सीतापुर में उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा बोले, भाजपा विकास की राजनीति करती है तो अन्य दल परिवार की सियासत
डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि सीतापुर और नैमिषारण्य का महत्वपूर्ण पूरे विश्व में है। लखनऊ नजदीक होने के कारण भी इसकी महत्ता बढ़ती है। प्रदेश में विकास की अवधारणाएं तेजी से लागू हुईं हैं।
सीतापुर, जागरण संवाददाता। डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि सीतापुर और नैमिषारण्य का महत्वपूर्ण पूरे विश्व में है। लखनऊ नजदीक होने के कारण भी इसकी महत्ता बढ़ती है। प्रदेश में विकास की अवधारणाएं तेजी से लागू हुईं हैं। गांवों को भी 18 घंटे और शहरों में 24 घंटे बिजली मिल रही है। उन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में बढ़ते उप्र की सफलता को भी बताया। कहा कि 250 माध्यमिक और 77 डिग्री कालेज बन चुके हैं। 12 विश्वविद्यालयों पर काम शुरू हुआ है। मेट्रो चल रही है। पूरे प्रदेश में विकास की गंगा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में बह रही है। आने वाले चुनाव के लिए विपक्ष के पास कोई मुद्दा नहीं है।
भाजपा विकास के लिए काम करती है तो अन्य दल परिवारवाद, क्षेत्रवाद, संप्रदायवाद और जातिवाद की राजनीति कर रहे हैं। वे इन्हीं को आधार बनाकर चुनाव बदलने की कल्पना कर रहे हैं। उन्हें ये नहीं मालूम कि यह बदला हुआ उत्तर प्रदेश और बदला हुआ भारत है। मोदी-योगी का समन्वय इसकी खासियत है। उन्होंने कहा कि उप्र में भाजपा की सरकार से पहले बेरोजगारी दर 17.4 प्रतिशत थी। आज यह घटकर 4.1 रह गई है। उन्होंने कहा जब हम सत्ता में आए थे तो उप्र की अर्थव्यवस्था 11 लाख करोड़ की थी। अब यह बढ़कर 22 लाख करोड़ है। उन्होंने कहा कि भाजपा की संकल्पना उत्तर प्रदेश को मजबूत बनाने की है। उप्र को मजबूत बनाने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का अभूतपूर्व योगदान रहा है।
किसानों की बेहतरी के लिए लाए थे कृषि कानून: कृषि कानून वापस लेने के सवाल पर उप मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों के हित और विकास के लिए सरकार और दृढ़ता के साथ काम करेगी। उन्होंने कहा कि सरकार की नीति और नीयत नहीं बदली है, वह किसानों की आमदनी को दोगुना करने का संकल्प अब और तेजी से बढ़ाने की कोशिश करेगी। कहा सरकार किसानों की बेहतरी के लिए कृषि कानून लाई थी। भारत में किसानों का बहुत बड़ा वर्ग, इसके समर्थन में है। उन्होंने कहा कि कुछ लोग समर्थन में नहीं थे। इसी भावना को ध्यान में रखते हुए कानून वापस लिया है। उन्होंने कहा कि चुनाव में विपक्षी दलों की एक-दूसरे से लड़ाई है, भाजपा का मुकाबला किसी से नहीं है।