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पीसीएस परीक्षा 2018 के बदले पाठ्यक्रम की सही जानकारी न मिलने से दुविधा में अभ्यर्थी

तैयारी कैसे करें, प्रश्न पत्र किस तरह से आएंगे और उनमें उत्तर देने की शब्द सीमा क्या होगी? इसकी जानकारी न होने से परीक्षा में फिर विवाद होने की आशंका है, प्रतियोगी ऊहापोह में हैं।

By Ashish MishraEdited By: Published: Thu, 05 Jul 2018 12:03 PM (IST)Updated: Fri, 06 Jul 2018 08:20 AM (IST)
पीसीएस परीक्षा 2018 के बदले पाठ्यक्रम की सही जानकारी न मिलने से दुविधा में अभ्यर्थी
पीसीएस परीक्षा 2018 के बदले पाठ्यक्रम की सही जानकारी न मिलने से दुविधा में अभ्यर्थी

इलाहाबाद (जेएनएन)। पीसीएस परीक्षा 2018 के पाठ्यक्रम में बदलाव कर और इसके स्वरूप की अब तक जानकारी न देकर यूपी पीएससी ने प्रतियोगियों को दुविधा में डाल दिया है। इस परीक्षा में शामिल होने के लिए ऑनलाइन आवेदन छह जुलाई से शुरू हो जाएंगे। जबकि तैयारी कैसे करें, प्रश्न पत्र किस तरह से आएंगे और उनमें उत्तर देने की शब्द सीमा क्या होगी? इसकी जानकारी न होने से परीक्षा में फिर विवाद होने की आशंका है, प्रतियोगी ऊहापोह में हैं।

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उप्र लोकसेवा आयोग (यूपी पीएससी) ने पीसीएस परीक्षा 2018 से यूपीएससी का पैटर्न अपना लिया है। परीक्षा प्रक्रिया में कई बदलाव किए हैं, साथ ही पाठ्यक्रम में भी फेरबदल हुआ है। आयोग के इस पाठ््यक्रम को शासन से मंजूरी भी मिल चुकी है। आयोग ने पाठ्यक्रम में बदलाव काफी पहले किए लेकिन, प्रतियोगियों के बीच उसका प्रचार प्रसार नहीं किया। हालांकि प्रश्नपत्रों के अधिकतम अंक, लघु उत्तरीय-दीर्घ उत्तरीय प्रश्न, साक्षात्कार के अंक समेत यह बता दिया गया है कि विषय के चयन में बदलाव क्या हुए हैं। जबकि सिविल सर्विस की लगातार परीक्षा देने वाले प्रतियोगियों के अनुसार यूपीएससी ने 2011 में पाठ््यक्रम में बदलाव किया था जिसके मॉडल पेपर को वेबसाइट पर अपलोड कर उसके स्वरूप की जानकारी दी थी। इससे परीक्षा में शामिल होने वाले मानसिक रूप से तैयार हो गए थे और उन्हें बदले पाठ्यक्रम के अनुरूप परीक्षा देने में समस्या नहीं हुई।

यूपी पीएससी ने यही प्रक्रिया नहीं अपनाई जिससे परीक्षा में किसी नए विवाद की आशंका है। इस संबंध में यूपी पीएससी के सचिव जगदीश का कहना है कि प्रारंभिक परीक्षा में कोई बदलाव नहीं हुआ है। मेंस में आंशिक बदलाव किए गए हैं जिसकी जानकारी छह जुलाई को वेबसाइट पर ऑनलाइन आवेदन लेने की शुरुआत के साथ दी जाएगी।

उप्र लोकसेवा आयोग यानि यूपी पीएससी ने पीसीएस 2018, एसीएफ/आरएफओ परीक्षा 2018 का संक्षिप्त विज्ञापन बुधवार को वेबसाइट पर जारी कर दिया। परीक्षा इस बार पीसीएस के 831 और वन विभाग में 92 पदों पर भर्ती के लिए होगी। पीसीएस में बैकलॉग/विशेष चयन (दिव्यांगजन के लिए) के अंतर्गत रिक्त एक पद पर भर्ती होगी। इन पदों पर आवेदन का विज्ञापन अखबारों में 28 जुलाई को प्रकाशित होगा। अभ्यर्थियों से कहा गया है कि विस्तृत विज्ञापन देखने के बाद अर्ह होने की स्थिति में ही आवेदन करें।

यूपी पीएससी ने इसे पहले ही घोषित किया था कि पीसीएस 2018 के लिए ऑनलाइन आवेदन छह जुलाई से शुरू होंगे। बैंक में परीक्षा शुल्क ऑनलाइन दो अगस्त तक जमा किए जा सकते हैं जबकि ऑनलाइन आवेदन छह अगस्त तक जमा होंगे। आयोग ने जानकारी दी है कि वेबसाइट www.uppsc.up.nic.in पर ऑनलाइन आवेदन और शुल्क जमा करने की प्रक्रिया, जाति प्रमाणपत्रों का प्रोफार्मा, प्रारंभिक व मुख्य परीक्षा के विषय तथा पाठ्यक्रम, परीक्षा केंद्रों के जिलों के नाम, आरक्षण और आयु में छूट के संबंध में महत्वपूर्ण दिशा निर्देश उपलब्ध रहेंगे।

इस बार पीसीएस के साथ ही संयुक्त रूप से सहायक वन संरक्षक/क्षेत्रीय वनाधिकारी के चयन के लिए परीक्षा संयुक्त रूप से होगी। इसमें सहायक वन संरक्षक के 16 और क्षेत्रीय वनाधिकारी के 76 रिक्त पदों पर भर्ती होनी है। वन विभाग में रिक्तियों की संख्या विशेष परिस्थिति में घट-बढ़ भी सकती है।

इन परीक्षाओं में चयन के लिए अभ्यर्थियों की आयु सीमा में कोई परिवर्तन नहीं हुआ है। आयु की गणना एक जुलाई 2018 से होगी। यानी एक जुलाई 2018 को अभ्यर्थी की आयु 21 साल और अधिकतम 40 साल होना आवश्यक है। यानी उनका जन्म दो जुलाई 1978 के पहले और एक जुलाई 1997 के बाद का नहीं होना चाहिए।

प्रधानाचार्य, राजकीय इंटरमीडिएट कालेज (बालक/ बालिका) पद के लिए अभ्यर्थियों को एक जुलाई 2018 को न्यूनतम 30 साल और अधिकतम 40 साल का ही होना चाहिए। यानि उनका जन्म दो जुलाई 1978 से पहले और एक जुलाई 1988 के बाद का न हो। इसी प्रकार दिव्यांगजन के लिए अधिकतम आयु 55 साल निर्धारित की गई है। जिसमें अभ्यर्थी का जन्म दो जुलाई 1963 से पहले का न हो।


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