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लखनऊ की एतिहासिक इमारत इमामबाड़ा सिब्तैनाबाद का मुख्य गेट अचानक गिरा, बड़ा हादसा टला

अतिव्यस्ततम इलाका होने के कारण यहां रहती है हरदम चहलपहल लेकिन लॉकडाउन के चलते सन्नाटा होने से बच गया बड़ा हादसा।

By Anurag GuptaEdited By: Published: Thu, 02 Apr 2020 05:48 PM (IST)Updated: Fri, 03 Apr 2020 07:35 AM (IST)
लखनऊ की एतिहासिक इमारत इमामबाड़ा सिब्तैनाबाद का मुख्य गेट अचानक गिरा, बड़ा हादसा टला
लखनऊ की एतिहासिक इमारत इमामबाड़ा सिब्तैनाबाद का मुख्य गेट अचानक गिरा, बड़ा हादसा टला

लखनऊ, जेएनएन। लखनऊ की एतिहासिक इमारतों में शामिल हजरतगंज स्थित इमामबाड़ा सिब्तैनाबाद का सड़क स्थित मुख्य गेट बुधवार दोपहर अचानक गिर गया। मुताव्वली मोहम्मद हैदर ने बताया इमामबाड़े के गेट पर अवैध कब्जे थे। यहां एक निजी होटल ने अपना किचन बना रखा था। इसकी सुरक्षा के लिए नगर निगम, एलडीए व एएसआई को कई बार पत्र लिखा गया, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। जिसके चलते एतिहासिक इमारत का गेट गिर गया। यह इलाका राजधानी के व्यस्ततम क्षेत्रों में से एक है, जहां हमेशा चहलपहल रहती है, लेकिन इन दिनों कोरोवायरस के चलते हुए लॉकडाउन के कारण सन्नाटा पसरा हुआ है। इससे यहां एक बड़ा हादसा होने से टल गया।

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मोहम्मद हैदर ने बताया कि होटल के ऊपर हजरतगंज थाने में वक्फ बोर्ड की ओर से मुकदमा दर्ज करवाने के लिए तहरीर दी गई है। हजरतगंज स्थित इमामबाड़ा सिब्तैनाबाद निमार्ण सन 1847 में नवाब वाजिद अली शाह ने कराया था। इस गौरतलब है कि इस एतिहासिक इमारत की देखभाल की जिम्मेदारी राज्य पुरातत्व सर्वेक्षण के पास है। मुताव्वली अधिवक्ता मोहम्मद हैदर ने बताया कि इमामबाड़े के दो गेट है। एक हजरतगंज की मुख्य सड़क पर है जबकि दूसरा उसके पीछे बना हुआ है।

मोहम्मद हैदर ने बताया कि शुरूआत में एएसआई इस गेट को अपना नहीं मानता था लेकिन बाद में यह गेट में एएसआई में शामिल हो गया। एतिहासिक गेट के अंदर कई लोगों ने कब्जा जमा रखा है। इसमें शहर के एक नामी होटल ने गेट के नीचे अपना किचन बना रखा है। जहां पर दिन भर सिलेंडर पर दिन भर खाना पकता है। उन्होंने बताया कि मरम्मत न होने से और किचन की गर्मी की वजह से गेट पर खतरा मंडरा रहा था। इसे देखते हुए 100 से अधिक पत्र एएसआई, नगर निगम व एलडीए को लिखे गए हैं। इसके बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई। उन्होंने बताया कि होटल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।


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