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सीएम योगी आदित्यनाथ की विधायकों को नसीहत, जनता से सिर्फ वर्चुअली जुड़ेंगे तो नतीजे होंगे खतरनाक

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि निर्वाचित जनप्रतिनिधि के रूप में हमारा पहला दायित्व फील्ड में जाकर जनता से संवाद करना है। यदि हम जनता से सिर्फ वर्चुअली जुड़ते रहेंगे तो जनता कहेगी कि चुनाव में हमसे वोट भी वर्चुअली ले लेना।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Fri, 20 May 2022 08:56 PM (IST)Updated: Fri, 20 May 2022 08:56 PM (IST)
सीएम योगी आदित्यनाथ की विधायकों को नसीहत, जनता से सिर्फ वर्चुअली जुड़ेंगे तो नतीजे होंगे खतरनाक
यूपी विधानसभा के प्रबोधन कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की नसीहत।

लखनऊ [राज्य ब्यूरो]। उत्तर प्रदेश विधानमंडल के बजट सत्र से विधानसभा में लागू किये जा रहे ई-विधान के दृष्टिगत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सरकार के सभी मंत्रियों और विधायकों से पूरे मनोयोग से इसका प्रशिक्षण प्राप्त करने का अनुरोध किया है। विधान सभा सदस्यों से उन्होंने तकनीक से भागने नहीं बल्कि उसे अंगीकार करने का आग्रह किया है।

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सीएम योगी उन्हें सचेत भी किया है कि हम तकनीक को अपनायें जरूर लेकिन उसका पिछलग्गू नहीं बने। उन्होंने कहा कि निर्वाचित जनप्रतिनिधि के रूप में हमारा पहला दायित्व फील्ड में जाकर जनता से संवाद करना है। यदि हम जनता से सिर्फ वर्चुअली जुड़ते रहेंगे तो जनता कहेगी कि चुनाव में हमसे वोट भी वर्चुअली ले लेना।

विधान सभा सदस्यों के लिए शुक्रवार से शुरू हुए प्रबोधन कार्यक्रम के उद्घाटन और ई-विधान के शुभारंभ के अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पिछले पांच वर्षों में राज्य सरकार ने तकनीक के इस्तेमाल से समाज के अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति को सरकारी योजनाओं का लाभ पहुंचाने पर जोर दिया है। लाभार्थियों के खाते में डीबीटी के जरिये सीधे धनराशि भेजने के उत्साहवर्धक नतीजे सामने आए हैं।

उम्मीद जतायी कि ई-विधान के माध्यम से विधान सभा की कार्यवाही को सकारात्मक तरीके से आगे बढ़ाकर प्रदेश की 25 करोड़ जनता के हितों का संवर्धन किया जा सकेगा। योगी ने कहा कि विपक्ष के सवाल आलोचनात्मक होते हैं लेकिन यदि वह तथ्यपरक आलोचना है तो इससे सरकार को अपना कामकाज सुधारने और जनसमस्याओं के निराकरण में मदद मिलती है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि दो वर्ष पहले पेपरलेस बजट प्रस्तुत करते समय विधान सभा के कुछ सदस्यों की पीड़ा उन्होंने देखी थी कि 'एक देश-एक विधायी प्लेटफार्म' का प्रधानमंत्री का विजन आगे बढ़ेगा या नहीं। उप्र में आज वह सपना साकार हो गया है। ई-विधान लागू होने के बाद हम चरणबद्ध तरीके से विधान सभा की कार्यवाही को कागजरहित बनाएंगे। बजट सत्र में सदस्यों को भले ही हार्डकापी उपलब्ध कराई जाए लेकिन प्रयास होगा कि अगले सत्र से सदन की कार्यवाही पूरी तरह कागजरहित हो जाए।

अब विधायकों को मोटा बैग लाने की जरूरत नहीं : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि ई-विधान लागू होने पर विधान सभा की कार्यवाही के संचालन में सदस्यों की मेज पर लगे टैबलेट की महत्वपूर्ण भूमिका होगी। अब सदस्यों को मोटा बैग लेकर आने की जरूरत नहीं होगी। उन्होंने कहा कि कई बार विधायकों की सुरक्षाकर्मियों से बकझक होती थी कि उनके सहायक को बैग लेकर विधान सभा मंडप में दाखिल होने दिया जाए। अब इसकी नौबत नहीं आएगी।


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