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लखनऊ के ऐशबाग की झीलों को लेकर रक्षामंत्री सख्त, कहा- विभाग सुधारें दशा

लखनऊ ऐशबाग की जमुना और मोती दोनों झीलों को लेकर पूर्व पार्षद की शिकायत के बाद राजनाथ सिंह ने नगर निगम और एलडीए को लिखा पत्र। पूरी योजना तैयार कर के झीलों का जीर्णोद्धार करें दोनों विभाग लोग चला रहे हैं अभियान।

By Divyansh RastogiEdited By: Published: Sun, 20 Dec 2020 12:43 PM (IST)Updated: Sun, 20 Dec 2020 12:43 PM (IST)
लखनऊ के ऐशबाग की झीलों को लेकर रक्षामंत्री सख्त, कहा- विभाग सुधारें दशा
लखनऊ: पूर्व पार्षद की शिकायत के बाद राजनाथ सिंह ने नगर निगम और एलडीए को लिखा पत्र।

लखनऊ, जेएनएन। राजधानी स्थित ऐशबाग की जमुना और मोती दोनों झीलों को लेकर रक्षामंत्री सख्त हैं। उन्होंने स्थानीय लोगों के पत्र के आधार पर अब संबंधित विभागों को पत्र लिखा है और कहा है कि वे इस संबंध में पूरी योजना तैयार कर के झीलों का जीर्णोद्धार करें। इनको गंदगी और अतिक्रमण से मुक्त करवाएं। ताकि इनको विकसित किया जा सके। स्थानीय लोग पिछले करीब दो महीने से झीलों को बचाने के लिए आंदोलन कर रहे हैं। जिसके बाद में अब उच्च स्तर तक इस मामले का संज्ञान लिया जा रहा है।

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दरअसल, जमुना झील और मोतीझील को बचाने को लेकर दैनिक जागरण ने लंबे समय तक अभियान चलाया था। जिसके बाद में स्थानीय लोग भी इस अभियान में कूद पड़े थे। जिसके बाद में अब झीलों के बुरे हाल को लेकर शिकायत केंद्रीय रक्षामंत्री लखनऊ के सांसद राजनाथ सिंह से पूर्व पार्षद गणेश कन्नौजिया से की। जिसके बाद में रक्षा मंत्री के विशेष कार्याधिकारी केपी सिंह ने इस संबंध में नगर आयुक्त और उपाध्यक्ष लविप्रा को पत्र लिख कर झीलों की सफाई करवाने, अतिक्रमण हटवाने और अवैध निर्माण के खिलाफ कार्रवाई करने को लेकर कहा है। जिसकी रिपोर्ट रक्षामंत्री को दी जाएगी। जिसके बाद में उम्मीद की जा रही है कि इन झीलों के स्वरूप में बदलाव आ जाएगा।

इन दिनों झील में प्रत्येक शनिवार और रविवार को श्रमदान का अभियान चला कर स्थानीय लोग अपने स्तर से सफाई करवा रहे हैं। जिससे दोनों झीलों की पानी की शुद्धता भी बढ़ गई है। इलाकाई लोगों को उम्मीद है कि सरकारी स्तर से जब झीलों का सौंदर्यीकरण का अभियान शुरू किया जाएगा। तब जाकर वास्तविकता में बदलाव आएगा।


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