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लखीमपुर खीरी हिंसा में लखनऊ में एसआइटी को आरोपित अंकित दास के फ्लैट में मिली रिपीटर गन तथा रिवाल्वर

एसआइटी की टीम ने मोनू मिश्रा के साथी अंकित दास के लखनऊ के फ्लैट से रिपीटर गन तथा रिवाल्वर बरामद की। घटना के दिन अंकित दास तिकुनिया में फार्च्यूनर पलटने के बाद अपने गनर लतीफ के साथ रिपीटर गन व रिवाल्वर से फायर करते हुए घटना स्थल से भागे थे।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Fri, 15 Oct 2021 06:44 PM (IST)Updated: Sat, 16 Oct 2021 09:30 AM (IST)
लखीमपुर खीरी हिंसा में लखनऊ में एसआइटी को आरोपित अंकित दास के फ्लैट में मिली रिपीटर गन तथा रिवाल्वर
अंकित दास के लखनऊ के फ्लैट से रिपीटर गन तथा पिस्टल बरामद की

लखनऊ, जेएनएन। लखीमपुर खीरी में तीन अक्टूबर की हिंसा में चार किसान सहित आठ लोगों की मृत्यु के मामले में जांच कर रही एसआइटी ने मुख्य आरोपित मंत्री पुत्र आशीष मिश्रा मोनू के साथ ही उसके साथियों पर शिकंजा कस दिया है। गुरुवार को तिकुनिया में सीन रीक्रिएशन के बाद शुक्रवार को टीम ने बड़ी सफलता प्राप्त की है।

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खीरी कांड में आरोपित पूर्व केंद्रीय मंत्री अखिलेश दास के भतीजे अंकित दास और उनके सुरक्षा गार्ड लतीफ उर्फ काले को लेकर शुक्रवार दोपहर बाद करीब पौने चार बजे एसआइटी और लखीमपुर क्राइम ब्रांच हुसैनगंज क्ले स्क्वायर स्थित एमआइ अपार्टमेंट पहुंची। यहां ग्राउंड फ्लोर पर अंकित के फ्लैट में एसआटी करीब आधे घंटे रुकी। एसआइटी ने फ्लैट से अंकित की रिपीटर गन और रिवाल्वर बरामद कर ली।

रिवाल्वर और रिपीटर गन बरामदगी के बाद एसआइटी और क्राइम ब्रांच अंकित व लतीफ को लेकर गोमतीनगर फन माल के पास होटल सागर सोना पहुंची। यहां से एसआइटी ने होटल में लगी डीवीआर और फुटेज भी कब्जे में ले ली। बताया जा रहा है कि लखीमपुर कांड के दौरान अंकित और लतीफ काले रंग की फार्च्यूनर कार में थे। गिरफ्तारी के बाद अंकित ने एसआइटी की पूछताछ में बताया था कि भीड़ उन पर पथराव कर रही थी। पथराव के दौरान उनकी फाच्र्यूनर कार कुछ दूर आगे जाकर पलट गई। भीड़ उनकी तरफ दौड़ी तो यहां अंकित और लतीफ गाड़ी से निकलकर भागे। भीड़ का उग्र रूप देखकर उन्होंने असलहे से फायर की थी। वही असलहे अंकित ने घटना के बाद फ्लैट में छुपाकर रखे थे। लखनऊ आने के बाद अंकित होटल सागर सोना में रुका था।

गाड़ी में ही जल गए थे लाइसेंस : जानकारी के मुताबिक पूछताछ के दौरान अंकित ने एसआइटी को बताया था कि वारदात के बाद जब वे भागे तो भीड़ ने उनकी कार को जला दिया था। असलहों के लाइसेंस कार में ही रखे थे वे जल गए हैं। अब एसआइटी असलहों के लाइसेंस और अन्य दस्तावेज के बारे में भी पड़ताल कर रही है।

चार घंटे तक चार ठिकानों को खंगालती रही एसआइटी, जुटाए साक्ष्य : एसआइटी और क्राइम ब्रांच ने शुक्रवार को आरोपित अंकित दास और लतीफ को लेकर घटना से जुड़े साक्ष्यों के संकलन के लिए उनके चार ठिकानों को करीब चार घंटे तक खंगाला। टीम दोनों आरोपितों को पुलिस रिमांड पर लेकर दोपहर करीब 12 बजे लखीमपुर खीरी से लखनऊ के लिए रवाना हुई थी। यहां पौने चार बजे क्ले स्क्वायर स्थित फ्लैट पहुंची। फ्लैट में अंकित और लतीफ से कई बिंदुओं पर बात भी की। इसके बाद दोनों को होटल ले गई। टीम में एसआइटी के अधिकारी, दो इंस्पेक्टर और अन्य पुलिस कर्मी थे।

वारदात के बाद अंकित भागा था नेपाल : एसआइटी की पूछताछ में अंकित ने बताया कि घटना के बाद वह भागकर लखनऊ बाबू बनारसी दास नगर में अपने घर गया। यहां से फ्लैट पर जाकर असलहे छुपाए और फिर एक रात होटल में रुका। होटल से वह सीधा नेपाल भाग गया था। जब उसने आशीष की गिरफ्तारी की बात न्यूज चैनल पर देखी तो आत्मसमर्पण के लिए संपर्क करने लगा। इस बीच एसआइटी ने उसके घर पर नोटिस भी चस्पा कर दी। एसआइटी की नोटिस की जानकारी होने के बाद उसने समर्पण कर दिया था। बीते तीन अक्टूबर को हुए खीरी कांड में एसआइटी अबतक आशीष मिश्रा समेत छह लोगों को गिरफ्तार किया है। मामले में अन्य आरोपितों की तलाश के लिए पुलिस की टीमें दबिश दे रही हैं।


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