भगवान जगन्नाथ ने किया मेट्रो में सफर, जल संरक्षण का दिया संदेश Lucknow News
डालीगंज चौक अमीनाबाद निरालानगर समेत कई जगहों से निकली भव्य यात्रा। महापौर समेत शहरवासियों ने जगह-जगह उतारी भगवान की आरती बांटा प्रसाद।
लखनऊ, जेएनएन। फूलों से सजे रथ पर लहराता पताका। घंटा-घडिय़ाल संग बजते ढोल और नगाड़े की थाप पर थिरकते श्रद्धालु। फरुवाही नृत्य करते कलाकार और भगवान जगन्नाथ, बलभद्र एवं सुभद्रा की जय-जयकार करते संत-महंत संग भक्त समाज। गुरुवार को शहर का वातावरण भक्तिमय हो गया। जगह-जगह से निकली भगवान जगन्नाथ, सुभद्रा और बलभद्र की भव्य शोभायात्रा में शहरवासी उमड़े रहे। आम-ओ-खास सभी ने भगवान के विग्रहों की आरती उतारी, वहीं तमाम लोगों ने पुष्प वर्षा कर यात्रा का अभिवादन किया। विधि एवं न्याय मंत्री ब्रजेश पाठक, वित्त मंत्री राजेश अग्रवाल, महापौर संयुक्ता भाटिया समेत शहरवासी यात्रा में शरीक हुए।
भगवान जगन्नाथ ने किया मेट्रो में सफर
श्री जगन्नाथ रथ यात्रा समिति एवं सनातन महासभा के सहयोग से भगवान जगन्नाथ रथ यात्रा गाजे-बाजे के साथ गुरुवार को दुर्गा मन्दिर बापू भवन विधानसभा के पास से निकाली गई। राम, लक्ष्मण, सीता, हनुमान, राधा कृष्ण और शिव जी के स्वरूप में सजे बच्चों के साथ भगवान जगन्नाथ, सुभद्रा और बलभद्र रथ पर सवार थे। रथ यात्रा से पहले भगवान जगन्नाथ, बलभद्र और सुभद्रा को मेट्रो से केडी सिंह स्टेडियम मेट्रो स्टेशन से सचिवालय मेट्रो स्टेशन यात्रा कराई गई। यात्रा में डॉ. प्रवीण, संतोष पांडेय, परशुराम मिश्र, डॉ. एके मिश्रा, पवन सिंह, डॉ. रूबी सिन्हा, कमल, कंचन तिवारी, डॉ. डीएस शुक्ला, डॉ. आनन्द सिंह, शैलेन्द्र श्रीवास्तव, सुशील शुक्ल, मृगेन्द्र पांडेय, सुधीर हलवासिया आदि शामिल रहे।
जयकारे से गूंजा अलीगंज
श्री महावीर जी ट्रस्ट नया हनुमान मंदिर अलीगंज की ओर से गुरुवार दोपहर 12.30 बजे से गाजे-बाजे संग जगन्नाथ यात्रा कपूरथला चौराहे से यात्रा निकली। भक्तिमय वातावरण में यात्रा नॉवेल्टी सिनेमाहाल, नगर निगम कार्यालय, चंद्रलोक हाइड्रिल कॉलोनी, हनुमान मंदिर अलीगंज से वापस श्री जगन्नाथ मंदिर कपूरथला पहुंची।
भगवान ने दिया जल संरक्षण का संदेश
चारोधाम मंदिर में विराजमान भगवान जगन्नाथ जी, सुभद्रा जी और बलभद्र जी पालकी में सवार होकर शहर भ्रमण पर निकले। शोभायात्रा सुबह 10 बजे से रानी कटरा चौपटिया से होते हुए बारादरी, खेत गली समेत विभिन्न मार्गों से होते हुए वापस मंदिर परिसर पहुंची। पालकी यात्रा में भगवान जगन्नाथ जी ने जल संरक्षण का संदेश दिया। लक्ष्मी कांत पांडेय, आशीष अग्रवाल, रिद्धि किशोर गौड़, विपिन अवस्थी, अभिषेक खरे, विष्णु त्रिपाठी, अमित गौड़, अनिल द्विवेदी, राजेन्द्र शर्मा, कपिल सोनी, अभय अग्रवाल ने तख्ती पर लिखे स्लोगन के जरिए जल संरक्षण का संदेश दिया।
