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Advocate Murder case: बरेली समेत कई जिलों में दबिश, DGP से बात कर रक्षामंत्री ने दिए परिवार की सुरक्षा के निर्देश

लखनऊ में सात जनवरी को अधिवक्ता शिशिर त्रिपाठी की हुई थी हत्‍या। फरार आरोपितों को दबोचने के लिए चार टीमें गठित की गई हैं। एक टीम बरेली दूसरी बाराबंकी और तीसरी राजधानी में आरोपितों के संभावित ठिकानों पर दबिश दे रही।

By Divyansh RastogiEdited By: Published: Fri, 10 Jan 2020 02:03 PM (IST)Updated: Fri, 10 Jan 2020 02:19 PM (IST)
Advocate Murder case: बरेली समेत कई जिलों में दबिश, DGP से बात कर रक्षामंत्री ने दिए परिवार की सुरक्षा के निर्देश
Advocate Murder case: बरेली समेत कई जिलों में दबिश, DGP से बात कर रक्षामंत्री ने दिए परिवार की सुरक्षा के निर्देश

लखनऊ, जेएनएन। Lucknow Advocate Shishir Tripathi Murder case : राजधानी के चर्चित कृष्णानगर में अधिवक्ता शिशिर त्रिपाठी की हत्या के मामले में फरार आरोपितों को दबोचने के लिए चार टीमें गठित की गई हैं। सीओ कृष्णानगर अमित कुमार राय के मुताबिक, पुलिस की एक टीम बरेली, दूसरी बाराबंकी और तीसरी राजधानी में आरोपितों के संभावित ठिकानों पर दबिश दे रही हैं। एक टीम साक्ष्य संकलन के लिए लगाई गई है। जल्द ही आरोपितों को दबोच लिया जाएगा।

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वहीं, लखनऊ से सांसद और रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने मामले में यूपी डीजीपी ओपी सिंह से बात कर शिशिर परिवार की सुरक्षा और शस्त्र लाइसेंस जारी करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही भाजपा के महानगर अध्यक्ष मुकेश शर्मा व युवा नेता नीरज सिंह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात कर शिशिर के परिवार की मुआवजा राशि बढ़ाने का आग्रह किया।

यूपी में तत्काल लागू किया जाए एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट : यूपी बार काउंसिल अध्यक्ष 

वहीं, शिशिर हत्‍याकांड मामले को लेकर शुक्रवार को भी वकीलों में जबरदस्त आक्रोश दिखाई दिया। यूपी प्रेस क्लब में आयोजित वार्ता में यूपी बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष हरिशंकर सिंह ने कहा कि पिछले कुछ महीनों में कई वकीलों की नृशंस हत्या की गई है और पुलिस प्रशासन की ओर से कोई प्रभावी कार्रवाई नहीं हो रही। राज्य सरकार तत्काल अधिवक्ताओं की सुरक्षा के लिए एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू करें। अधिवक्ताओं के लंबित शस्‍त्र लाइसेंस तत्काल जारी किए जाएं। उन्होंने राज्य सरकार पर वकीलों की उपेक्षा करने का आरोप लगाया है। हरिशंकर सिंह ने कहा कि 70 वर्ष की आयु तक के अधिवक्ताओं की मृत्यु होने पर उनकी विधवाओं को 5 लाख रुपए की सहायता राशि दी जाती है, लेकिन पिछले 2 वर्षों से राज्य सरकार ने इस कल्याण निधि के तहत रकम जारी नहीं की, ऐसे में मृतक वकीलों की विधवाओं के करीब 500 आवेदन लंबित हैं। राज्य सरकार तत्काल पिछले 2 वर्षों का बकाया 80 करोड़ रूपया भी जारी करें।

वहीं, मृतक शिशिर त्रिपाठी के परिवार को 50 लाख रुपए सहायता राशि देने की मांग भी की गई। उन्‍होंने कहा कि न्यायालयों की सुरक्षा व्यवस्था भी हाशिए पर है। शनिवार (11 जनवरी) को बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश की कार्यकारिणी की आपात बैठक बुलाई गई है, अगर सरकार ने हमारी मांगे नहीं मानी तो वकील सड़क पर उतर कर धरना प्रदर्शन और चक्काजाम करेंगे।

राजनाथ सिंह ने डीजीपी से की बात, सुरक्षा देने के निर्देश

लखनऊ से सांसद और रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने शिशिर त्रिपाठी हत्याकांड के संबंध में डीजीपी ओपी सिंह से बात कर मामले की जानकारी ली। उन्होंने शिशिर के परिवार की सुरक्षा और शस्त्र लाइसेंस जारी करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही भाजपा के महानगर अध्यक्ष मुकेश शर्मा व युवा नेता नीरज सिंह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात कर शिशिर के परिवार की मुआवजा राशि बढ़ाने का आग्रह किया।

कब्जे में लिया डीवीआर

पुलिस ने घटना स्थल के आसपास लगे दो सीसी फुटेज खंगाले हैं। पुलिस ने दोनों कैमरों की डीवीआर कब्जे में ले ली है। पुलिस फुटेज के जरिए हत्याकांड में शामिल अन्य लोगों के बारे में जानकारी जुटा रही है। नामजद आरोपितों के अलावा किसी अन्य का नाम सामने नहीं आया है। गुरुवार को पुलिस ने पूछताछ के लिए एक युवक को हिरासत में लिया था, जिसे बाद में छोड़ दिया गया।

हत्या के विरोध में वकील न्यायिक कार्यो से रहे विरत

राजधानी और प्रयागराज में पिछले दिनों अधिवक्ताओं की हुईं हत्याओं के विरोध में लखनऊ बार एसोसिएशन के बैनर तले वकील गुरुवार को न्यायिक कार्यो से विरत रहे। गुरुवार को कलेक्ट्रेट परिसर स्थित एसोसिएशन कार्यालय में हुई बैठक में नामजद अभियुक्तों की जल्द गिरफ्तारी की मांग की गई। साथ ही अभिवक्ताओं के पीड़ित परिवारजनों को 20-20 लाख रुपये की मदद करने की मांग की। बैठक में अध्यक्ष जीएन शुक्ल चच्चू, महामंत्री जितेंद्र सिंह यादव जीतू, अजीत कुमार दीक्षित, आदेश, संगीत, ज्योतींद्र, संजीव कुमार, राममिलन, आदर्श, संजय, कमल किशोर, इंदरपाल, अभिषेक, अंबरीश,शशिमोहन पांडेय आदि मौजूद रहे।

ये है मामला

कृष्णानगर के स्नेहनगर निवासी अधिवक्ता शिशिर त्रिपाठी (32) की मंगलवार देर रात पिटाई के बाद धारदार हथियार से हमला कर मौत के घाट उतार दिया गया था। शिशिर पर आरोपितों ने गांजा तस्करी और वसूली का विरोध करने पर हमला बोला था। हत्याकांड के विरोध में बुधवार को वकीलों ने कलेक्ट्रेट में शव रखकर जमकर हंगामा किया था। इस मामले में पुलिस ने दो नामजद आरोपितों को गिरफ्तार किया है, जबकि अन्य की तलाश जारी है।


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