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सीएम योगी आदित्यनाथ का निर्देश सेना के प्रस्तावों में न हो जरा भी विलंब

सेना के प्रस्ताव में विलंब होने पर उन्होंने नाराजगी भी व्यक्त की। उन्होंने इस मामले में एक हफ्ता में जिम्मेदार से जवाब मांगा है।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Fri, 28 Jun 2019 04:40 PM (IST)Updated: Fri, 28 Jun 2019 04:40 PM (IST)
सीएम योगी आदित्यनाथ का निर्देश सेना के प्रस्तावों में न हो जरा भी विलंब
सीएम योगी आदित्यनाथ का निर्देश सेना के प्रस्तावों में न हो जरा भी विलंब

लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश सरकार सैनिक तथा सेना को लेकर बेहद गंभीर है। लखनऊ में आज अपने कार्यालय लोकभवन में सीएम योगी आदित्यनाथ ने सिविल सैन्य संपर्क सम्मेलन की अध्यक्षता की। इसके बाद उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि सेना तथा सैनिकों के किसी भी प्रस्ताव में जरा भी विलंब बर्दाश्त नहीं है।

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सेना के प्रस्ताव में विलंब होने पर उन्होंने नाराजगी भी व्यक्त की। उन्होंने इस मामले में एक हफ्ता में जिम्मेदार से जवाब मांगा है। इसके साथ ही उन्होंने निर्देश दिया कि मेडिकल कॉलेज में नौकरी को लेकर भूतपूर्व सैनिकों को प्राथमिकता मिले। सीएम ने कहा कि 15 अगस्त को पौधरोपण में भी सेना की सहभागिता होगी। सेना तीन लाख पौधा लगाएगी।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज लोकभवन में आयोजित सिविल सैन्य संपर्क सम्मेलन की अध्यक्षता की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने कई अहम बिंदुओं पर चर्चा की। उन्होंने कहा समस्याओं का समाधान समयबद्ध ढंग से किया जाना चाहिए। समस्याओं के लंबित रहने से संबंधित परियोजनाओं की लागत बढ़ जाती है। मुख्यमंत्री ने सिविल और सैन्य अधिकारियों से वार्ता कर विभिन्न मुद्दों पर सहमति बनाने का प्रयास किया।

मुख्यमंत्री ने सहारनपुर में आसन फील्ड फायरिंग में 30 वर्ष के लिए फायरिंग की अनुमति का प्रस्ताव राज्य सरकार द्वारा एक महीने के अंदर केंद्र सरकार को प्रेषित करने को लेकर निर्देश दिया। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की तरफ से देरी होने को लेकर नाराजगी जाहिर की। उन्होंने मुख्य सचिव को निर्देश दिया कि वो अधिकारियों की एक सप्ताह के अंदर जवाबदेही तय करें।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्व विभाग आवश्यकतानुसार भूमि सेना को जल्द से जल्द हस्तांतरित किया जाए। यही नहीं मुख्यमंत्री ने जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल से कैंट क्षेत्र में फैली गंदगी और सफाई को लेकर कहा कि कैंट में साफ- सफाई को लेकर काम किया जाना चाहिए। भूतपूर्व सैनिकों को समेकित सुविधाओं के लिए भूमि उपलब्ध कराये जाने को लेकर भी मुख्यमंत्री ने दिशा निर्देश दिए। जिन जिलों में भूतपूर्व सैनिकों की चिकित्सा सुविधा के लेकर ईसीएचएस पाली क्लीनिक का निर्माण होना है उसको लेकर भी सेना को जल्द ही भूमि उपलब्ध कराए जाने के मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया।

मुख्यमंत्री ने राज्य सरकार की सेवाओं में भूतपूर्व सैनिकों को समूह-ग के पदों पर अनुमन्य पांच प्रतिशत आरक्षण का प्रस्ताव रखा। उन्होंने कहा कि भूतपूर्व सैनिकों को हम प्रदेश के मेडिकल कॉलेज आदि जगहों पर फैकल्टी के तौर पर उन्हें रखा जा सकता है। मुख्यमंत्री ने हमले में मृतक आश्रितों को राज्य सरकार की सेवाओं में डेथ इन हार्नेस स्कीम के अंतर्गत सेवायोजित करने को लेकर भी निर्देश जारी किए। उन्होंने अधिकारियों से जानकारी लेते प्रस्ताव भेजने में हो रही देरी को लेकर भी नाराजगी जाहिर की। इसके अलावा वायु सेना स्टेशन बक्शी का तालाब की भूमि का नामांतरण करने को लेकर अधिकारियों को निर्देशित किया। वायु सेना स्टेशन मेमौरा का राजस्व अभिलेखों में नांमांतरण को लेकर भी निर्देश दिया। इसके साथ ही लखनऊ के गोमती नगर में जमीन के कब्जे को लेकर राज्य सरकार और सेना के बीच हाईकोर्ट में चल रहे विवाद को लेकर सरकार के तरफ से भेजे जाने वाले प्रस्ताव को जल्द भेजने का भी निर्देश दिया।

पौधरोपण में सेना की सहभागिता

सेना की 15 अगस्त को प्रदेश में होने जा रहे पौधरोपण कार्यक्रम में भी सहभागिता होगी। जिसके तहत लखनऊ में सेना तीन लाख पौधे लगाएगी। ये पौधे वन विभाग सेना को मुहैया कराएगा। सम्मेलन में जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल परवेश पुरी, मुख्य सचिव अनूप चंद्र पाण्डेय तथा सेना व शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे। 


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