पुष्प वर्षा, महाआरती संग 56 भोग
श्रीमाधव मंदिर डालीबाग गुरुवार सुबह 11 बजे से भगवान जगन्नाथ, सुभद्रा और बलभद्र जी की शोभा यात्रा निकली। वित्त मंत्री राजेश अग्रवाल, महापौर संयुक्ता भाटिया, बिहारी लाल साहू, भारत भूषण गुप्ता, ओमकार जायसवाल, श्याम साहू आदि ने रथ की रस्सी खींचकर यात्रा का शुभारंभ किया। नजीरगंज, शंकरनगर, निरालानगर, हसनगंज कोतवाली, डालीगंज बाजार होते हुए यात्रा वापस मंदिर पहुंची। वृन्दावन के कलाकार कृष्णा छलिया ग्रुप की श्रीकृष्ण लीलाओ का मंचन किया गया। पवन मिश्रा ग्रुप श्रीहरि के भजनों की प्रस्तुति दी। शीतला पांडेय की टीम ने फरुवाही नृत्य प्रस्तुत किया। वहीं, पंजाबी ढोल पर थिरकती वानर सेना और नासिक ढोल पर थिरकते भक्तों का उत्साह देखते ही बन रहा था।
आरती की थाली में तुलसी का प्रसाद
स्व. महंत शत्रुघ्न दास रथ यात्रा कमेटी की ओर से मारवाड़ी गली से भव्य रथ यात्रा निकली। महोत्सव की थीम हर आंगन तुलसी बिराजे...के तहत भगवान जगन्नाथ की आरती करने वाले श्रद्धालुओं को थाली में प्रसाद के साथ तुलसी का बीज भी दिया गया। विधि एवं न्याय मंत्री ब्रजेश पाठक ने जगन्नाथ जी की आरती की। यात्रा के वीडियो को फेसबुक पर लाइव प्रसारित किया गया।
यात्रा में सब पढ़ें-सब बढ़ें का संदेश
निरालानगर स्थित शिव मंदिर से भी जगन्नाथ यात्रा निकाली गई। सर्व शिक्षा थीम निकली यात्रा के जरिए सब पढ़ें-सब बढ़ें का संदेश दिया गया। निरालानगर जगन्नाथ पूजा समिति के अध्यक्ष आशीष अग्रवाल और सचिव अभिषेक ने बताया कि यात्रा में बच्चों को स्टेशनरी भी बांटी गई।
शोभायात्रा में लहराया पताका, झूमे श्रद्धालु
गौडिय़ा मठ की ओर से श्री जगन्नाथ जी की यात्रा गाजे-बाजे के साथ गुरुवार शाम 4.45 बजे से नाका ङ्क्षहडोला से यात्रा निकली। रत्नजडि़त पोशाक पहने देवी सुभद्रा, बलभद्र एवं भगवान जगन्नाथ जी के भक्तों ने दर्शन किए। वहीं, राजस्थानी परिधान पहने कलाकारों ने नृत्य प्रस्तुत किया। रथयात्रा श्री गौड़ीय मठ मंदिर मोतीनगर से ऐशबाग रोड, अमीनाबाद रोड, आर्यनगर, मोतीनगर चौराहा होते हुए वापस श्री गौड़ीय मठ मंदिर में समाप्त हुई।
ये है परंपरा : ओडिशा के समुद्र तट पर है श्रीजगन्नाथ पुरी मंदिर। वहां काष्ठ के विग्रह रूप में भाई बलभद्र, बहन सुभद्रा के साथ भगवान जगन्नाथ विराजमान हैं। आषाढ़ शुक्ल पक्ष द्वितीया को पूजा-अर्चना के बाद तीनों भाई-बहन साथ साथ-साथ मंदिर से बाहर निकलते हैं और विराट रथों पर सवार होकर आम जन के बीच आते हैं। इसी तर्ज पर लखनऊ समेत अन्य जिलों में वर्षों से रथ यात्रा निकाली जाती है।