एक कॉल से बदली एक्ट्रेस यामी गौतम की लाइफ, शेयर किए पर्सनल किस्से
लखनऊ पहुंची अभिनेत्री यामी गौतम व अभिनेता विक्की कौशल ने साझा किए अपने अनुभव।
लखनऊ, जेएनएन। विक्की डोनर, बदलापुर, एक्शन जैक्सन, सनम रे, काबिल जैसी फिल्मों में शानदार अभिनय करने वाली अभिनेत्री यामी गौतम ने अपनी मेहनत और संघर्ष के बाद इंडस्ट्री में खास मुकाम हासिल किया है। सोमवार को राजधानी पहुंची यामी ने धारावाहिक चांद के पार चलो से लेकर फिल्म उरी तक के सफर के बारे में बातचीत की। इस दौरान उनके साथ अभिनेता विक्की कौशल भी मौजूद रहे।
ऐसे मिला अभिनय में मौका
स्कूल कॉलेज में टॉप स्टूडेंट में शुमार यामी ने बताया कि उन्होंने कभी सोचा नहीं था कि फिल्मों में अभिनय करेंगी। एक बार फैमिली फ्रेंड चंडीगढ़ स्थित मेरे घर आए, उन्होंने मुझसे मुंबई आकर अभिनय करने की बात कही। मैंने हंस के टाल दिया, लेकिन वो जाते समय मेरी कई फोटोग्राफ ले गए। उन्होंने प्रोडक्शन हाउस में दिया। फिर वहां से कॉल एक आई और मुझसे वीडियों मांगा गया। जिसके बाद मुझे पहला धारावाहिक 'चांद के पार चलो' मिला।
छोटा या बड़ा हर काम ईमानदारी और गंभीरता से किया
यामी ने बताया कि शुरुआत से ही मुझे काम को गंभीरता से लेने की आदत है। इसी वजह से किरदार छोटा हो या बड़ा हर किरदार को पूरी ईमानदारी से किया। यही वजह है कि अलग-अलग भाषाओं में भी फिल्म करने का अवसर मिला।
मी टू के माध्यम से बदलाव आया है
मी टू कैंपेन का यामी गौतम ने खुलकर समर्थन किया है। उन्होंने बताया कि मी टू से महिलाओं को ताकत मिली है। अब हर क्षेत्र में महिलाओं के प्रति पुरुषों के व्यवहार और उनकी मानसिकता में बदलाव आया है।
अभिनय के लिए रियाज की तरह है थियेटर : विक्की
फिल्म गैंग्स ऑफ वासेपुर में पर्दे के पीछे काम करने वाले विक्की कौशल ने अपने अभिनय को मजबूत करने के लिए थियेटर का दामन थामा और उन्हें इसका पूरा लाभ मिला। उन्होंने अपनी पहली फिल्म से ही यह साबित कर दिया कि वह लंबी रेस के घोड़े हैं। थियेटर को अभिनय का रियाज मानने वाले विक्की को फिल्म 'लव शव ते चिकन खुराना', 'बॉम्बे वेलवेट', 'मसान', 'जबान', 'रमन राघव' व 'राजी' जैसी फिल्मों के बाद संजय दत्त के साथ उनकी फिल्म 'संजू' ने खूब सफलता दिलाई। उन्होंने बताया कि इंजीनियरिंग की पढ़ाई के दौरान कैसे वह फिल्म इंडस्ट्री के पहुंचे और अपनी मेहनत बदौलत के आज हर बड़े निर्देशक के साथ काम करने मौका मिला।