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विकास के एजेंडे पर चर्चा : सीएम योगी आदित्यनाथ के कहा- विकास के हर काम को अंजाम तक पहुंचाएंगे

विधान भवन में बुधवार से शुरू इस विशेष सत्र में चर्चा के बीच में कई बार संख्या बल भले ही कम रहा लेकिन विधानसभा तथा विधान परिषद में चर्चा जारी है।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Thu, 03 Oct 2019 10:08 AM (IST)Updated: Thu, 03 Oct 2019 05:33 PM (IST)
विकास के एजेंडे पर चर्चा : सीएम योगी आदित्यनाथ के कहा- विकास के हर काम को अंजाम तक पहुंचाएंगे
विकास के एजेंडे पर चर्चा : सीएम योगी आदित्यनाथ के कहा- विकास के हर काम को अंजाम तक पहुंचाएंगे

लखनऊ, जेएनएन। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर आयोजित विधानमंडल के विशेष सत्र में गुरुवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधान परिषद को संबोधित किया। बुधवार को उन्होंने विधानसभा को संबोधित किया था। लगातार 36 घंटा के लिए निर्धारित इस विशेष सत्र को 48 घंटा करने की योजना है। 

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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी की सोच को सामने रखकर हमारी सरकार विकास के हर कार्य को अंजाम तक ले जाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। हमारी सरकार ने ढाई वर्ष के कार्यकाल में सूबे को प्रगति के मार्ग पर ले जाने बड़ा प्रयास किया है। किसी को भी विकास से वंचित नहीं किया जा सकता है। हमने विकास के 17 बिंदुओं के 169 लक्ष्य निर्धारित किए हैं। इसका लाभ सभी को मिलेगा। यह मेरा यह पराया है, ऐसी सोच छोटे चरित्र वाले लोग करते हैं, बड़े चरित्र वालों के लिए दुनिया परिवार है। पहले शासन की योजनाओं का लाभ आम व्यक्ति को नहीं मिलता था।

हमारी सरकार ने लोगों के जीवन स्तर को उठाने का काम किया है। पहले खाद्यान्न निकलता था लेकिन लाभार्थी तक नहीं पहुंचता था। अब 3.55 करोड़ परिवारों को गेंहू और चावल मिलना शुरू हुआ है। आज टेक्नोलॉजी से कोई खाद्यान्न की चोरी नहीं कर सकता है। हमारे इस तरह से खाद्यान्न की चोरी रोकने से सरकार की 700 करोड़ रुपए की बचत हुई है। हमारे पास आज इतना खाद्यान्न है कि हम तीन वर्ष तक जनता का पेट भर सकते हैं। 

सरकार गरीब तथा किसान को उसका लाभ लेने का संकल्प ले चुकी है। अब कोई भी लाभ लेने से वंचित नही रहेगा। सरकार किसानों को एमएसपी से ज्यादा दाम दे रही है। जहां 2016 में गेंहू का 900 से 1000 प्रति कुंतल था, आज 2019 में 1860 प्रति कुंतल का दाम किसान के खाते में भेजा गया है। मंडी समिति के अफसरों को मैंने सफाई का निर्देश दिया था, 1400 टन कूड़ा साफ हुआ। आज किसान से मंडियों में सीधे खरीद हो रही है। कही कोई मीडियेटर या दलाल नहीं है।

आज ब्लैक मार्केटिंग कहां चली गई, किसी को पता नहीं। आप लोगों को भी पता होगा कि 2014 से पहले क्या स्थिति थी। सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हमने किसानों के 74 हजार करोड़ रुपया का बकाया गन्ना का भुगतान कराया है। हमने बस्ती और पिपराइच में हमने नई चीनी मिलें लगाई हैं। हमसे पहले की सरकारों ने चीनी मिलें बेची थी, हमने नई शुरू की।

विधान परिषद में नेता सदन डॉ दिनेश शर्मा ने विशेष सत्र के दौरान दोनों सदनों का संयुक्त सम्मेलन बुलाए जाने का प्रस्ताव रखा।

सीएम योगी आदित्यनाथ देर रात दो बजे सदन से अपने सरकारी आवास गए। नौ दिन तक व्रत रहने वाले सीएम योगी आदित्यनाथ प्रात: 4:30 बजे से पूजा पर बैठ गए। इसके बाद आठ से दस बजे तक आवास पर लोगों से मिलने के बाद 11 बजे से फिर सदन में पहुंच गए। सीएम योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को विधानसभा को संबोधित किया था और आज उनका संबोधन विधान परिषद में था।

