह-ए-रमजान का तीसरा दिन घरों में ही हो रही तरावीह और इफ्तारी।
लखनऊ, जेएनएन। 18वीं और 21वीं रमजान पर निकलने वाले जुलूस को लेकर संशय के बीच मौलानाओं ने एक बार फिर रमजान में जुमे की नमाज घरों में ही पढऩे की अपील की है। धर्मगुरुओं ने कहा कि अल्लाह की इबादत के इस पाक महीने में विश्वभर में संक्रमण को रोकने की भी जिम्मेदारी हम सबकी है। ऐसे में मुस्लिम समाज के लोग घरों में ही रहकर जुमे की नमाज पढ़ें। शारीरिक दूरी बनाकर प्रशासन के लॉकडाउन के निर्णय में सहयोग करें।
इससे पहले रोजे के तीसरे दिन सोमवार को भी रोजेदारों ने घरों में ही नमाज पढ़ी और शाम को परिवार के साथ इफ्तार किया। ऐशबाग ईदगाह के इमाम मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली की ओर से रात्रि आठ बजे से नौ बजे तक फेसबुक पर ऑनलाइन दो पारे की तिलावत प्रसारित की गई। उन्होंने रोजेदारों को घर में ही रहकर शारीरिक दूरी बनाते हुए नमाज अदा करने की अपील की। रमजान में जुमे की नमाज खास होती है, लेकिन घरों में ही रहकर नमाज पढ़े और लॉकडाउन का पालन करें। शहर-ए-काजी मुफ्ति इरफान मियां सभी को घर में ही इबादत करने का आग्रह किया है। इमाम-ए-जुमा मौलाना कल्बे जवाद ने कहा कि रमजान-ए-पाक महीने में घर में ही रहकर जुमे की नमाज अदा करें। मरकजी शिया चांद कमेटी के अध्यक्ष मौलाना सैफ अब्बास नकवी और इदार-ए-शरैया फरंगी महल के मौलाना अबुल इरफान फरंगी महली ने भी रोजेदारों से घर में रहकर सुरक्षित रहने और मास्क पहनने की अपील की है। इबादत के इस पाक महीने में भी समाज को कोरोना से मुक्ति के लिए दुआ करनी चाहिए।
अजान के दौरान हो रहा एलान
मस्जिदों में शारीरिक दूरी बनाकर पांच लोगों के रहने की इजाजत है। ऐसे में मस्जिदों में अजान के साथ ही रोजेदारों से घर में ही रहकर नमाज पढऩे की अपील की गई है। सुरक्षा के चलते सभी को मास्क का प्रयोग करने और घरों में ही रहने की अपील की गई।
इबादत में इनका रखें ध्यान
- इदारा-ए-शरइया फरंगी महल के महासचिव मौलाना अफ्फान अतीक फरंगी महली ने मुसलमानों को लॉकडाउन का पालन करने के एवज में इबादत के आसान तरीकों के बारे में बताया है।
- रमजान के पाक महीने में कुरआन मजीद अवतरित हुआ, जिसमें बीमारियों से शफा है और मोमिनों के लिए रहमत है। इसलिए कुरआन पढ़कर इस जानलेवा कोरोना वायरस से निजात के लिए दुआ करें।
- रोजा रखकर जिस्मानी व रुहानी तौर से पाक होकर कुरआन मजीद की तिलावत करके समाज को बीमारी से दूर करने की दुआ मांगे।
- घर में कुरआन पाक को पढ़ें। एक शब्द पढ़कर 10 नेकी का सवाब मिलता है।
- मोबाइल फोन का बेजा इस्तेमाल सेहत के लिए ठीक नहीं, इबादत में ही ज्यादा समय दें।
- लॉकडाउन में सरकार या डॉक्टर द्वारा दी गई तमाम हिदायतों का पालन करते हुए घरों में ही इबादत करें।