Move to Jagran APP

पर्यावरण संरक्षण: सीजी सिटी में ट्रीटमेंट प्लांट से निकलने वाले पानी से हो सकेगी सिंचाई

लखनऊ विकास प्राधिकरण पिछले कई सालों से कर रहा था एसटीपी पर काम। 4.77 एकड़ में तैयार करवा रहा है एसटीपी। 72 करोड़ की लागत से सेक्टर सात में किया गया है तैयार। पानी को इस्तेमाल करने की रूपरेखा भी तैयार।

By Divyansh RastogiEdited By: Published: Wed, 05 May 2021 12:36 PM (IST)Updated: Wed, 05 May 2021 12:36 PM (IST)
पर्यावरण संरक्षण: सीजी सिटी में ट्रीटमेंट प्लांट से निकलने वाले पानी से हो सकेगी सिंचाई
लखनऊ विकास प्राधिकरण पिछले कई सालों से कर रहा था एसटीपी पर काम।

लखनऊ, जेएनएन। सालों से लखनऊ विकास प्राधिकरण सीजी सिटी यानी चक गजरिया में 19 एमएलडी (मिलियन लीटर प्रति दिन) एसटीपी बनाने का काम चल रहा था। यह करीब करीब पूरा हो गया है। इसका लाभ इस 846 एकड़ में रहने वाले लोगों को मिलेगा। लखनऊ विकास प्राधिकरण लविप्रा ने करीब छह साल पहले आइटी सिटी, भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान, आधुनिक दुग्ध् प्रसंस्करण प्लांट, उत्त प्रदेश प्रशासनिक अकादमी, अस्पताल, सीएसआई टॉवर, संस्कृति स्कूल, ईडब्ल्यूएस व एलआइजी फ्लैट, कैंसर अस्पताल का खाका तैयार किया था। उक्त स्थानों से निकलने वाले गंदे पानी को साफ किया जाएगा और फिर दोबारा उपयोग में भी लाया जा सकेगा। यहां बने पार्क व फैक्ट्रियों में पानी को इस्तेमाल करने की रूपरेखा भी तैयार की जा रही है। फिलहाल पानी से सिंचाई व पार्कों का रखरखाव करने की योजना है। 

loksabha election banner

लविप्रा अफसरों ने बताया कि कुछ कारणों से सीएम द्वारा इसका लोकार्पण नहीं किया जा सका था, स्थितियां ठीक होते ही इसका लोकार्पण सीएम द्वारा किया जाएगा। यह एसटीपी करीब 4.77 एकड़ क्षेत्रफल में बना है। भविष्य में इसकी क्षमता बढ़ाई जा सके, उस पर भी लविप्रा फोकस किए हुए है। यहां वाणिजयक भूखंड के साथ ही आइएएस अफसरों की कालोनी बनाने का काम भी तेजी से चल रहा है। प्राधिकरण सुविधाओं के मामले में कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाहता। डीएम व लविप्रा उपाध्यक्ष अभिषेक प्रकाश के मुताबिक सीजी सिटी में एसटीपी का काम करीब-करीब पूरा हो चुका है। टेस्टिंग की जा रही है। 

एसटीपी पर करीब 67.46 करोड़ की लागत का खर्च आ रहा है, वहीं 4.76 करोड़ से पांच एमएलडी रॉ सीवेज सम्पवेल बनाया जाएगा। अफसरों के मुताबिक प्लांट का काम पूरा कर लिया गया है। सीवर न होने के कारण संचालित अभी नहीं है। यही नहीं एसटीपी प्लॉट का निरीक्षण राष्ट्रीय हरित अधिकरण द्वारा गठित उत्तर प्रदेश सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट कमेटी के अध्यक्ष द्वारा निरीक्षण भी किया जा चुका है। उधर जो आदेश दिए गए थे उसकी कमिशनिंग भी प्राधिकरण करवा चुका है। अब लविप्रा एसटीपी का आंतरिक विकास कराने के साथ ही सेक्टर सात में पांच एमएलडी रॉ सीवेज सम्पवेल का काम तेजी से करवा रहा है। अफसरों के मुताबिक कोरोना काल के बाद स्थिति बेहतर होते ही रुके हुए छोटे मोटे काम भी हो सकेंगे। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.