विधान भवन में बुधवार से शुरू इस विशेष सत्र में चर्चा के बीच में कई बार संख्या बल भले ही कम रहा, लेकिन विधानसभा तथा विधान परिषद में चर्चा जारी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ रात करीब 1:30 बजे सदन तथा दो बजे विधान भवन प्रांगण से बाहर निकले। सुबह नौ बजे तक विधान परिषद में राज्य मंत्री मोहसिन रजा तथा विधानसभा में कैबिनेट मंत्री चौधरी लक्ष्मी नारायण का भाषण जारी था। प्रदेश में विकास का सतत लक्ष्य पाने को लगातार विधानसभा व विधान परिषद का विशेष सत्र चल रहा है।

पशुधन मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी ने किसानों की आय बढ़ाने के पशुपालन ओर मत्स्य पालन को बढ़ावा देने की योजनाओं के बारे बताया। उन्होंने कहा कि जापान के सहयोग से बराक मछली का उत्पादन बढ़ाया जाएगा। इनसे पहले कैबिनेट मंत्री मोती सिंह ने अपने विचार रखे। अधिष्ठाता के तौर पर विधायक सुरेश श्रीवास्तव पीठ पर विराजमान हैं।

गांधी की राह पर चलकर गरीबी दूर कर रही सरकार : शाही

विधान सभा में कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि गांधी का मानना था कि गरीबी के चलते ही भुखमरी होती है। उन्होंने जीवन पर्यंत गरीबी उन्मूलन के लिए संघर्ष किया। मोदी और योगी की सरकार ने गांधी की राह पर चलते हुए गरीबी दूर करने का संकल्प लिया और प्रदेश में भूख की समस्या का अंत करने में उल्लेखनीय सफलता मिली है। शाही ने कहा कि अमेरिकी शोध संस्था ने यह आकलन किया है कि 2022 तक गरीबी घटकर तीन प्रतिशत हो जाएगी जबकि 2011 में यह 26 फीसद थी। संयुक्त राष्ट्रसंघ ने भारत में गरीबी उन्मूलन के प्रयासों की सराहना की है। पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री को याद करते हुए उन्होंने जय जवान-जय किसान का नारा दोहराया। कहा अटल जी ने इससे आगे जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान का नारा दिया और मोदी ने इसमें जय अनुसंधान जोड़ा। शाही ने आजादी के बाद देश की विकास यात्रा का जिक्र किया और दावा किया कि असली विकास 2014 के बाद से हुआ। कहा, प्रदेश में योगी सरकार बनने के बाद प्रति हेक्टेयर तीन क्विंटल उत्पादन बढ़ा है। पूर्ववर्ती सरकारों में भुखमरी और किसानों की आत्महत्या आम बात थी लेकिन योगी आदित्यनाथ के प्रयास से उप्र में आत्महत्याओं और भुखमरी पर अंकुश लगा है। शाही ने प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि समेत उपलब्धियों का आंकड़ा पेश किया। यूरिया के रॉ मैटेरियल पर 2018 में पांच प्रतिशत टैक्स समाप्त कर योगी आदित्यनाथ सरकार ने उत्पादन लागत घटाने की दिशा में कदम बढ़ाया। 336 रुपये खाद की बोरी 298 रुपये में मिलने लगी।

गांधी के हाथ में गीता व रामराज्य की परिकल्पना थी

राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार नीलकंठ तिवारी ने कहा कि वैदिक काल में यक्ष प्रश्नों के जरिये राज्य व्यवस्था के संचालन के जवाब तलाशे जाते थे। गांधी के हाथ में गीता की पुस्तक और रामराज्य की परिकल्पना थी। मोदी और योगी की सरकार इसी दिशा में आगे बढ़ी हैं। वर्ष 1947 में जब देश आजाद हुआ तो देश और युवाओं के अनुकूल परिकल्पना नहीं की गई। एक वर्ग विशेष को संतुष्ट करने के लिए अपनी संस्कृतियों की उपेक्षा की गई। अयोध्या को विवाद का स्थल मानकर विकास से वंचित कर दिया गया। 

गौ हत्या कम होने पर हुई अधिक बारिश

पशुधन राज्यमंत्री जयप्रकाश निषाद ने कहा कि जब से योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में भाजपा की सरकार बनी है, अवैध बूचडख़ानों पर अंकुश लग है। इसकी वजह से गोहत्या के मामले में भारी कमी आई है। यही वजह है कि इस बार जमकर बारिश भी हुई। उन्होंने विभाग की उपलब्धियों का भी जिक्र किया। निषाद ने कहा कि मछुआरों के हित में उनकी सरकार ने कई कदम उठाए हैं। मंत्री ने कहा कि भाजपा सरकार बकरी की प्रजनन क्षमता बढ़ाने पर काम कर रही है। उन्होंने बताया कि शुरुआत में बकरी चार से पांच बच्चे देती थी, लेकिन वर्तमान में बकरी एक से दो बच्चे ही देती है। हमारी सरकार इस पर काम करवा रही है कि बकरी फिर से चार से पांच बच्चे दे। मंत्री के इस बयान से सदन में खूब ठहाका लगा।

विशेष सत्र में विधान परिषद में सुबह 5 बजे 16 सदस्य मौजूद थे। इसमें कैबिनेट मंत्री जय प्रताप सिंह व महेंद्र सिंह के साथ भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष व परिषद सदस्य स्वतंत्र देव सिंह, राज्य मंत्री मोहिसन रजा, कैबिनेट मंत्री दारा सिंह चौहान, चेत नारायण सिंह, बुक्कल नवाब, चंद्रिका प्रसाद, अरुण पाठक, विजय बहादुर पाठक आदि शामिल रहे।

विधान सभा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ रात 1.30 बजे तक रहे। तब सदस्यों की संख्या लगभग सौ थी। मुख्यमंत्री के जाने के बाद दो बजे तक 75 से भी कम सदस्य रह गए। इनमें आठ महिलाएं रहीं। संसदीय कार्यमंत्री सुरेश खन्ना के साथ सहित गिनती के ही मंत्री सदन में मौजूद रहे। विधान परिषद में भी रात 12.30 बजे के आसपास तो 12 सदस्य ही बचे थे। रात दो बजे सदस्यों की संख्या 25 हुई। इसमे 9 मंत्री बाकी विधान परिषद 16 सदस्य थे। इसमे उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा, जय प्रताप सिंह, स्वामी प्रसाद मौर्य, राम नरेश अग्निहोत्री, कपिल देव अग्रवाल, संदीप सिंह आदि शामिल रहे। भाजपा अध्यक्ष और परिषद सदस्य स्वतंत्र देव सिंह भी देर रात ढाई बजे तक सदन में मौजूद रहे। मुख्यमंत्री रात लगभग सवा दो बजे विधानभवन से अपने आवास रवाना हो गए। तीन बजे के लगभग सदन में सदस्यों की संख्या 66 तक रह गई। साढ़े तीन बजे 54 सदस्य ही विधानसभा में रह गए।

विशेष सत्र में गैरहाजिर विपक्ष पर सीएम योगी आदित्यनाथ का तंज

सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर सतत विकास का लक्ष्य पाने के लिए आहूत विशेष सत्र में शामिल न होकर विपक्ष ने बापू का अपमान किया। विपक्ष का रवैया महाभारत के दुर्योधन की तरह है जिसकी धर्म के बजाए अधर्म की ओर जाने की प्रवृत्ति दिखती है। अपने करीब दो घंटे के संबोधन में मुख्यमंत्री ने संयुक्त राष्ट्र संघ के निर्धारित सतत विकास के 16 लक्ष्यों के प्रति प्रतिबद्धता जताते हुए केंद्र व प्रदेश सरकारों के इस दिशा में कार्य गिनाए। सत्र से गैरहाजिर सपा, बसपा और कांग्रेससदस्यों की निंदा करते हुए उन्होंने पूर्ववर्ती सरकारों को विकास विरोधी करार दिया। विशेष सत्र आहूत करने में सहमति जताने के बाद भी अनुपस्थित रहे विपक्ष से मुख्यमंत्री आहत दिखे। उन्होंने कहा कि चर्चा के लिए विपक्ष का नहीं आना गरीबों व किसानों का अपमान और सदन की अवमानना है। विकास पर मंथन विपक्ष को अच्छा नहीं लगा।

वंशवाद और जातिवाद की राजनीति करने वालों को वोट बैंक समाप्त होने का डर सताता है, जबकि इसी वर्ष लोकसभा के चुनाव में जनता ने बता दिया है कि अब जातियां सिर्फ वोट के लिए नहीं हैं। सभी विकास के साथ हैं, इस वजह से विपक्ष तिलमिलाया हुआ है। सच से मुंह मोडऩे वालों को जनता उचित समय पर सबक सिखा देगी। महात्मा गांधी के साथ पूर्व प्रधानमंत्री स्व. लालबहादुर शास्त्री का भी स्मरण करते हुए उन्होंने सतत विकास के 16 लक्ष्यों के बारे में विस्तार से बताया। कहा कि यूएनओ ने 2015 में लक्ष्य निर्धारित किए थे परंतु केंद्र में मोदी सरकार वर्ष 2014 से ही ज्यादातर पर गंभीरता से कार्य कर रही है। प्रदेश में भी 2017 में भाजपा सरकार बनने के बाद से लक्ष्य पूरे किए जा रहे हैैं। 


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